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कोर्ट को माई लॉर्ड या यौर लॉर्डशिप के रूप में संबोधित करने से बचें: कर्नाटक हाईकोर्ट के जस्टिस कृष्ण भट्ट ने अधिवक्ताओं से आग्रह किया
कोर्ट को 'माई लॉर्ड' या 'यौर लॉर्डशिप' के रूप में संबोधित करने से बचें: कर्नाटक हाईकोर्ट के जस्टिस कृष्ण भट्ट ने अधिवक्ताओं से आग्रह किया

कर्नाटक हाईकोर्ट के जस्टिस पी कृष्ण भट्ट ने अधिवक्ताओं से अनुरोध किया कि अधिवक्ताओं को कोर्ट को 'माई लॉर्ड' या 'यौर लॉर्डशिप' के रूप में संबोधित करने से बचना चाहिए।कोर्ट ने नोट में लिखा है कि बार के सदस्यों से अनुरोध है कि वे अदालत की गरिमा के अनुरूप अभ्यास करें और जो भारतीय परिस्थितियों में अधिक महत्वपूर्ण है जैसे 'सर' शब्द का इस्तेमाल जज को संबोधित करने के लिए करें।पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति अरुण कुमार त्यागी ने हाल ही में बार से इसी तरह का अनुरोध किया था।भारत के मुख्य न्यायाधीश...

COVID19- आरटी-पीसीआर टेस्ट रिपोर्टें व्हाट्सएप पर मरीजों को तुरंत भेजी जाए: बॉम्बे हाईकोर्ट
COVID19- आरटी-पीसीआर टेस्ट रिपोर्टें व्हाट्सएप पर मरीजों को तुरंत भेजी जाए: बॉम्बे हाईकोर्ट

बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर खंडपीठ ने कहा कि मरीजों को COVID-19 की आरटी-पीसीआर रिपोर्ट की सॉफ्ट कॉपी को व्हाट्सएप के माध्यम से तुरंत भेजी जानी चाहिए। उन्हें काउंसिल ऑफ इंडियन रिसर्च ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) की वेबसाइट पर अपलोड किए बिना इंतजार नहीं कराना चाहिए।जस्टिस जेड़ए हक़ और एमए बोरकर की खंडपीठ ने एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि एक बार COVID-19 पॉजिटिव मरीज को अपनी रिपोर्ट दे दी जाए, तो उसे 24 घंटे के भीतर वेबसाइट पर अपलोड करना होगा, जबकि एक निगेटिव रिपोर्ट सात दिनों के भीतर अपलोड की...

कर्नाटक हाईकोर्ट ने खुद और अधीनस्थ सभी न्यायालयों द्वारा पारित अंतरिम आदेशों की अवधि 29 मई, 2021 तक बढ़ाई
कर्नाटक हाईकोर्ट ने खुद और अधीनस्थ सभी न्यायालयों द्वारा पारित अंतरिम आदेशों की अवधि 29 मई, 2021 तक बढ़ाई

कर्नाटक हाईकोर्ट ने शुक्रवार को अपने और अधीनस्थ न्यायालयों और ट्रिब्यूनलों द्वारा पारित सभी अंतरिम आदेशों के संचालन को 29 मई, 2021 तक बढ़ा दिया हैं।मुख्य न्यायाधीश अभय ओका और न्यायमूर्ति अरविंद कुमार की खंडपीठ ने कहा,"पिछले तीन हफ्तों के दौरान राज्य में COVID-19 मामलों में तेजी से वृद्धि हुई है। कल COVID-19 के 14,738 पॉजीटिव मामले थे, जिनमें से 10497 बेंगलुरु शहरी जिले में हैं। आज से, नौ जिलों में जिला और ट्रायल अदालतों के कामकाज को इस तथ्य पर विचार करते हुए प्रतिबंधित कर दिया गया है कि इन...

गुजरात सरकार को COVID-19 के सही आंकड़ों को प्रकाशित करने में संकोच नहीं करना चाहिए: गुजरात हाईकोर्ट ने पारदर्शिता पर जोर दिया
'गुजरात सरकार को COVID-19 के सही आंकड़ों को प्रकाशित करने में संकोच नहीं करना चाहिए': गुजरात हाईकोर्ट ने पारदर्शिता पर जोर दिया

गुजरात हाईकोर्ट ने COVID-19 से संबंधित टेस्टिंग डेटा के प्रकाशन और सुविधाओं की उपलब्धता में पारदर्शिता की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि राज्य की पारदर्शिता और ईमानदारी आम जनता के बीच विश्वास पैदा करेगी।कोर्ट ने राज्य में COVID-19 की स्थिति से संबंधित आवश्यक डेटा का प्रकाशन करने और जनता के साथ पारदर्शी संवाद करके जनता के बीच विश्वास बढ़ाने के लिए छह महत्वपूर्ण निर्देश दिए हैं।कोर्ट ने राज्य में COVID-19 की स्थिति का जायजा लेने के लिए स्वत: संज्ञान लेकर निर्देश जारी किए।मुख्य न्यायाधीश विक्रम...

बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर कर लॉकडाउन जुर्माना का उपयोग बस और रेलवे स्टेशनों पर सेनिटाइजर डिस्पेंसर उपलब्ध कराने में किए जाने के लिए दिशा-निर्देश दिए जाने की मांग की गई
बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर कर लॉकडाउन जुर्माना का उपयोग बस और रेलवे स्टेशनों पर सेनिटाइजर डिस्पेंसर उपलब्ध कराने में किए जाने के लिए दिशा-निर्देश दिए जाने की मांग की गई

बॉम्बे हाईकोर्ट में एक स्थानीय एनजीओ ने एक जनहित याचिका (पीआईएल) दायर कर बीएमसी और राज्य को लॉकडाउन के नियमों का उल्लंघन करने के लिए एकत्र किए गए धन का उपयोग रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड और मलिन बस्तियों जैसे सार्वजनिक स्थानों पर सैनिटाइजर वितरण मशीनें उपलब्ध कराने के लिए दिशा-निर्देश दिए जाने की मांग की गई है।नागरिक कल्याण एवं शिक्षा राज्यों द्वारा दायर जनहित याचिका अन्य शहरों द्वारा किए गए स्वच्छता उपायों का भी हवाला देती है, जैसे- बेंगलुरू, चेन्नई, गुवाहाटी कोयम्बटूर और रायपुर के नागरिक निकायों ने...

इस आधार पर महिलाओं को रोजगार से वंचित नहीं किया जा सकता कि यह रात का काम है: केरल हाईकोर्ट  ने केवल पुरुष ही आवेदन कर सकते हैं वाली शर्त रद्द की
'इस आधार पर महिलाओं को रोजगार से वंचित नहीं किया जा सकता कि यह रात का काम है': केरल हाईकोर्ट ने 'केवल पुरुष ही आवेदन कर सकते हैं' वाली शर्त रद्द की

केरल हाईकोर्ट ने कहा कि एक महिला जो पूरी तरह से योग्य है, उसे इस आधार पर रोजगार के अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता है कि वह एक महिला है और क्योंकि नौकरी की प्रकृति के अनुसार रात के समय काम करना पड़ेगा।न्यायमूर्ति अनु शिवरामन ने कहा कि महिला का नौकरी हेतु योग्य होने के सिवा नौकरी के महिला के अधिकार के लिए दूसरा कोई सुरक्षात्मक प्रावधान नहीं है।कोर्ट ने केरल मिनरल्स एंड मेटल्स लिमिटेड द्वारा नौकरी के लिए जारी अधिसूचना को पलटा, जिसमें केवल पुरुष उम्मीदवारों को पद के लिए आवेदन करने की अनुमति दी...

COVID-19 की दूसरी लहर: तेलंगाना हाईकोर्ट ने रोटेशन बेसिस पर पूरी तरह से वर्चुअल मोड के माध्यम से काम करने का फैसला किया
COVID-19 की दूसरी लहर: तेलंगाना हाईकोर्ट ने रोटेशन बेसिस पर पूरी तरह से वर्चुअल मोड के माध्यम से काम करने का फैसला किया

तेलंगाना हाईकोर्ट ने COVID-19 मामलों में आए उछाल को देखते हुए गुरुवार को अपने पहले के एसओपी को संशोधित करते हुए यह फैसला किया कि सभी बेंच सुनवाई के हाइब्रिड मोड को जारी रखने के बजाय तत्काल प्रभाव से मामलों की सुनवाई करेंगे।उक्त प्रक्रिया कोा प्रभाग द्वारा और साथ ही हाईकोर्ट की एकल पीठों द्वारा रोटेशनल आधार पर पालन किया जाएगा।तेलंगाना हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल द्वारा जारी अधिसूचना दिनांक 15.04.2021 के अनुसार,:"COVID-19 महामारी की वर्तमान लहर को देखते हुए संदर्भ 1 में SOP के आंशिक संशोधन में और...

