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नॉन-कम्पीट फीस को इनकम टैक्स एक्ट की धारा 37(1) के तहत रेवेन्यू खर्च के तौर पर घटाया जा सकता है: सुप्रीम कोर्ट
नॉन-कम्पीट फीस को इनकम टैक्स एक्ट की धारा 37(1) के तहत रेवेन्यू खर्च के तौर पर घटाया जा सकता है: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि नॉन-कम्पीट फीस का पेमेंट करने से किसी कैपिटल एसेट का अधिग्रहण नहीं होता या बिजनेस के प्रॉफिट कमाने के स्ट्रक्चर में कोई बदलाव नहीं होता। इसे इनकम टैक्स एक्ट, 1961 (Income Tax Act) की धारा 37(1) के तहत रेवेन्यू खर्च के तौर पर अनुमति दी जा सकती है।कोर्ट ने कहा,“इस तरह नॉन-कम्पीट फीस सिर्फ बिजनेस की प्रॉफिटेबिलिटी को बचाने या बढ़ाने की कोशिश करती है, जिससे बिजनेस को ज़्यादा कुशलता से और प्रॉफिट के साथ चलाने में मदद मिलती है। ऐसे पेमेंट से न तो कोई नई एसेट बनती है और न ही...

कोर्ट की छुट्टियों के दौरान ज़रूरी मामलों पर 22 दिसंबर को सुनवाई करेगी स्पेशल वेकेशन बेंच
कोर्ट की छुट्टियों के दौरान ज़रूरी मामलों पर 22 दिसंबर को सुनवाई करेगी स्पेशल वेकेशन बेंच

चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) ने चल रही कोर्ट की छुट्टियों के दौरान ज़रूरी मामलों की सुनवाई के लिए एक स्पेशल वेकेशन बेंच बनाई।इस बेंच में सीजेआई सूर्यकांत और जस्टिस जॉयमाल्य बागची शामिल होंगे। यह बेंच सोमवार, 22 दिसंबर, 2025 को उन मामलों पर सुनवाई करेगी, जिन पर तुरंत न्यायिक विचार की ज़रूरत है।यह स्पेशल सुनवाई इसलिए तय की गई ताकि छुट्टियों के दौरान ज़रूरी मामलों को टाला न जाए और उन्हें समय पर न्यायिक ध्यान मिले।सुप्रीम कोर्ट 19 दिसंबर से 5 जनवरी तक सर्दियों की छुट्टियों पर है। शुक्रवार को जब कई...

बकाया बिक्री राशि जमा करने में मामूली देरी से विशिष्ट निष्पादन की डिक्री निष्प्रभावी नहीं होती: सुप्रीम कोर्ट
बकाया बिक्री राशि जमा करने में मामूली देरी से विशिष्ट निष्पादन की डिक्री निष्प्रभावी नहीं होती: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि यदि खरीदार समझौते को पूरा करने के लिए तैयार और इच्छुक बना रहता है तो बिक्री मूल्य की शेष राशि जमा करने में तय समय-सीमा से कुछ देरी मात्र से विशिष्ट निष्पादन (स्पेसिफिक परफॉर्मेंस) की डिक्री को निष्पादित न किए जाने योग्य नहीं ठहराया जा सकता।जस्टिस संजय करोल और जस्टिस मनोज मिश्रा की खंडपीठ ने यह निर्णय देते हुए कहा कि असली कसौटी यह है कि क्या वादी का आचरण अनुबंध को पूरा करने से इनकार या उसे छोड़ने का संकेत देता है। अदालत ने अपने हालिया फैसले रामलाल बनाम जरनैल सिंह...

2007 अजमेर ब्लास्ट मामला: सुप्रीम कोर्ट ने देरी के बावजूद पीड़ित की अपील पर मेरिट के आधार पर फैसला करने को कहा
2007 अजमेर ब्लास्ट मामला: सुप्रीम कोर्ट ने देरी के बावजूद पीड़ित की अपील पर मेरिट के आधार पर फैसला करने को कहा

सुप्रीम कोर्ट ने 2007 के अजमेर शरीफ दरगाह ब्लास्ट मामले में अहम आदेश देते हुए राजस्थान हाईकोर्ट से कहा कि वह पीड़ित द्वारा दायर अपीलों पर देरी को नजरअंदाज करते हुए मामले के गुण-दोष (मेरिट) के आधार पर फैसला करे। यह निर्देश उन अपीलों से संबंधित है, जिनमें कुछ आरोपियों को बरी किए जाने को चुनौती दी गई।जस्टिस एम. एम. सुंदरेश और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की खंडपीठ ने यह अंतरिम निर्देश अजमेर शरीफ दरगाह के खादिम और मामले के शिकायतकर्ता सैयद सरवर चिश्ती की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया। सुप्रीम कोर्ट ने...

