संपादकीय

एक निजी वाहन एनडीपीएस एक्ट की धारा 43 में दी गई व्याख्या के अनुसार सार्वजनिक स्थान नहीं है : सुप्रीम कोर्ट
एक निजी वाहन एनडीपीएस एक्ट की धारा 43 में दी गई व्याख्या के अनुसार "सार्वजनिक स्थान" नहीं है : सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि एक निजी वाहन नारकोटिक ड्रग्स एंड साइकोट्रोपिक सबस्टेंस एक्ट, 1985 की धारा 43 में दी गई व्याख्या के अनुसार "सार्वजनिक स्थान" की अभिव्यक्ति में नहीं आएगा।जस्टिस यूयू ललित और जस्टिस केएम जोसेफ की पीठ ने कहा कि धारा 42 का पूरा गैर-अनुपालन असंभव है, हालांकि इसकी कठोरता कुछ स्थितियों में कम हो सकती है।इस मामले में, आरोपियों से वसूली प्रभावित हुई, जब वे एक सार्वजनिक स्थान पर एक जीप में सड़क पर बैठे थे। आरोपियों की सजा को बरकरार रखते हुए, उच्च न्यायालय ने कहा कि आरोपी के...

National Uniform Public Holiday Policy
सुप्रीम कोर्ट ने ईडी के कोयला घोटाला केस के लिए वरिष्ठ वकील मनिंदर सिंह और वकील राजेश बत्रा को विशेष सरकारी वकील नियुक्त किया

सुप्रीम कोर्ट ने प्रवर्तन निदेशालय द्वारा दायर करोडों रुपये के कोयला घोटाला मामलों की सुनवाई के लिए पूर्व एडिशनल सॉलिसिटर जनरल मनिंदर सिंह और अधिवक्ता राजेश बत्रा को विशेष सरकारी वकील (एसपीपी) नियुक्त किया है।शीर्ष अदालत द्वारा 2014 में एसपीपी नियुक्त किए गए वरिष्ठ अधिवक्ता आर एस चीमा के अनुरोध पर अदालत ने यह आदेश पारित किया था जिन्होंने अपनी उम्र का हवाला देते हुए और उनकी सहायता करने वाले विधि अधिकारियों की कमी के चलते जिम्मेदारी से मुक्त करने की अनुमति मांगी थी।केंद्र सरकार ने पूर्व एएसजी...

एक ही लेनदेन से उत्पन्न कई मामलों के लिए एक ही ट्रायल की मंज़ूरी के लिए एनआई अधिनियम को संशोधित करें  : सुप्रीम कोर्ट ने चेक बाउंस केसों में शीघ्र ट्रायल के लिए दिशानिर्देश जारी किए
'एक ही लेनदेन से उत्पन्न कई मामलों के लिए एक ही ट्रायल की मंज़ूरी के लिए एनआई अधिनियम को संशोधित करें ' : सुप्रीम कोर्ट ने चेक बाउंस केसों में शीघ्र ट्रायल के लिए दिशानिर्देश जारी किए

सुप्रीम कोर्ट की एक संविधान पीठ ने शुक्रवार को निगोशिएबल इंस्ट्रूमेंट्स एक्ट की धारा 138 के तहत चेक अनादर के मामलों की सुनवाई में तेज़ी लाने के लिए कई दिशा-निर्देश जारी किए।निर्देश इस प्रकार हैं:1. उच्च न्यायालय मुकदमे की सुनवाई के लिए समरी ट्रायल को समन ट्रायल में रूपांतरण के संबंध में मजिस्ट्रेटों को अभ्यास निर्देश जारी करेंगे।2. मजिस्ट्रेट न्यायालय के क्षेत्रीय अधिकार क्षेत्र से परे रहने वाले अभियुक्त को समन जारी करने से पहले धारा 202 सीआरपीसी के तहत जांच करेंगे।3. आपराधिक प्रक्रिया संहिता...