राज्य सरकार ने COVID-19 पर वास्तविक संख्या का पॉजीटिव मामलों के साथ मिलान नहीं किया: गुजरात हाईकोर्ट
राज्य सरकार ने COVID-19 पर वास्तविक संख्या का पॉजीटिव मामलों के साथ मिलान नहीं किया: गुजरात हाईकोर्ट

गुजरात हाईकोर्ट ने गुरुवार को कहा कि अगर गुजरात सरकार ने पूर्व में कदम उठाए होते तो COVID-19 महामारी की वर्तमान गंभीर स्थिति से बचा जा सकता था।मुख्य न्यायाधीश विक्रम नाथ ने अधिवक्ता जनरल कमल त्रिवेदी से कहा,"अगर राज्य सरकार ने कदम उठाए होते, लेकिन अगर यह एक धक्का है और अगर यह सब पहले किया होता, तो पीआईएल दर्ज होने से पहले, स्थिति बेहतर होगी। मगर नहीं, राज्य तो सो रहा था।"जबकि एजी ने कहा कि राज्य पर्याप्त रूप से तैयार है। इस पर सीजे ने कहा"नहीं, आपके पास पूरी मशीनरी और संसाधन हैं, जो यह देखने के...

स्वास्थ्य का अधिकार उन लोगों द्वारा बाधित नहीं किया जा सकता है जो मास्क पहनने और सामाजिक दूरी बनाने के इच्छुक नहीं हैंः कर्नाटक हाईकोर्ट
स्वास्थ्य का अधिकार उन लोगों द्वारा बाधित नहीं किया जा सकता है जो मास्क पहनने और सामाजिक दूरी बनाने के इच्छुक नहीं हैंः कर्नाटक हाईकोर्ट

कर्नाटक हाईकोर्ट ने कहा है कि स्वस्थ जीवन जीने का अधिकार भारत के संविधान के आर्टिकल 21 का एक अभिन्न अंग है। कोर्ट ने कहा कि, ''एक स्वस्थ जीवन जीने का अधिकार उन व्यक्तियों द्वारा बाधित नहीं किया जा सकता है जो मास्क पहनने,सोशल डिस्टेंसिग और भीड़ एकत्रित न करने आदि के नियमों का पालन करने की चिंता नहीं करते हैं।'' मुख्य न्यायाधीश अभय ओका और न्यायमूर्ति सूरज गोविंदराज की खंडपीठ ने गुरुवार को स्पष्ट किया "मास्क न पहनना और सोशल डिस्टेंसिंग के नियम का पालन न करना धारा 5 की उपधारा 1 (कर्नाटक महामारी...

COVID-19- दिल्ली सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी में वीकेंड कर्फ्यू की घोषणा की; आवश्यक सेवाएं जारी रहेंगी
COVID-19- दिल्ली सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी में वीकेंड कर्फ्यू की घोषणा की; आवश्यक सेवाएं जारी रहेंगी

दिल्ली सरकार ने गुरुवार को राष्ट्रीय राजधानी में पिछले कुछ हफ्तों में COVID-19 मामलों में निरंतर वृद्धि को देखते हुए वीकेंड कर्फ्यू की घोषणा की। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मीडिया ब्रीफिंग को संबोधित करने के बाद यह घोषणा की। उक्त घोषणा दिल्ली एलजी अनिल बैजल के साथ अरविंद केजरीवाल की बैठक के बाद की गई।हालांकि यह कहा गया है कि आवश्यक सेवाओं को वीकेंड कर्फ्यू से मुक्त रखा जाएगा। सरकार ने यह भी घोषणा की है कि वैवाहिक कार्यक्रमों के लिए कर्फ्यू पास जारी किए जाएंगे, जो पहले से ही नियोजित...

दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली दंगों के दौरान हेड कांस्टेबल पर बंदूक तानने के आरोपी शाहरुख पठान की जमानत याचिका खारिज की
दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली दंगों के दौरान हेड कांस्टेबल पर बंदूक तानने के आरोपी शाहरुख पठान की जमानत याचिका खारिज की

दिल्ली हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति सुरेश कैत की एकल न्यायाधीश पीठ ने दिल्ली दंगों के आरोपी शाहरुख पठान खान की जमानत अर्जी को खारिज कर दिया। शाहरुख पर दिल्ली दंगों के मामले में जाफराबाद में दिल्ली पुलिस के एक हेड कांस्टेबल पर गोलीबारी करने का आरोप हैं।पुलिस द्वारा सबूत के तौर पर पेश किए गए वीडियो फुटेज पर भरोसा करते हुए अदालत ने कहा,"इस अदालत के सामने रखे गए वीडियो क्लिपिंग और तस्वीरों ने इस कोर्ट की अंतरात्मा को हिला दिया है कि याचिकाकर्ता कानून और व्यवस्था को अपने हाथों में कैसे ले सकता है।"पीठ ने...