पति का माता-पिता को पैसे भेजना या खर्च का हिसाब मांगना क्रूरता नहीं: सुप्रीम कोर्ट ने 498A का मामला किया रद्द
पति का माता-पिता को पैसे भेजना या खर्च का हिसाब मांगना 'क्रूरता' नहीं: सुप्रीम कोर्ट ने 498A का मामला किया रद्द

सुप्रीम कोर्ट ने वैवाहिक विवादों में आपराधिक कानून के दुरुपयोग पर महत्वपूर्ण टिप्पणी करते हुए पति के खिलाफ दर्ज क्रूरता और दहेज उत्पीड़न का मामला रद्द किया। सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि पति द्वारा अपने माता-पिता और भाई को पैसे भेजना या पत्नी से घरेलू खर्चों का लेखा-जोखा रखने के लिए कहना अपने आप में न तो क्रूरता है और न ही इसे दहेज की मांग के रूप में देखा जा सकता है।जस्टिस बी. वी. नागरत्ना और जस्टिस आर. महादेवन की खंडपीठ ने पति की अपील स्वीकार करते हुए कहा कि ऐसे आरोपों के आधार पर आपराधिक...

बाल तस्करी व नाबालिगों के यौन शोषण पर सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसला
बाल तस्करी व नाबालिगों के यौन शोषण पर सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसला

भारत में बाल तस्करी और व्यावसायिक यौन शोषण को एक “गंभीर और विचलित करने वाली वास्तविकता” बताते हुए, सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (19 दिसंबर) को नाबालिग पीड़ितों की गवाही के मूल्यांकन को लेकर महत्वपूर्ण दिशानिर्देश जारी किए। अदालत ने कहा कि ऐसे मामलों में पीड़िता की गवाही को मामूली विरोधाभासों या रूढ़िवादी सामाजिक धारणाओं के आधार पर खारिज नहीं किया जाना चाहिए।जस्टिस मनोज मिश्रा और जस्टिस जोयमाल्य बागची की खंडपीठ ने यह दिशानिर्देश बेंगलुरु के एक व्यक्ति और उसकी पत्नी को नाबालिग लड़की की तस्करी और यौन...

लाइसेंस की अवधि खत्म होने के बाद नवीनीकरण पिछली तारीख से प्रभावी नहीं होगा: सुप्रीम कोर्ट
लाइसेंस की अवधि खत्म होने के बाद नवीनीकरण पिछली तारीख से प्रभावी नहीं होगा: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने तेलंगाना राज्य स्तरीय पुलिस भर्ती बोर्ड (TSLPRB) की पात्रता शर्तों की व्याख्या को सही ठहराते हुए यह स्पष्ट किया है कि जिन अभ्यर्थियों का ड्राइविंग लाइसेंस समाप्त हो गया था और बाद में अंतराल के बाद नवीनीकृत किया गया, उन्हें यह नहीं माना जा सकता कि उन्होंने निर्धारित अवधि के लिए लाइसेंस “लगातार” धारण किया था, भले ही नवीनीकरण वैधानिक अवधि के भीतर ही क्यों न किया गया हो।न्यायालय ने कहा कि पुलिस और अग्निशमन सेवा में ड्राइवर पदों की भर्ती के लिए अभ्यर्थी के पास अधिसूचना की तिथि तक...