सुप्रीम कोर्ट, दिल्ली
वाणिज्यिक वाद में एक पक्ष की कार्यात्मक सुविधा सिविल प्रक्रिया संहिता की धारा 25 के तहत ट्रांसफर करने का आधार नहीं हो सकती : सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि वाणिज्यिक वाद में एक पक्ष की कार्यात्मक सुविधा सिविल प्रक्रिया संहिता की धारा 25 के तहत ट्रांसफर करने का आधार नहीं हो सकती है।न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस ने कहा,व्यवसाय-संबंधी विवादों को एक क्षेत्राधिकार से दूसरे में ट्रांसफर करने की मांग करने वाले याचिकाकर्ता को गंभीर कठिनाई या अभिजोन में पूर्वाग्रह स्थापित करना होगा अन्यथा उस मंच में मुकदमे का बचाव करना स्थापित करना होगा जिसमें मामले को तय करने की शक्ति नहीं है।इस मामले में, याचिकाकर्ता कंपनी ने उनके खिलाफ उत्तरदाताओं...

बैलेंस शीट में ऋण की प्रविष्टियां परिसीमन अधिनियम धारा 18 में ऋण की पावती के समान हो सकती हैं : सुप्रीम कोर्ट ने एनसीएलएटी पूर्ण पीठ का फैसला रद्द किया
बैलेंस शीट में ऋण की प्रविष्टियां परिसीमन अधिनियम धारा 18 में ऋण की पावती के समान हो सकती हैं : सुप्रीम कोर्ट ने एनसीएलएटी पूर्ण पीठ का फैसला रद्द किया

सुप्रीम कोर्ट ने माना है कि बैलेंस शीट में ऋण की प्रविष्टियां परिसीमन अधिनियम की धारा 18 के तहत सीमा अवधि का विस्तार करने के उद्देश्य से ऋण की पावती के समान हो सकती हैं।न्यायमूर्ति आरएफ नरीमन की अध्यक्षता वाली पीठ ने वी पद्मकुमार बनाम स्ट्रेस्ड एसेट्स स्टेबलाइजेशन फंड के मामले में नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल की पूर्ण पीठ के एक फैसले को रद्द कर दिया जिसने अलग विचार दिए थे।मुद्देअपील में सर्वोच्च न्यायालय की पीठ के समक्ष उठाया गया मुद्दा यह था कि क्या कॉरपोरेट देनदार की बैलेंस शीट में की गई...

लॉ स्कूल में प्रवेश लेने से पहले ही भेदभाव शुरू हो जाता है- जस्टिस चंद्रचूड़ ने पूछा- लॉ एंट्रेंस एग्जाम केवल अंग्रेजी में ही क्यों होती है?
'लॉ स्कूल में प्रवेश लेने से पहले ही भेदभाव शुरू हो जाता है'- जस्टिस चंद्रचूड़ ने पूछा- लॉ एंट्रेंस एग्जाम केवल अंग्रेजी में ही क्यों होती है?

सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ ने बुधवार को कहा कि,"लॉ स्कूल में प्रवेश लेने से पहले ही भेदभाव शुरू हो जाता है। अधिकांश शीर्ष लॉ स्कूल पांच साल के इंटीग्रेटेड लॉ कोर्स के लिए एक प्रतियोगी परीक्षा का आयोजन करते हैं, इसी के आधार पर स्टूडेंट्स को लॉ स्कूल में प्रवेश मिलता है। हालांकि यह परीक्षा केवल अंग्रेजी होती है इसके अलावा अंग्रेजी भाषा का भी एक अलग से टेस्ट लिया जाता है।" जस्टिस चंद्रचूड़ ने आगे कहा कि,"इसका परिणाम यह होता है कि केवल उच्च-गुणवत्ता वाली अंग्रेजी...

6 महीने से अधिक समय से केंद्र के अधीन लंबित कॉलेजियम की सिफारिशें 3 महीने के भीतर तय हो जाएंगी, एजी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया
6 महीने से अधिक समय से केंद्र के अधीन लंबित कॉलेजियम की सिफारिशें 3 महीने के भीतर तय हो जाएंगी, एजी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया

सुप्रीम कोर्ट में भारत के अटॉर्नी जनरल ने बताया कि 6 महीने से मंत्रालय के पास लंबित सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम द्वारा की गई सिफारिशों पर केंद्र 3 महीने के भीतर फैसला करेगा।एजी ने कहा कि इन लंबित नामों पर निर्णय लिया जाएगा और तीन महीने की अवधि के भीतर सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम को सूचित किया जाएगा।चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया एसए बोबडे, जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस सूर्यकांत की खंडपीठ ने एजी द्वारा दिए गए इस बयान को अपने आदेश में दर्ज किया।पिछली सुनवाई की तारीख, 25 मार्च को पीठ ने एजी से कहा था कि कॉलेजियम की...

