ताज़ा खबरे

कोई ठोस सबूत नहीं, पूरा मीडिया ट्रायल: हाईकोर्ट में प्रज्वल रेवन्ना ने दी दलील
'कोई ठोस सबूत नहीं, पूरा मीडिया ट्रायल': हाईकोर्ट में प्रज्वल रेवन्ना ने दी दलील

बलात्कार के मामले में आजीवन कारावास की सज़ा निलंबित करने और ज़मानत देने की मांग करते हुए दोषी पूर्व सांसद प्रज्वल रेवन्ना ने तर्क दिया कि अभियोजन पक्ष का मामला कमज़ोर है और सबूतों का आपस में जुड़ाव साबित नहीं होता, इसलिए उन्हें हिरासत में नहीं रखा जाना चाहिए।अपीलकर्ता की ओर से सीनियर एडवोकेट सिद्धार्थ लूथरा ने दलील दी,"मेरा तर्क यह है कि जहां अभियोजन पक्ष के मामले का आधार कमज़ोर है और सबूतों का आपस में जुड़ाव साबित नहीं होता, वहां मुझे हिरासत में नहीं रखा जाना चाहिए।"उन्होंने आगे कहा,"मैं कहूंगा...

जेल सुपरिंटेंडेंट स्वास्थ्य विभाग से प्रतिनियुक्ति पर आए मेडिकल अधिकारी के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही शुरू नहीं कर सकते: राजस्थान हाईकोर्ट
जेल सुपरिंटेंडेंट स्वास्थ्य विभाग से प्रतिनियुक्ति पर आए मेडिकल अधिकारी के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही शुरू नहीं कर सकते: राजस्थान हाईकोर्ट

राजस्थान हाईकोर्ट ने माना कि केंद्रीय कारागार के सुपरिंटेंडेंट, एक अलग प्रशासनिक विभाग होने के नाते मेडिकल एवं स्वास्थ्य विभाग से प्रतिनियुक्त चिकित्सा अधिकारी के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही शुरू करने का कोई अधिकार या क्षमता नहीं रखते हैं।जस्टिस फरजंद अली की पीठ ने याचिकाकर्ता के स्थानांतरण आदेशों को रद्द करते हुए ये टिप्पणियां कीं, जिनमें राजस्थान सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील) नियम, 1958 ("नियम") के तहत जेल अधीक्षक को उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही शुरू करने का निर्देश भी शामिल...

NDPS Act - वाणिज्यिक मात्रा में मादक पदार्थों के मामलों में धारा 37 की शर्तें पूरी न होने पर लंबी हिरासत और ट्रायल में देरी ज़मानत का आधार नहीं: सुप्रीम कोर्ट
NDPS Act - वाणिज्यिक मात्रा में मादक पदार्थों के मामलों में धारा 37 की शर्तें पूरी न होने पर लंबी हिरासत और ट्रायल में देरी ज़मानत का आधार नहीं: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को कहा कि NDPS Act की धारा 37 के तहत अनिवार्य दोहरी शर्तों के पूरा न होने पर, मादक पदार्थों की वाणिज्यिक मात्रा से जुड़े मामलों में मुकदमे में देरी या लंबी कैद अपने आप में ज़मानत देने का औचित्य नहीं ठहरा सकती। कोर्ट ने बॉम्बे हाईकोर्ट के दो आदेशों को रद्द कर दिया, जिनमें राजस्व खुफिया निदेशालय (DRI) द्वारा जांच की गई कोकीन और मेथामफेटामाइन की बड़ी ज़ब्ती के आरोपी विगिन के. वर्गीस को ज़मानत दी गई।जस्टिस अरविंद कुमार और जस्टिस एन. वी. अंजारिया की खंडपीठ ने मामले को नए सिरे...

