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कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने स्थानीय निकाय चुनावों के लिए परिसीमन संबंधी पर कार्यों पर दिए हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की
कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने स्थानीय निकाय चुनावों के लिए परिसीमन संबंधी पर कार्यों पर दिए हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की

सुप्रीम कोर्ट शुक्रवार को कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग द्वारा दायर एक याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत हो गया।याचिका में कर्नाटक हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती दी गई है, जिसने राज्य सरकार को निर्वाचन क्षेत्रों के परिसीमन की कवायद को पूरा करने और कर्नाटक राज्य में सभी तालुक और जिला पंचायतों के लिए एसएी, एसटी, ओबीसी और अन्य श्रेणियों के लिए आरक्षण प्रदान करने के लिए 12 सप्ताह का और समय दिया था।जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस विक्रम नाथ की पीठ ने मामले को अगले सप्ताह के लिए सूचीबद्ध करते हुए औपचारिक नोटिस जारी...

दिल्ली हाईकोर्ट, दिल्ली
'जन गण मन' और 'वंदे मातरम' एक ही स्तर पर रखे गए हैं, सभी नागरिकों को दोनों का समान सम्मान करना चाहिए: केंद्र ने दिल्ली हाईकोर्ट से कहा

केंद्र ने दिल्ली हाईकोर्ट को बताया है कि जन गण मन और वंदे मातरम दोनों एक स्तर पर रखे गए हैं, और प्रत्येक नागरिक को दोनों के प्रति समान सम्मान दिखाना चाहिए। गृह मंत्रालय ने भाजपा नेता और एडवोकेट अश्विनी कुमार उपाध्याय की जनहित याचिका के जवाब में कहा, "राष्ट्रीय गीत भारत के लोगों की भावनाओं और मानस में एक अनूठा और विशेष स्थान रखता है।"गृह मंत्रालय ने जवाब में कहा कि राष्ट्रीय गीत गाने को रोकने या इस तरह के गायन में लगे किसी भी सभा में गड़बड़ी पैदा करने के कृत्य को राष्ट्रीय सम्मान के अपमान की...

जम्मू एंड कश्मीर एंड लद्दाख हाईकोर्ट ने कब्जे में पक्ष को निर्धारित किए बिना संपत्ति विवादों में यथास्थिति के आदेश पारित करने का खंडन किया
जम्मू एंड कश्मीर एंड लद्दाख हाईकोर्ट ने कब्जे में पक्ष को निर्धारित किए बिना संपत्ति विवादों में यथास्थिति के आदेश पारित करने का खंडन किया

जम्मू एंड कश्मीर एंड लद्दाख हाईकोर्ट ने शुक्रवार को ट्रायल कोर्ट द्वारा नियमित रूप से संपत्ति के मुकदमों में यथास्थिति के आदेश पारित करने की प्रथा खारिज कर दी। उक्त आदेश बिना यह निर्दिष्ट किए पारित किया गया कि विवादग्रस्त संपत्ति पर कौन से पक्ष का कब्जा है।जस्टिस संजय धर ने कहा कि एक अंतरिम आदेश पारित करते हुए पक्षकारों को यथास्थिति बनाए रखने का निर्देश देते हुए निचली अदालतों को किसी भी अनिश्चित शर्तों में अस्थायी निष्कर्ष दर्ज नहीं करना चाहिए कि विवादित संपत्ति पर किस पक्ष का कब्जा है।बेंच ने...

[पॉक्सो एक्ट] अभियुक्त की सुनवाई के बिना एकतरफा जमानत रद्द करना कानूनन सही नहीं: केरल हाईकोर्ट
[पॉक्सो एक्ट] अभियुक्त की सुनवाई के बिना एकतरफा जमानत रद्द करना कानूनन सही नहीं: केरल हाईकोर्ट

केरल हाईकोर्ट ने बुधवार को दोहराया कि जमानत रद्द करने के लिए आवेदन पर सुनवाई करते हुए आरोपी को सुनवाई का अवसर दिया जाना चाहिए। भले ही मामला पॉक्सो अधिनियम के तहत दर्ज आरोपी से संबंधित ही क्यों न हो।हाईकोर्ट ने स्थानीय फास्ट ट्रैक कोर्ट की कार्रवाई की निंदा की, जिसने भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 354 ए (आई) (i) और यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण अधिनियम, 2012 (POCSO Act) की धारा 9 और 10 के तहत दर्ज आरोपों में सुनवाई का अवसर दिए बिना आरोपी की जमानत रद्द कर दी।जमानत रद्द करने की मांग इस आधार...