नंबी नारायणन के खिलाफ इसरो जासूसी केस : सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को डीके जैन आयोग की रिपोर्ट आगे की कार्यवाही के लिए सीबीआई को देने के निर्देश दिए
नंबी नारायणन के खिलाफ इसरो जासूसी केस : सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को डीके जैन आयोग की रिपोर्ट आगे की कार्यवाही के लिए सीबीआई को देने के निर्देश दिए

सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को तीन सदस्यीय समिति, जिसकी अध्यक्षता शीर्ष अदालत के पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) डी के जैन ने की, की सिफारिश पर केंद्र को यह निर्देश दिया कि वह आगे की कार्रवाई के लिए सीबीआई को ये रिपोर्ट सौंपे।न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर की अध्यक्षता वाली पीठ केंद्र सरकार द्वारा जस्टिस जैन आयोग की रिपोर्ट पर आगे कार्यवाही के लिए दाखिल आवेदन पर विचार कर कर रही थी जिसमें 1994 में इसरो जासूसी मामले में केरल के पुलिस अफसरों की भूमिका की आगे जांच की सिफारिश की गई थी। इस मामले...

डॉ. आंबेडकर ने भारत की आधिकारिक भाषा के रूप में संस्कृत का प्रस्ताव रखा था: सीजेआई शरद अरविंद बोबड़े
डॉ. आंबेडकर ने भारत की आधिकारिक भाषा के रूप में संस्कृत का प्रस्ताव रखा था: सीजेआई शरद अरविंद बोबड़े

भारत के मुख्य न्यायाधीश शरद अरविंद बोबड़े ने बुधवार को कहा कि डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर ने संस्कृत को भारत संघ की आधिकारिक भाषा के रूप में प्रस्तावित किया था क्योंकि वे भाषाओं को लेकर होने वाले विवाद से अवगत थे।सीजेआई बोबड़े ने महाराष्ट्र में महाराष्ट्र नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी (MNLU) के शैक्षणिक भवन के उद्घाटन समारोह में कहा कि डॉ. आंबेडकर लोगों की सामाजिक और राजनीतिक जरूरतों को समझते थे।सीजेआई बोबड़े ने कहा कि,"डॉ. आंबेडकर ने भाषा के मुद्दे पर एक प्रस्ताव पेश किया, जिस पर कुछ मुल्लों, पुजारियों और...

सुप्रीम कोर्ट ने लक्षण आने पर कोर्ट स्टाफ, एडवोकेट के लिए RT-PCR टेस्ट अनिवार्य करते हुए अतिरिक्त दिशा निर्देश जारी किए
सुप्रीम कोर्ट ने लक्षण आने पर कोर्ट स्टाफ, एडवोकेट के लिए RT-PCR टेस्ट अनिवार्य करते हुए अतिरिक्त दिशा निर्देश जारी किए

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को COVID -19 मामलों के अचानक बढ़ने और रजिस्ट्री कर्मचारियों, अधिवक्ताओं और उनके कर्मचारियों आदि सहित लोगों के सुप्रीम कोर्ट परिसर में प्रवेश करने के संबंध में संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए एहतियाती उपाय के रूप में बढ़ती चिंताओं के मद्देनजर अतिरिक्त दिशानिर्देश जारी किए।इस संबंध में जारी सर्कुलर में कहा गया कि "COVID -19 संक्रमण के लिए अधिसूचित लोगों के समान कोई भी लक्षण दिखाई देने पर, सुप्रीम कोर्ट परिसर के सभी प्रवेश द्वार, अर्थात कॉर्डिनेट एजेंसियों के रजिस्ट्री...