बीमाकर्ता यह कहकर दावा खारिज नहीं कर सकता कि उपकरण में क्षति का पता पॉलिसी जारी होने के बाद ही चला: सुप्रीम कोर्ट
बीमाकर्ता यह कहकर दावा खारिज नहीं कर सकता कि उपकरण में क्षति का पता पॉलिसी जारी होने के बाद ही चला: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार (13 नवंबर) को एक कंपनी का बीमा दावा स्वीकार कर लिया, जिसका बॉयलर फट गया था। उसने बीमाकर्ता की इस दलील को खारिज कर दिया कि वह नुकसान की भरपाई करने के लिए उत्तरदायी नहीं है, क्योंकि बॉयलर में खराबी का पता बीमा पॉलिसी जारी होने के बाद ही चला था।जस्टिस पी.एस. नरसिम्हा और जस्टिस मनोज मिश्रा की खंडपीठ ने एक मामले की सुनवाई करते हुए कहा,"क्षति या क्षरण का बाद में पता चलना बीमा दावे को खारिज करने का आधार नहीं हो सकता, क्योंकि इससे बीमा अनुबंध का मूल उद्देश्य ही विफल हो जाएगा।"इस...

दलबदल विरोधी कानून के तहत विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित किए गए मुकुल रॉय
दलबदल विरोधी कानून के तहत विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित किए गए मुकुल रॉय

एक बड़े घटनाक्रम में कलकत्ता हाईकोर्ट ने संविधान की दसवीं अनुसूची के तहत दलबदल के आरोपों पर सीनियर राजनीतिक नेता मुकुल रॉय को पश्चिम बंगाल विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया।जस्टिस देबांगसु बसाक और जस्टिस शब्बर रशीदी की खंडपीठ ने कहा कि 2021 में भाजपा के टिकट पर कृष्णानगर उत्तर सीट जीतने के बाद रॉय का भाजपा से तृणमूल कांग्रेस में शामिल होना पूरी तरह से दलबदल विरोधी कानून के अंतर्गत आता है और उनकी विधानसभा सदस्यता तत्काल प्रभाव से समाप्त कर दी।अदालत ने विधानसभा स्पीकर के उस पूर्व आदेश को...

चित्तापुर में पथसंचलन की अनुमति मिलने पर कर्नाटक हाईकोर्ट ने RSS संयोजक की याचिका बंद की
चित्तापुर में पथसंचलन की अनुमति मिलने पर कर्नाटक हाईकोर्ट ने RSS संयोजक की याचिका बंद की

कर्नाटक हाईकोर्ट ने गुरुवार को RSS कलबुर्गी के संयोजक द्वारा चित्तापुर टाउन में प्रस्तावित पथसंचलन (मार्च) आयोजित करने की अनुमति संबंधी याचिका का निस्तारण कर दिया।जस्टिस एम.जी.एस. कमल ने चित्तापुर तहसीलदार द्वारा 16 नवंबर को पथसंचलन की अनुमति देते हुए कुछ शर्तें लागू करने वाले आदेश को रिकॉर्ड में लिया। पिछली सुनवाई में राज्य ने कोर्ट को बताया था कि वह रूट मार्च प्रस्ताव पर सकारात्मक रूप से विचार करेगा। संयोजक की ओर से संख्या बढ़ाने का अनुरोध सीनियर एडवोकेट अरुणा श्याम ने कहा कि अनुमति देने के...

राजस्थान हाईकोर्ट ने दिवंगत कांस्टेबल की विधवा को अनुग्रह राशि न देने पर राज्य सरकार को फटकार लगाई, 20 लाख रुपये देने का निर्देश
राजस्थान हाईकोर्ट ने दिवंगत कांस्टेबल की विधवा को अनुग्रह राशि न देने पर राज्य सरकार को फटकार लगाई, 20 लाख रुपये देने का निर्देश