ट्रायल कोर्ट के रिन्यूअल की इजाज़त देने पर क्रिमिनल केस के पेंडिंग होने का हवाला देकर पासपोर्ट रिन्यूअल से इनकार नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट
ट्रायल कोर्ट के रिन्यूअल की इजाज़त देने पर क्रिमिनल केस के पेंडिंग होने का हवाला देकर पासपोर्ट रिन्यूअल से इनकार नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आपराधिक कार्यवाही के पेंडिंग होने का इस्तेमाल पासपोर्ट के रिन्यूअल पर अनिश्चितकालीन रोक लगाने के लिए नहीं किया जा सकता, खासकर जब सक्षम आपराधिक अदालतों ने विदेश यात्रा पर नियंत्रण रखते हुए ऐसे रिन्यूअल की इजाज़त दी हो।जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की बेंच ने बिजनेसमैन महेश कुमार अग्रवाल द्वारा दायर अपील मंज़ूर करते हुए विदेश मंत्रालय और क्षेत्रीय पासपोर्ट कार्यालय, कोलकाता को उनका सामान्य पासपोर्ट दस साल की सामान्य अवधि के लिए फिर से जारी करने का निर्देश...

हाईकोर्ट को अपने प्रशासन में निष्पक्ष होना चाहिए: सुप्रीम कोर्ट ने स्टाफ के रेगुलराइजेशन में भेदभाव के लिए इलाहाबाद हाईकोर्ट को फटकारा
हाईकोर्ट को अपने प्रशासन में निष्पक्ष होना चाहिए: सुप्रीम कोर्ट ने स्टाफ के रेगुलराइजेशन में भेदभाव के लिए इलाहाबाद हाईकोर्ट को फटकारा

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (19 दिसंबर) को इलाहाबाद हाईकोर्ट का आदेश रद्द कर दिया, जिसमें कुछ कर्मचारियों की सेवाओं को रेगुलर करते समय समान स्थिति वाले कर्मचारियों की सेवाओं को रेगुलर नहीं किया गया। कोर्ट ने हाईकोर्ट को याद दिलाया कि उसे अपने प्रशासन में संवैधानिक नैतिकता को बनाए रखने की अपनी ड्यूटी निभानी चाहिए।जस्टिस जेके माहेश्वरी और जस्टिस विजय बिश्नोई की बेंच ने कर्मचारियों के पक्ष में फैसला सुनाते हुए और उनके तुरंत रेगुलराइजेशन और पूरे सर्विस बेनिफिट्स देने का निर्देश देते हुए कहा,"हाईकोर्ट,...

S. 482 CrPC | हाईकोर्ट कर्ज या देनदारी की प्री-ट्रायल जांच करके चेक बाउंस मामलों को रद्द नहीं कर सकता: सुप्रीम कोर्ट
S. 482 CrPC | हाईकोर्ट कर्ज या देनदारी की प्री-ट्रायल जांच करके चेक बाउंस मामलों को रद्द नहीं कर सकता: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (19 दिसंबर) को कहा कि हाईकोर्ट के लिए विवादित तथ्यों की प्री-ट्रायल जांच करके चेक डिसऑनर की कार्यवाही रद्द करना गलत है, खासकर जब नेगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट्स एक्ट, 1881 (NI Act) की धारा 139 के तहत एक कानूनी अनुमान शिकायतकर्ता के पक्ष में काम करता हो।जस्टिस मनोज मिश्रा और जस्टिस उज्ज्वल भुइयां की बेंच ने पटना हाईकोर्ट का फैसला रद्द करते हुए यह बात कही, जिसमें हाईकोर्ट ने CrPC की धारा 482 के तहत अपनी अंतर्निहित शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए चेक डिसऑनर की शिकायत रद्द कर दी...

प्रधानमंत्री पर कथित सोशल मीडिया पोस्ट मामले में BJP कार्यकर्ता की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट का सुनवाई से इनकार
प्रधानमंत्री पर कथित सोशल मीडिया पोस्ट मामले में BJP कार्यकर्ता की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट का सुनवाई से इनकार

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को बेंगलुरु निवासी भाजपा कार्यकर्ता गुरुदत्त शेट्टी द्वारा दायर उस रिट याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया, जिसमें उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कथित रूप से निशाना बनाने वाली सोशल मीडिया पोस्ट को लेकर गुजरात पुलिस द्वारा दर्ज एफआईआर को रद्द करने की मांग की थी।चीफ़ जस्टिस सूर्यकांत, जस्टिस जॉयमाल्य बागची और जस्टिस विपुल पंचोली की खंडपीठ गुरुदत्त शेट्टी की याचिका पर सुनवाई कर रही थी। याचिका उस पोस्ट से संबंधित थी, जो सोशल मीडिया मंच X (पूर्व में ट्विटर) पर...