इलाहाबाद हाईकोर्ट
पॉक्सो एक्ट| 13 साल के लड़के का यह दावा कि आरोपी ने 'गंदी हरकत' की थी, धारा 204 सीआरपीसी के तहत प्रक्रिया जारी करने के लिए पर्याप्त: इलाहाबाद हाईकोर्ट

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने हाल में कहा कि 13 वर्षीय लड़के का यह कथन कि आवेदक ने 'गंदी हरकत' की है, आरोपी (इस मामले में एक महिला) को बुलाने के लिए धारा 204 सीआरपीसी के अनुसार प्रथम दृष्टया पर्याप्त आधार होगा।जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी की पीठ ने स्पष्ट किया कि इस तरह का कृत्य, यदि ट्रायल में उसका किया जाना साबित हो जाता है तो पॉक्सो अधिनियम की धारा 7 और 8 के तहत अपराध हो सकता है, यहां तक ​​कि यौन भावना से एक बच्चे के निजी अंग को छूना भी पोक्सो एक्ट की धारा 7 के तहत 'यौन हमले' के अंतर्गत आ सकता...

मैं इस बारे में बहुत परेशान था: कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने राजद्रोह कानून को स्थगित रखने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश की आलोचना की
"मैं इस बारे में बहुत परेशान था": कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने राजद्रोह कानून को स्थगित रखने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश की आलोचना की

मुंबई में इंडिया टुडे कॉन्क्लेव में बोलते हुए, केंद्रीय कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने शुक्रवार को कहा कि वह इस तथ्य से 'परेशान' रहे कि सुप्रीम कोर्ट ने इस साल की शुरुआत में राजद्रोह कानून (Sedition Law) को स्थगित रखने का फैसला किया था, इस तथ्य के बावजूद कि सरकार ने कोर्ट को सूचित किया था कि वह कानून में बदलाव करने के बारे में सोच रही है। कानून मंत्री सुप्रीम कोर्ट के 11 मई के आदेश का जिक्र कर रहे थे ,जब एक ऐतिहासिक कदम में भारत के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना, जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस...

नाबालिग के घरेलू हिंसा के आवेदन को उसके बालिग होने पर सुनवाई योग्य होने के आधार पर खारिज नहीं किया जा सकता: कलकत्ता हाईकोर्ट
नाबालिग के घरेलू हिंसा के आवेदन को उसके बालिग होने पर सुनवाई योग्य होने के आधार पर खारिज नहीं किया जा सकता: कलकत्ता हाईकोर्ट

कलकत्ता हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया कि घरेलू हिंसा से महिलाओं के संरक्षण अधिनियम, 2005 की धारा 12 के तहत नाबालिग द्वारा दायर घरेलू हिंसा के आवेदन को उसके बालिग होने पर सुनवाई योग्य होने के आधार पर खारिज नहीं किया जा सकता।जबकि यह पाया गया कि नाबालिग द्वारा दायर आवेदन, जिसका प्रतिनिधित्व उसके प्राकृतिक अभिभावकों या किसी अन्य करीबी व्यक्ति द्वारा नहीं किया गया, अनियमित है, कोर्ट ने आगे कहा कि इस तरह के आवेदन को उस दिन नियमित किया जाता है जब ऐसा आवेदक वयस्क हो जाता है।जस्टिस शम्पा दत्त (पॉल) ने आपराधिक...