राजस्थान हाईकोर्ट ने एक सख्त टिप्पणी में कहा कि सेवा के दौरान मृत्यु होने पर कर्मचारी के परिवार को अनुग्रह राशि से वंचित करना केवल तकनीकी आधार पर असंवेदनशील और अति-तकनीकी रवैया है, जो कल्याणकारी शासन के उद्देश्य के विपरीत है।जस्टिस फरजंद अली की एकल पीठ ने राज्य सरकार का आदेश रद्द कर दिया, जिसमें एक अशिक्षित विधवा की अनुग्रह राशि की मांग केवल आवेदन में देरी के आधार पर खारिज कर दी गई, जबकि संबंधित विभाग ने स्वयं प्रशासनिक देरी स्वीकार की थी।मामले के अनुसार याचिकाकर्ता के पति राजस्थान पुलिस में...

बिजली अधिनियम की धारा 151 के तहत अनधिकृत व्यक्ति द्वारा दर्ज शिकायत पर संज्ञान लेने से पूरी कार्यवाही अमान्य: बॉम्बे हाईकोर्ट
बिजली अधिनियम की धारा 151 के तहत अनधिकृत व्यक्ति द्वारा दर्ज शिकायत पर संज्ञान लेने से पूरी कार्यवाही अमान्य: बॉम्बे हाईकोर्ट

बॉम्बे हाईकोर्ट ने एक महत्त्वपूर्ण निर्णय में कहा कि यदि किसी अदालत द्वारा बिजली अधिनियम 2003 की धारा 151 के तहत अनधिकृत व्यक्ति द्वारा दायर शिकायत पर संज्ञान लिया जाता है तो यह केवल एक प्रक्रियात्मक त्रुटि नहीं बल्कि मूलभूत अवैधता है, जो पूरे मुकदमे को निष्फल कर देती है।जस्टिस एम. एम. नेर्लिकर की एकल पीठ राज्य सरकार की उस आपराधिक अपील पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें ट्रायल कोर्ट द्वारा आरोपी को बरी किए जाने के आदेश को चुनौती दी गई थी।मामले के अनुसार, उड़नदस्ता (फ्लाइंग स्क्वाड) ने आरोपी के आइस...

NCC से ट्रांसजेंडर बाहर रखना वर्तमान कानून के अनुसार वैध: केरल हाईकोर्ट ने समावेशिता हेतु कानून संशोधन की सलाह दी
NCC से ट्रांसजेंडर बाहर रखना वर्तमान कानून के अनुसार वैध: केरल हाईकोर्ट ने समावेशिता हेतु कानून संशोधन की सलाह दी

केरल हाईकोर्ट ने कहा है कि ट्रांसजेंडर व्यक्तियों को नेशनल कैडेट कॉर्प्स (NCC) से बाहर रखना वर्तमान कानून के तहत संविधान का उल्लंघन नहीं है, क्योंकि नेशनल कैडेट कॉर्प्स अधिनियम, 1948 अभी केवल पुरुष और महिला छात्रों को ही नामांकित करने की अनुमति देता है। हालांकि, कोर्ट ने केंद्र सरकार से कानून में संशोधन कर समावेशिता सुनिश्चित करने पर विचार करने का आग्रह किया है।जस्टिस एन. नागरेश ने यह फैसला उस ट्रांसजेंडर छात्र की याचिका पर दिया, जिसकी NCC में भर्ती की आवेदन को जेंडर आइडेंटिटी के आधार पर खारिज...

निजी भूमि पर धर्मशाला होने मात्र से संपत्ति दान या धर्मार्थ नहीं मानी जा सकती: राजस्थान हाईकोर्ट
निजी भूमि पर धर्मशाला होने मात्र से संपत्ति दान या धर्मार्थ नहीं मानी जा सकती: राजस्थान हाईकोर्ट