नोएडा पुलिस पर 14 घंटे की अवैध हिरासत और कस्टोडियल यौन उत्पीड़न का आरोप, महिला वकील ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया
नोएडा पुलिस पर 14 घंटे की अवैध हिरासत और कस्टोडियल यौन उत्पीड़न का आरोप, महिला वकील ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया

सुप्रीम कोर्ट ने आज एक महिला अधिवक्ता द्वारा दायर रिट याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि उन्हें नोएडा के एक पुलिस थाने में रातभर लगभग 14 घंटे तक अवैध रूप से हिरासत में रखा गया और इस दौरान पुलिस अधिकारियों द्वारा कस्टोडियल यौन उत्पीड़न, शारीरिक यातना और जबरदस्ती की गई। याचिका पर जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस एन.वी. अंजारिया की खंडपीठ ने सुनवाई करते हुए केंद्र को 7 जनवरी 2026 तक जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है।याचिका में संविधान के अनुच्छेद 14, 19(1)(g), 21...

सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व पंजाब मंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया की आय से अधिक संपत्ति मामले में जमानत याचिका पर नोटिस जारी किया
सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व पंजाब मंत्री बिक्रम सिंह मजीठिया की आय से अधिक संपत्ति मामले में जमानत याचिका पर नोटिस जारी किया

सुप्रीम कोर्ट ने शिरोमणि अकाली दल के नेता बिक्रम सिंह मजीठिया द्वारा दायर याचिका पर नोटिस जारी किया, जिसमें पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के उस आदेश को चुनौती दी गई थी, जिसमें कथित आय से अधिक संपत्ति से जुड़े भ्रष्टाचार के मामले में उन्हें नियमित जमानत देने से इनकार कर दिया गया था।जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस एनवी अंजारिया की बेंच ने पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ उनकी SLP पर नोटिस जारी किया, जिसने भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम, 1988 की धारा 13(1)(b) के सपठित धारा 13(2) के तहत पंजाब...

सुप्रीम कोर्ट को राज्य सरकार का आश्वासन- अप्रैल, 2026 तक पूरे हो जाएंगे राजस्थान नगर पालिका चुनाव
सुप्रीम कोर्ट को राज्य सरकार का आश्वासन- अप्रैल, 2026 तक पूरे हो जाएंगे राजस्थान नगर पालिका चुनाव

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को राजस्थान सरकार के इस भरोसे को रिकॉर्ड किया कि राज्य में शहरी स्थानीय निकायों के चुनाव अप्रैल, 2026 के बाद टाले नहीं जाएंगे, जबकि राजस्थान हाईकोर्ट के उस आदेश में दखल देने से इनकार कर दिया, जिसमें चुनावों को उस समय सीमा के भीतर कराने की इजाज़त दी गई थी।चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) सूर्यकांत, जस्टिस जॉयमाल्य बागची और जस्टिस विपुल पंचोली की बेंच कांग्रेस नेता और पूर्व विधायक संयम लोढ़ा द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें हाईकोर्ट के उस आदेश को चुनौती दी गई...

आखिरी बार साथ देखे जाने की थ्योरी अकेले पुख्ता सबूत के बिना सज़ा को कायम नहीं रख सकती: सुप्रीम कोर्ट ने हत्या के आरोपी को बरी किया
'आखिरी बार साथ देखे जाने' की थ्योरी अकेले पुख्ता सबूत के बिना सज़ा को कायम नहीं रख सकती: सुप्रीम कोर्ट ने हत्या के आरोपी को बरी किया

सुप्रीम कोर्ट ने एक व्यक्ति की हत्या की सज़ा यह मानते हुए रद्द की कि पूरी तरह से परिस्थितिजन्य सबूतों पर आधारित अभियोजन का मामला, अन्य पुख्ता सबूतों की गैरमौजूदगी में केवल "आखिरी बार साथ देखे जाने" की थ्योरी के आधार पर कायम नहीं रखा जा सकता।जस्टिस संजय करोल और जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा की बेंच ने दोषी की अपील को मंज़ूरी देते हुए कहा,"यह एक ऐसा मामला है, जहां आखिरी बार साथ देखे जाने के सबूत के अलावा, अपीलकर्ता के खिलाफ कोई अन्य पुख्ता सबूत नहीं है। इसलिए केवल आखिरी बार साथ देखे जाने के आधार पर...