National Uniform Public Holiday Policy
बचाव की योग्यता पर आरोप तय करने के चरण में और / या आरोपमुक्त करने के आवेदन के चरण में विचार नहीं किया जाना चाहिए : सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि बचाव की योग्यता पर आरोप तय करने के चरण में और / या आरोपमुक्त करने के आवेदन के चरण में विचार नहीं किया जाना चाहिए।आरोप तय करने के चरण में और / या आरोपमुक्त करने के आवेदन पर विचार करने के चरण में, मिनी ट्रायल की अनुमति नहीं है।जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ और जस्टिस एमआर शाह की पीठ ने कहा, इस मामले में, विशेष अदालत ने रिकॉर्ड पर मौजूद सामग्री पर विचार किया, जिसमें शिकायतकर्ता और अभियुक्तों के बीच दर्ज की गई बातचीत की प्रतिलेख शामिल था और रिकॉर्ड पर अन्य सामग्री पर विचार...

सीआरपीसी 482 के तहत रद्द करने की याचिका को खारिज/ निस्तारण करते समय हाईकोर्ट गिरफ्तार ना करने और / या कोई कठोर कदम ना उठाने  के आदेश नहीं दे सकते : सुप्रीम कोर्ट
सीआरपीसी 482 के तहत रद्द करने की याचिका को खारिज/ निस्तारण करते समय हाईकोर्ट गिरफ्तार ना करने और / या "कोई कठोर कदम ना उठाने " के आदेश नहीं दे सकते : सुप्रीम कोर्ट

सीआरपीसी की धारा 482 के तहत रद्द करने की याचिका को खारिज/ निस्तारण करते समय और / या भारत के संविधान के अनुच्छेद 226 के तहत उच्च न्यायालय जांच के दौरान या जांच पूरी होने तक और / या सीआरपीसी की धारा 173 के तहत अंतिम रिपोर्ट / चार्जशीट दायर होने तक गिरफ्तार ना करने और / या "कोई कठोर कदम ना उठाने " के आदेश को पारित नहीं करेगा, सुप्रीम कोर्ट ने कहा है।सुप्रीम कोर्ट ने निहारिका इन्फ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड बनाम महाराष्ट्र राज्य मामले में फैसला दिया है,"हम एक बार फिर जांच पूरी होने तक अंतिम...

गुजरात दंगा : सुप्रीम कोर्ट ने नरेंद्र मोदी व अन्य को क्लीन चिट देने की एसआईटी रिपोर्ट के खिलाफ जाकिया जाफ़री की याचिका पर सुनवाई टाली
गुजरात दंगा : सुप्रीम कोर्ट ने नरेंद्र मोदी व अन्य को क्लीन चिट देने की एसआईटी रिपोर्ट के खिलाफ जाकिया जाफ़री की याचिका पर सुनवाई टाली

2002 के गुजरात दंगों में गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी और अन्य उच्च पदाधिकारियों को क्लीन चिट देने वाली एसआईटी रिपोर्ट को चुनौती देने वाली जाकिया जाफ़री की याचिका पर सुनवाई को सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को दो सप्ताह के लिए स्थगित कर दिया।जस्टिस एएम खानविलकर, जस्टिस दिनेश माहेश्वरी और जस्टिस कृष्ण मुरारी की पीठ ने याचिकाकर्ता की ओर से किए गए अनुरोध के आधार पर सुनवाई टालने को मंज़ूरी दे दी।2002 के गुजरात दंगों के दौरान गुलबर्ग हाउसिंग सोसाइटी हत्याकांड में मारे गए कांग्रेस विधायक...