राजस्थान हाईकोर्ट ने एक महत्त्वपूर्ण निर्णय में कहा कि केवल निजी भूमि पर धर्मशाला का निर्माण हो जाने मात्र से यह नहीं माना जा सकता कि वह संपत्ति धर्मार्थ उद्देश्यों के लिए समर्पित कर दी गई या उसे हमेशा उसी प्रयोजन के लिए उपयोग में लाना आवश्यक है।जस्टिस रेखा बोराना की एकल पीठ ने यह टिप्पणी एक याचिका पर सुनवाई के दौरान की, जिसमें एक ट्रस्ट के विधिक उत्तराधिकारियों ने देवस्थान विभाग के आयुक्त के आदेश को चुनौती दी थी। उक्त आदेश में उनकी पैतृक संपत्ति को सार्वजनिक ट्रस्ट की संपत्ति घोषित कर दिया गया...

सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड राज्य की बार-बार गैर-हाजिरी पर गृह सचिव को तलब किया
सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड राज्य की बार-बार गैर-हाजिरी पर गृह सचिव को तलब किया

सुप्रीम कोर्ट ने आज झारखंड राज्य की लगातार गैर-हाजिरी पर कड़ा रुख अपनाते हुए कहा कि नोटिस मिलने के बावजूद राज्य अदालत में पेश नहीं हो रहा है। कोर्ट ने झारखंड सरकार के गृह सचिव को कल ऑनलाइन उपस्थित होने और इस स्थिति की स्पष्टीकरण देने का निर्देश दिया है। साथ ही, कोर्ट ने आश्चर्य जताया कि झारखंड हाईकोर्ट ने हत्या के आरोप वाले दो सह-आरोपी को बिना किसी ठोस कारण बताए अग्रिम जमानत कैसे दे दी।जस्टिस जे.बी. पारदीवाला और जस्टिस के.वी. विश्वनाथन की खंडपीठ 2018 में हुई एक हत्या के मामले में याचिकाकर्ता की...

एयर इंडिया हादसा: सुप्रीम कोर्ट ने कहा`—AAIB का काम दोष तय करना नहीं; केंद्र ने कहा—पायलट पर कोई आरोप नहीं
एयर इंडिया हादसा: सुप्रीम कोर्ट ने कहा`—AAIB का काम दोष तय करना नहीं; केंद्र ने कहा—पायलट पर कोई आरोप नहीं

एयर इंडिया विमान दुर्घटना मामले में सुप्रीम कोर्ट ने आज कहा कि AAIB (एयरक्राफ्ट एक्सिडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो) की जांच का मकसद किसी को दोषी ठहराना नहीं, बल्कि दुर्घटना की वजह जानना है ताकि ऐसी घटनाओं को दोबारा होने से रोका जा सके।केंद्र सरकार ने भी कोर्ट को बताया कि जांच के लिए एक तय कानून और अंतरराष्ट्रीय प्रक्रिया मौजूद है, और AAIB ने अपनी रिपोर्ट में किसी को दोषी नहीं बताया है। सरकार ने कहा कि अंतरिम रिपोर्ट आने के बाद लोगों में पायलट की गलती को लेकर गलतफहमी हुई थी, इसलिए नागरिक उड्डयन...

फेयर रेंट आदेश पर स्टे न होने पर अपील लंबित होने का बहाना बनाकर किराया नहीं टाल सकता किरायेदार: सुप्रीम कोर्ट
फेयर रेंट आदेश पर स्टे न होने पर अपील लंबित होने का बहाना बनाकर किराया नहीं टाल सकता किरायेदार: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसले में स्पष्ट किया है कि यदि कोई किरायेदार “फेयर रेंट” (उचित किराया) निर्धारण को चुनौती देता है लेकिन उस आदेश पर स्थगन (स्टे) नहीं लेता, तो अपील लंबित होने का हवाला देकर किराया न देने या बेदखली से बचने का दावा नहीं कर सकता। कोर्ट ने किराया न देने को “जानबूझकर चूक” (wilful default) मानते हुए किरायेदार की बेदखली को बरकरार रखा।जस्टिस दीपांकर दत्ता और जस्टिस मनमोहन की खंडपीठ ने कहा कि “सिर्फ अपील दायर कर देने से आदेश पर स्वतः स्टे लागू नहीं हो जाता,” जैसा कि सिविल...