एक मिसाल के रूप में दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश पर विचार नहीं किया जा सकता: बॉम्बे हाईकोर्ट ने रमजान में जामा मस्जिद में नमाज पढ़ने की मांग करने वाली याचिका को खारिज किया
'एक मिसाल के रूप में दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश पर विचार नहीं किया जा सकता:' बॉम्बे हाईकोर्ट ने रमजान में जामा मस्जिद में नमाज पढ़ने की मांग करने वाली याचिका को खारिज किया

बॉम्बे हाईकोर्ट की एक विशेष अनुमति पीठ ने बुधवार को मुंबई में जामा मस्जिद मस्जिद को रमजान के पवित्र महीने के दौरान राज्य में चल रही गंभीर COVID-19 स्थिति को देखते हुए नमाज के लिए खोलने की अनुमति देने से इनकार कर दिया।जस्टिस आरडी धानुका और जस्टिस वीजी बिष्ट की पीठ ने बॉम्बे ट्रस्ट दायर दक्षिण मुंबई में क्रॉफोर्ड मार्केट के पास एक एकड़ भूखंड पर बनी जामा मस्जिद में दिन में पांच बार नमाज और तरावीह की नमाज अदा करने के लिए केवल 50 लोगों को निर्देश देने की मांग करने वाली याचिका को खारिज कर दिया।पीठ ने...

केवल इस आधार पर पूरे परिवार को हत्या के गंभीर अपराध के लिए कलंकित नहीं किया जा सकता कि शादी के दो महीने के भीतर वैवाहिक घर में पत्नी की मौत हो गई: बॉम्बे हाईकोर्ट
'केवल इस आधार पर पूरे परिवार को हत्या के गंभीर अपराध के लिए कलंकित नहीं किया जा सकता कि शादी के दो महीने के भीतर वैवाहिक घर में पत्नी की मौत हो गई': बॉम्बे हाईकोर्ट

बॉम्बे हाईकोर्ट ने हाल ही में एक मामले में मृत पत्नी के पति और ससुराल वालों को बरी किया। इस मामले में कोर्ट ने देखा कि शादी के दो महीने के भीतर पत्नी ने आत्महत्या कर ली थी। यह देखते हुए कोर्ट ने कहा कि केवल इस आधार पर पूरे परिवार (ससुराल वालों) को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 302 के तहत हत्या के गंभीर अपराध के लिए कलंकित नहीं किया जा सकता कि शादी के दो महीने के भीतर वैवाहिक घर में पत्नी की मृत्यु हो गई।न्यायमूर्ति एनआर बोरकर और न्यायमूर्ति साधना एस जाधव की खंडपीठ ने 29 जून 2012 के सेशन...

इलाहाबाद हाईकोर्ट के चीफ ज‌स्टिस गोविंद माथुर को नागरिक स्वतंत्रता के रक्षक के रूप में याद किया जाएगा
इलाहाबाद हाईकोर्ट के चीफ ज‌स्टिस गोविंद माथुर को नागरिक स्वतंत्रता के रक्षक के रूप में याद किया जाएगा

जस्टिस गोविंद माथुर इलाहाबाद हाईकोर्ट के चीफ जस्ट‌िस पद से सेवानिवृत्त हो गए। मूल रूप से राजस्थान हाईकोर्ट से संबंद्ध रहे जस्टिस माथुर को नवंबर 2017 में इलाहाबाद हाईकोर्ट में स्थानांतरित किया गया था। उन्होंने दो साल से ज्यादा हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस के रूप में कार्य किया।चीफ ज‌स्ट‌िस के रूप में अपने कार्यकाल के दरमियान उन्होंने व्यक्तिगत स्वतंत्रता और मानवाधिकारों के निडर रक्षक के रूप में अपनी पहचान बनाई। कल एक वर्चुअल समारोह में दिए अपने विदाई भाषण में, जस्टिस माथुर ने कहा कि वह डॉ बीआर अंबेडकर...

ट्रायल कोर्ट के जज ने सजा सुनाते समय संस्कृत के श्लोक और जगजीत सिंह की गजल का उल्लेख किया; पटना हाईकोर्ट ने कहा- जज को ट्रेनिंग की जरूरत
ट्रायल कोर्ट के जज ने सजा सुनाते समय संस्कृत के श्लोक और जगजीत सिंह की गजल का उल्लेख किया; पटना हाईकोर्ट ने कहा- जज को ट्रेनिंग की जरूरत

पटना हाईकोर्ट ने कहा कि ट्रायल जज को न्यायिक अकादमी में विशेष ट्रेनिंग की आवश्यकता है। कोर्ट ने यह टिप्पणी यह देखते हुए की कि ट्रायल कोर्ट के जज ने यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण करने संबंधी अधिनियम (POCSO ACT) के तहत दोषी ठहराए गए एक व्यक्ति को सजा सुनाते हुए संस्कृत के श्लोक और स्वर्गीय जगजीत सिंह की गजलों को संदर्भित किया।कोर्ट ने यह कहते हुए सजा के आदेश को पलटा कि ट्रायल में सामने आए सबूतों में किसी भी अपराध का गठन नहीं होता है।न्यायमूर्ति बीरेंद्र कुमार की एकल न्यायाधीश पीठ ने कहा कि...