न्यायाधीश और वकील भी ऐसा सोचते हैं कि कॉलेजियम सिस्टम अपारदर्शी और जवाबदेह नहीं है : केंद्रीय कानून मंत्री किरेन रिजिजू
न्यायाधीश और वकील भी ऐसा सोचते हैं कि कॉलेजियम सिस्टम अपारदर्शी और जवाबदेह नहीं है : केंद्रीय कानून मंत्री किरेन रिजिजू

केंद्रीय कानून मंत्री ने शुक्रवार को सार्वजनिक मंचों पर कॉलेजियम प्रणाली के बारे में अपनी राय देते हुए एक बार फिर कहा कि प्रणाली अपारदर्शी है और अधिकांश न्यायाधीश भी ऐसा मानते हैं। उन्होंने यह भी जोड़ा कि जब तक सरकार वैकल्पिक सिस्टम के साथ नहीं आती, तब तक इससे संतुष्ट न होने के बावजूद उन्हें इस प्रणाली के साथ काम करना होगा। कानून मंत्री रिजिजू मुंबई में इंडिया टुडे कॉन्क्लेव में बोल रहे थे।केंद्रीय मंत्री ने कहा," मैं न्यायपालिका या न्यायाधीशों के बारे में आलोचनात्मक नहीं हूं लेकिन मैं एक तथ्य...

हाईकोर्ट ऑफ कर्नाटक
[जेजे नियम] नाबालिग बलात्कार पीड़िता की उम्र के बारे में डॉक्टर की राय पर स्कूल सर्टिफिकेट हावी: कर्नाटक हाईकोर्ट

कर्नाटक हाईकोर्ट ने कहा है कि नाबालिग बलात्कार पीड़िता की उम्र निर्धारित करते समय स्कूल अधिकारियों द्वारा जारी किया गया सर्टिफिकेट डॉक्टर की मेडिकल राय की तुलना में उच्च स्तर पर होता है।नाबालिग होने के संदेह में पीड़ित की उम्र निर्धारित करने के लिए किशोर न्याय (बच्चों की देखभाल और संरक्षण) नियम 2007 का नियम 12(3) लागू होता है।जस्टिस डॉ एचबी प्रभाकर शास्त्री और जस्टिस अनिल बी कट्टी की खंडपीठ ने कहा कि यह केवल मैट्रिक या समकक्ष सर्टिफिकेट या स्कूल से जन्म सर्टिफिकेट या किसी निगम या नगर प्राधिकरण...

एमएस धोनी ने मद्रास हाईकोर्ट में आईपीएस अधिकारी के खिलाफ न्यायपालिका के खिलाफ कथित अपमानजनक टिप्पणी के खिलाफ आपराधिक अवमानना ​​​​याचिका दायर की
एमएस धोनी ने मद्रास हाईकोर्ट में आईपीएस अधिकारी के खिलाफ न्यायपालिका के खिलाफ कथित अपमानजनक टिप्पणी के खिलाफ आपराधिक अवमानना ​​​​याचिका दायर की

क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी ने आईपीएल घोटाले के संबंध में दायर एक याचिका में सुप्रीम कोर्ट और मद्रास हाईकोर्ट के खिलाफ कथित टिप्पणी के लिए जी संपत कुमार आईपीएस के खिलाफ आपराधिक अवमानना ​​​​कार्यवाही शुरू करने की मांग करते हुए मद्रास हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। जस्टिस पीएन प्रकाश और जस्टिस आरएमटी टीका रमन की पीठ के समक्ष इस मामले को शुक्रवार को सूचीबद्ध किया गया था, लेकिन यह सुनवाई के लिए नहीं आ सका और अब इस पर अगले सप्ताह इस पर सुनवाई होने की उम्मीद है।धोनी ने तर्क दिया है कि IPS अधिकारी ने...