दिल्ली हाईकोर्ट का आदेश: अमेरिकन ड्रीम 11 को सभी सोशल मीडिया पेज हटाने का निर्देश, ड्रीम 11 ट्रेडमार्क उल्लंघन मामला
दिल्ली हाईकोर्ट का आदेश: अमेरिकन ड्रीम 11 को सभी सोशल मीडिया पेज हटाने का निर्देश, ड्रीम 11 ट्रेडमार्क उल्लंघन मामला

दिल्ली हाईकोर्ट ने अमेरिका स्थित फैंटेसी गेमिंग कंपनी अमेरिकन ड्रीम 11 को निर्देश दिया कि वह अपने सभी सोशल मीडिया पेज, प्रोफाइल और अन्य ऑनलाइन माध्यमों से ड्रीम 11 के ट्रेडमार्क का उपयोग बंद करे और संबंधित पेजों को तुरंत हटाए या ब्लॉक करे।अदालत ने यह आदेश स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज़ प्रा. लि. जो भारत में लोकप्रिय फैंटेसी स्पोर्ट्स प्लेटफॉर्म ड्रीम 11 संचालित करती है की याचिका पर सुनवाई के दौरान दिया।जस्टिस तेजस कारिया की एकल पीठ ने कहा,“अगली सुनवाई तक प्रतिवादी अपने सभी सोशल मीडिया पेज, प्रोफाइल या...

हत्या के मामले में प्रत्यक्षदर्शी व चिकित्सकीय साक्ष्य पर्याप्त, भले ही उद्देश्य सिद्ध न हो : दिल्ली हाईकोर्ट
हत्या के मामले में प्रत्यक्षदर्शी व चिकित्सकीय साक्ष्य पर्याप्त, भले ही उद्देश्य सिद्ध न हो : दिल्ली हाईकोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने एक अहम निर्णय में कहा कि यदि हत्या के मामले में प्रत्यक्षदर्शी के बयान को मेडिकल साक्ष्य से पुष्टि मिलती है तो अपराध का उद्देश्य पूरी तरह सिद्ध न होने पर भी आरोपी को दोषी ठहराया जा सकता है।जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह और जस्टिस अमित शर्मा की खंडपीठ ने कहा कि यदि अभियोजन के पास पर्याप्त प्रत्यक्ष साक्ष्य उपलब्ध हैं तो केवल इस आधार पर आरोपी को बरी नहीं किया जा सकता कि अपराध का कारण स्पष्ट रूप से सिद्ध नहीं हुआ।अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि हत्या के मामले में अपराध में प्रयुक्त...

प्रदूषण को देखते हुये जस्टिस पी.एस. नरसिम्हा ने वकीलों को वर्चुअल हियरिंग चुनने की सलाह दी
प्रदूषण को देखते हुये जस्टिस पी.एस. नरसिम्हा ने वकीलों को वर्चुअल हियरिंग चुनने की सलाह दी

गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस पी.एस. नरसिम्हा ने दिल्ली की तेजी से बिगड़ती वायु गुणवत्ता को देखते हुए वकीलों को वर्चुअल तौर पर पेश होने की सलाह दी।यह टिप्पणी मेंशनिंग राउंड के दौरान की गई। अदालत में मौजूद वकीलों ने बताया कि जस्टिस नरसिम्हा ने बार के सदस्यों से कहा कि मौजूदा प्रदूषण स्तर से होने वाले स्वास्थ्य जोखिमों को देखते हुए वे शारीरिक रूप से उपस्थित होने के बजाय वर्चुअल हियरिंग की सुविधा का उपयोग करें। सीनियर एडवोकेट कपिल सिब्बल ने यह कहा कि कई वकील पहले से ही मास्क पहन रहे हैं, तो...