वन संरक्षण अधिनियम के तहत केंद्र की पहले से मंज़ूरी के बिना वन भूमि को पट्टे पर नहीं दिया जा सकता या खेती के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट
वन संरक्षण अधिनियम के तहत केंद्र की पहले से मंज़ूरी के बिना वन भूमि को पट्टे पर नहीं दिया जा सकता या खेती के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को कहा कि वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 की धारा 2 के तहत केंद्र सरकार की पहले से मंज़ूरी के बिना वन भूमि को पट्टे पर नहीं दिया जा सकता या खेती के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता। इसके अलावा, कानून का उल्लंघन करके दिया गया ऐसा कोई भी पट्टा अवैध है और उसे जारी नहीं रखा जा सकता।कोर्ट ने कहा,"इस कोर्ट ने कई फैसलों में जंगल को गैर-आरक्षित करने पर रोक लगाने के लिए कई अनिवार्य निर्देश दिए हैं। वन भूमि पर खेती की अनुमति देने के लिए असल में जंगल को साफ करना होगा और ऐसा करना वन...

S. 389 CrPC | अपराध की गंभीरता और आरोपी की भूमिका को सज़ा निलंबित करने का आधार बनाना चाहिए: सुप्रीम कोर्ट
S. 389 CrPC | अपराध की गंभीरता और आरोपी की भूमिका को सज़ा निलंबित करने का आधार बनाना चाहिए: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने पटना हाईकोर्ट का आदेश रद्द कर दिया, जिसमें हत्या के अपराध के लिए दोषी ठहराए गए और उम्रकैद की सज़ा पाए व्यक्ति की सज़ा निलंबित कर उसे ज़मानत दी गई थी। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अपराध की गंभीरता और आरोपी की सक्रिय भूमिका के बावजूद राहत देकर हाई कोर्ट ने एक साफ़ और गंभीर गलती की है।जस्टिस मनमोहन और एनवी अंजारिया की बेंच ने शिकायतकर्ता की अपील को मंज़ूर करते हुए यह टिप्पणी की,“आरोप की प्रकृति, अपराध की घटनाओं और अपीलकर्ता की भूमिका जैसे प्रासंगिक विचारों को ध्यान में रखते हुए, यह माना...

हाईकोर्ट ने न्यायिक अधिकारी को कहा लापरवाह, सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर सुनवाई से किया इनकार
हाईकोर्ट ने न्यायिक अधिकारी को कहा 'लापरवाह', सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर सुनवाई से किया इनकार

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को राजस्थान हाईकोर्ट के आदेश में दखल देने से इनकार किया, जिसमें एक न्यायिक अधिकारी के आचरण पर प्रतिकूल टिप्पणी की गई। उस अधिकारी ने इस बात पर ध्यान नहीं दिया कि आरोपी ने जमानत मांगते समय पहले के निर्देशों का पालन नहीं किया।चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) सूर्यकांत और जस्टिस जॉयमाल्य बागची की बेंच न्यायिक अधिकारी की याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें राजस्थान हाईकोर्ट द्वारा जमानत याचिका से निपटने के तरीके पर की गई प्रतिकूल टिप्पणियों को चुनौती दी गई।हाईकोर्ट ने अपने आदेश...

राज्य डेंटल कोर्स के लिए NEET पात्रता को कम नहीं कर सकता: BDS मामले में सुप्रीम कोर्ट ने गलती करने वाले कॉलेजों पर 10 करोड़ का जुर्माना लगाया
राज्य डेंटल कोर्स के लिए NEET पात्रता को कम नहीं कर सकता: BDS मामले में सुप्रीम कोर्ट ने गलती करने वाले कॉलेजों पर 10 करोड़ का जुर्माना लगाया

सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को कहा कि राजस्थान राज्य के पास शैक्षणिक वर्ष 2016-17 के लिए बैचलर ऑफ डेंटल सर्जरी (बीडीएस) पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए नीट-यूजी परीक्षा में न्यूनतम योग्यता प्रतिशत को कम करने का कोई अधिकार नहीं है, और ऐसा करने का निर्णय स्पष्ट रूप से अवैध था। साथ ही, संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत अपनी असाधारण शक्तियों का आह्वान करते हुए, न्यायालय ने उन छात्रों की डिग्री की रक्षा की, जिन्होंने पहले ही बीडीएस पाठ्यक्रम पूरा कर लिया है, जबकि दंत चिकित्सा शिक्षा को नियंत्रित करने वाले...