उत्तर प्रदेश प्रवासी महाराष्ट्र में ओबीसी उम्मीदवारों के लाभ का हकदार नहीं: बॉम्बे हाईकोर्ट
उत्तर प्रदेश प्रवासी महाराष्ट्र में ओबीसी उम्मीदवारों के लाभ का हकदार नहीं: बॉम्बे हाईकोर्ट

बॉम्बे हाईकोर्ट ने कहा कि उत्तर प्रदेश का प्रवासी महाराष्ट्र में ओबीसी उम्मीदवारों के लिए किसी भी लाभ का हकदार नहीं है। इसके साथ ही हाईकोर्ट ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) की उम्मीदवार नाज़िया अंसारी के जाति प्रमाण पत्र के अमान्य होने के आदेश को बरकरार रखा।खंडपीठ ने कहा,"वह तय तारीख के बाद प्रवासी होने के कारण महाराष्ट्र में चुनाव लड़ने की हकदार नहीं है।"अदालत ने यह भी पाया कि अंसारी ने "गढ़े हुए दस्तावेज" पेश किए और वह अदालत को धोखा देने की दोषी है, इसलिए उस पर 50,000 रुपये का जुर्माना...

उपभोक्ताओं को पता होना चाहिए कि फल या सब्जी कृत्रिम रूप से पके हैं: दिल्ली हाईकोर्ट ने FSSAI को दिशानिर्देश तैयार करने के लिए कहा
उपभोक्ताओं को पता होना चाहिए कि फल या सब्जी कृत्रिम रूप से पके हैं: दिल्ली हाईकोर्ट ने FSSAI को दिशानिर्देश तैयार करने के लिए कहा

दिल्ली हाईकोर्ट ने भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (FSSAI) से ऐसी व्यवस्था तैयार करने पर विचार करने को कहा, जिसके तहत एथिलीन गैस या अन्य कृत्रिम पकने वाले फलों और सब्जियों को कृत्रिम रूप से पकाने के लिए उस पर "आवश्यक संकेत" रखा जाना चाहिए।जस्टिस राजीव शकधर और जस्टिस तारा वितस्ता गंजू की खंडपीठ ने एफएसएसएआई को व्यापक ढांचा तैयार करने के लिए कहा, जो सभी प्रकार के कृत्रिम पकने वालों को ध्यान में रखे, जिससे उपभोक्ता को इस तथ्य से अवगत कराया जा सके कि फल या सब्जी कृत्रिम रूप से पकाई गई...

इलाहाबाद हाईकोर्ट
राज्य में सार्वजनिक स्थानों से अवैध मजारों, मस्जिदों को हटाने की मांग वाली याचिका: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने केंद्र, यूपी सरकार से जवाब मांगा

इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने सार्वजनिक स्थानों [जैसे रेलवे स्टेशनों, सड़कों, पार्कों, आदि] से अनधिकृत मजारों और मस्जिदों को हटाने की मांग वाली जनहित याचिका (PIL) याचिका पर भारत सरकार और उत्तर प्रदेश सरकार से जवाब मांगा है।जन उदघोष सेवा संस्थान और अन्य की ओर से दायर जनहित याचिका पर चीफ जस्टिस राजेश बिंदल और जस्टिस जे जे मुनीर की पीठ 15 दिसंबर को सुनवाई करेगी।याचिका में कहा गया है कि सार्वजनिक स्थानों, सार्वजनिक पार्कों और सार्वजनिक उपयोगिता के स्थानों पर मस्जिदों और मजारों के अवैध...

ज्ञानवापी : शिव लिंग की वैज्ञानिक जांच से इनकार करने के वाराणसी कोर्ट के आदेश को इलाहाबाद हाईकोर्ट में चुनौती, एएसआई को नोटिस
ज्ञानवापी : 'शिव लिंग' की वैज्ञानिक जांच से इनकार करने के वाराणसी कोर्ट के आदेश को इलाहाबाद हाईकोर्ट में चुनौती, एएसआई को नोटिस

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने शुक्रवार को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को वाराणसी कोर्ट के 14 अक्टूबर के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका पर एक नोटिस जारी किया, जिसमें उसने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर के अंदर कथित तौर पर पाए गए 'शिव लिंग' की वैज्ञानिक जांच के लिए हिंदू उपासकों की याचिका खारिज कर दी थी। कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश को ध्यान में रखते हुए यह फैसला सुनाया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि शिवलिंग मिलने वाली जगह को उसी रूप में संरक्षित रखा जाए। सर्वे की अनुमति नहीं दी जा सकती।ज्ञानवापी...