बीमाकर्ता द्वारा शराब पीकर ड्राइविंग करने के आधार पर दावे को खारिज करने के लिए ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट या ब्लड टेस्ट आवश्यक नहीं: सुप्रीम कोर्ट
'बीमाकर्ता द्वारा शराब पीकर ड्राइविंग करने के आधार पर दावे को खारिज करने के लिए ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट या ब्लड टेस्ट आवश्यक नहीं': सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण निर्णय में कहा है कि मोटर व्हीकल एक्ट के तहत ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट या ब्लड टेस्ट एक बीमाकर्ता के लिए शराब पीकर ड्राइविंग करने के आधार पर दावे को खारिज करने के लिए आवश्यक नहीं है।कोर्ट ने कहा कि यदि दुर्घटना के समय बीमा कंपनी यह तथ्य स्थापित करने में सक्षम है कि ड्राइवर शराब के नशे में था तो बीमाकर्ता को केवल इस आधार पर पॉलिसी के लाभ के बाहर करके उसके अपने अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता कि शराब की उपस्थिति के लिए वैज्ञानिक परीक्षण नहीं किया गया था।जस्टिस...

आप चाहते हैं कि न्यायपालिका अपनी सेवानिवृत्ति की आयु बढ़ाए? सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट और एससी जजों के लिए रिटायरमेंट की समान आयु की मांग करने वाली याचिका पर सुनवाई करने से इनकार किया
'आप चाहते हैं कि न्यायपालिका अपनी सेवानिवृत्ति की आयु बढ़ाए?" सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट और एससी जजों के लिए रिटायरमेंट की समान आयु की मांग करने वाली याचिका पर सुनवाई करने से इनकार किया

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों के लिए सेवानिवृत्ति की एक समान उम्र की मांग वाली जनहित याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया।भारत के मुख्य न्यायाधीश एसए बोबडे, जस्टिस एएस बोपन्ना और जस्टिस वी रामसुब्रमण्यम की एक पीठ ने याचिकाकर्ता को याचिका वापस लेने की अनुमति दी। पीठ ने कहा कि याचिकाकर्ता इस संबंध में अपना प्रतिनिधित्व केंद्र सरकार या भारत के विधि आयोग में दाखिल कर सकता है।सीजेआई बोबडे ने याचिकाकर्ता वकील अश्विनी उपाध्याय से पूछा,"आप न्यायपालिका को...

आपने कोर्ट पहुँचने में बहुत देर कर दी: सुप्रीम कोर्ट ने आईएनएस विराट के विध्वंस को रोकने की मांग करने वाली याचिका खारिज की
'आपने कोर्ट पहुँचने में बहुत देर कर दी': सुप्रीम कोर्ट ने आईएनएस विराट के विध्वंस को रोकने की मांग करने वाली याचिका खारिज की

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को भारतीय नौसेना के विमानवाहक पोत 'आईएनएस विराट' के विघटन के निराकरण करने और इसे समुद्री संग्रहालय में बदलने के लिए उन्हें सौंपने की मागं करने वाली एक निजी फर्म द्वारा दायर एसएलपी को खारिज कर दिया।भारत के मुख्य न्यायाधीश एसए बोबडे की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने याचिकाकर्ता-कंपनी मेसर्स एनविटेक मरीन कंसल्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड की प्रतिनिधि रूपाली शर्मा को सूचित किया कि उसने अदालत में बहुत देर से संपर्क किया है और जैसा कि रक्षा मंत्रालय ने पहले ही इस अनुरोध से इनकार कर दिया...

सुप्रीम कोर्ट राफेल डील में नए सिरे से जांच की मांग करने वाली जनहित याचिका पर दो सप्ताह बाद सुनवाई करेगा
सुप्रीम कोर्ट राफेल डील में नए सिरे से जांच की मांग करने वाली जनहित याचिका पर दो सप्ताह बाद सुनवाई करेगा

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक फ्रांसीसी समाचार पोर्टल में हालिया प्रकाशिथ रिपोर्टों के सदर्भ में इस डील की जांच करने की मांग करने वाली जनहित याचिका पर दो सप्ताह के बाद सुनवाई करने पर सहमति जताई।याचिका दायर करने वाले वकील मनोहर लाल शर्मा ने भारत के मुख्य न्यायाधीश एसए बोबडे के समक्ष मामले का उल्लेख किया।इस मामले के बारे में उल्लेख करते हुए शर्मा ने कहा कि वह 23 अप्रैल को सीजेआई बोबडे की सेवानिवृत्ति से पहले उनके द्वारा दायर एक नई याचिका की सूची के लिए अनुरोध कर रहे है।शर्मा ने कहा,"मैं इस सप्ताह...