18 गिरफ्तार, चार्जशीट अभी दायर की जानी है: 2020 में गार्गी कॉलेज छेड़छाड़ मामले में दिल्ली पुलिस हाईकोर्ट में बताया
'18 गिरफ्तार, चार्जशीट अभी दायर की जानी है': 2020 में गार्गी कॉलेज छेड़छाड़ मामले में दिल्ली पुलिस हाईकोर्ट में बताया

दिल्ली हाईकोर्ट में राज्य पुलिस ने शुक्रवार को सूचित किया कि 2020 में गार्गी कॉलेज छेड़छाड़ मामले में 18 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और COVID-19 महामारी के कारण आरोप पत्र दाखिल करने में देरी हुई।चीफ जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा और जस्टिस सुब्रमण्यम प्रसाद की खंडपीठ एडवोकेट एमएल शर्मा द्वारा दायर जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें कॉलेज परिसर के अंदर छेड़छाड़ और यौन दुराचार के कथित मामलों की सीबीआई जांच की मांग की गई।अभियोजन पक्ष की वकील नंदिता राव ने अदालत को सूचित किया कि कुल 450 लोगों की...

धारा 197 सीआरपीसी | यदि आक्षेपित कृत्य सरकारी कर्तव्य के साथ उचित गठजोड़ में हो तो लोक सेवक पर मुकदमा चलाने के लिए मंजूरी प्राप्त की जानी चाहिए: उड़ीसा हाईकोर्ट
धारा 197 सीआरपीसी | यदि आक्षेपित कृत्य सरकारी कर्तव्य के साथ 'उचित गठजोड़' में हो तो लोक सेवक पर मुकदमा चलाने के लिए मंजूरी प्राप्त की जानी चाहिए: उड़ीसा हाईकोर्ट

उड़ीसा हाईकोर्ट ने दोहराया कि यदि किसी लोक सेवक का आक्षेप कृत्य उसके आधिकारिक कर्तव्य के साथ 'उचित सांठगांठ' में है तो सीआरपीसी की धारा 197 के तहत मंजूरी प्राप्त की जानी चाहिए।दूसरे शब्दों में, न्यायालय का विचार था कि किसी लोक सेवक पर उसके द्वारा किए गए किसी भी कार्य के लिए, जो उसके आधिकारिक कर्तव्य के साथ संबंध‌ित है, उपरोक्त मंजूरी के बिना मुकदमा नहीं चलाया जा सकता है।कोर्ट ने कहा,"यदि वाहन की जब्ती आधिकारिक कर्तव्य के उचित निर्वहन में की गई है, तो उस मामले में निचली विद्वान अदालत को धारा 197...

कलकत्ता हाईकोर्ट ने एनडीपीएस के आरोपी को अग्रिम जमानत देने से इनकार किया, वाणिज्यिक मात्रा में प्रतिबंधित पदार्थ रखने वाले व्यक्ति के साथ फोन कनेक्शन का हवाला दिया
कलकत्ता हाईकोर्ट ने एनडीपीएस के आरोपी को अग्रिम जमानत देने से इनकार किया, वाणिज्यिक मात्रा में प्रतिबंधित पदार्थ रखने वाले व्यक्ति के साथ फोन कनेक्शन का हवाला दिया

कलकत्ता हाईकोर्ट ने सोमवार को एनडीपीएस अधिनियम के तहत आरोपी को अग्रिम जमानत देने से इनकार कर दिया। आरोपी की कॉल डिटेल रिकॉर्डिंग का हवाला देते हुए कहा गया कि वह व्यावसायिक मात्रा में नशीले पदार्थों के साथ गिरफ्तार व्यक्ति के साथ उसका संबंध दर्शाता है।जस्टिस देबांगसू बसाक और जस्टिस मोहम्मद शब्बर रशीदी की खंडपीठ ने कहा कि कॉल डिटेल रिकॉर्डिंग से पता चलता है कि आरोपी की व्यावसायिक मात्रा में प्रतिबंधित पदार्थ रखने वाला व्यक्ति के साथ सांठगांठ है। इस प्रकार, अधिनियम की धारा 37 के तहत प्रतिबंध लागू...

[साइबर पोर्टल क्षेत्राधिकार] दिल्ली पुलिस ने फर्जी फेसबुक अकाउंट बनाने के खिलाफ वकील की शिकायत पर एफआईआर दर्ज की
[साइबर पोर्टल क्षेत्राधिकार] दिल्ली पुलिस ने फर्जी फेसबुक अकाउंट बनाने के खिलाफ वकील की शिकायत पर एफआईआर दर्ज की

दिल्ली हाईकोर्ट को राज्य पुलिस ने बताया कि मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) के अनुसार, शिकायतकर्ता के पते के आधार पर राष्ट्रीय साइबर पुलिस पोर्टल पर दर्ज की गई शिकायत के एक साल से अधिक समय बाद पुलिस ने मंगलवार को फेसबुक पर फर्जी अकाउंट बनाने के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। उक्त शिकायत गुड़गांव निवासी पंकज यादव ने दर्ज कराई थी।जस्टिस जसमीत सिंह की पीठ के समक्ष एफआईआर दर्ज करने के संबंध में शुक्रवार को गुड़गांव निवासी पंकज यादव की याचिका के जवाब में प्रस्तुत किया गया, जिसमें निर्णय रद्द करने की मांग की गई,...

दिल्ली हाईकोर्ट, दिल्ली
पदोन्नति पर कर्मचारी की सेवाओं का उपयोग करने के नियोक्ता के अधिकार को रूटीन ट्रांसफर पर सामान्य दिशानिर्देशों से कम नहीं किया जा सकता: दिल्ली हाईकोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने एक फैसले में कहा कि पदोन्नति पर किसी कर्मचारी की सेवाओं का उपयोग करने के नियोक्ता के अधिकार को वार्षिक या नियमित स्थानान्तरण को विनियमित करने के लिए जारी सामान्य दिशानिर्देशों से कम नहीं किया जा सकता है।जस्टिस रेखा पल्ली ने इस तर्क को भी स्वीकार किया कि भले ही एक कर्मचारी का ट्रांसफर, जो एक ट्रांसफरेबल नौकरी में है, कार्यकारी दिशानिर्देशों का उल्लंघन है, अदालत को आम तौर पर ऐसे ट्रांसफर में हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए जब तक कि दुर्भावना का आधार न बनाया जाए।अदालत ने सुमित डागर...

‌गिरफ्तारी से रोकने का इरादा आईपीसी 216 के तहत आश्रय के अपराध का गठन करने के लिए एक आवश्यक घटक: एमपी हाईकोर्ट
'‌गिरफ्तारी से रोकने का इरादा' आईपीसी 216 के तहत आश्रय के अपराध का गठन करने के लिए एक आवश्यक घटक: एमपी हाईकोर्ट

मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ ने हाल ही में कहा कि धारा 216 आईपीसी में प्रयुक्त शब्द "हार्बर" को उदारतापूर्वक समझा जाना चाहिए‌, हालांकि, 'इरादा' अपराध का गठन करने के लिए एक आवश्यक घटक है। यह प्रावधान उस अपराधी को पनाह देने के लिए दंडित करता है, जो हिरासत से भाग गया है या जिसकी गिरफ्तारी का आदेश दिया गया है।जस्टिस अनिल वर्मा ने कहा,आईपीसी की धारा 216 में प्रयुक्त 'हार्बर' शब्द का अर्थ उदारतापूर्वक लगाया जाना चाहिए। जिस व्यक्ति के कहने पर आश्रय दिया जाता है, वह अपराध करता है, लेकिन जो घोषित...