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लॉकडाउन के दौरान धार्मिक आयोजन रोकने गई पुलिस पर पथराव : बॉम्बे हाईकोर्ट ने पुजारी को सीएम रिलीफ़ फंड में 10 हज़ार रुपए जमा करने की शर्त पर ज़मानत दी
लॉकडाउन के दौरान धार्मिक आयोजन रोकने गई पुलिस पर पथराव : बॉम्बे हाईकोर्ट ने पुजारी को सीएम रिलीफ़ फंड में 10 हज़ार रुपए जमा करने की शर्त पर ज़मानत दी

बॉम्बे हाई कोर्ट ने मंगलवार को महाराष्ट्र के सोलापुर में आयोजित एक धार्मिक समारोह में पूजा करने वाले एक 65 वर्षीय व्यक्ति को अंतरिम जमानत दे दी।COVID 19 के कारण देशव्यापी लॉकडाउन के उल्लंघन में ग्रामीणों की उपस्थिति में समारोह में भाग लेने के लिए एकत्र हुए थे, जहां इस व्यक्ति ने पूजा की थी। कोर्ट ने इस व्यक्ति से जमानत की शर्त के तौर पर मुख्यमंत्री राहत कोष में 10,000 रुपये जमा करने को कहा। न्यायमूर्ति साधना जाधव की बेंच सोलापुर के अक्कलकोट उत्तर पुलिस स्टेशन द्वारा दर्ज शिवपुरा अनाराय श्रीगण...

किसी आवेदन का विरोध करने के इच्छुक व्यक्ति निर्धारित ईमेल पर अनुरोध भेज सकते हैं, इलाहाबाद हाईकोर्ट लखनऊ बेंच ने की व्यवस्था
किसी आवेदन का विरोध करने के इच्छुक व्यक्ति निर्धारित ईमेल पर अनुरोध भेज सकते हैं, इलाहाबाद हाईकोर्ट लखनऊ बेंच ने की व्यवस्था

इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने सूचित किया कि हाईकोर्ट के समक्ष किसी भी आवेदन का विरोध करने के इच्छुक सभी व्यक्ति निर्धारित ईमेल पर इसके लिए अनुरोध भेज सकते हैं। ईमेल को सुनवाई की तारीख से एक दिन पहले शाम 8 बजे तक भेज दिया जाना है, जिसके अनुसार, संबंधित कार्यवाही के लिए वीडियो लिंक उन्हें प्रदान किया जाएगा। इस आशय के लिए जारी नोटिस में कहा गया है कि"माननीय न्यायालय ने ईमेल आईडी दिया है, जिस पर किसी भी आवेदन का विरोध करने के इच्छुक व्यक्ति को उसके मोबाइल नंबर के साथ एक ईमेल भेजना होगा जिसमें...

ज़मानत स्वीकार करने के लिए PM CARES फंड में राशि जमा कराने की शर्त लगाना अनुचित: मप्र हाईकोर्ट ने केरल हाईकोर्ट के फैसले से सहमति जताई
ज़मानत स्वीकार करने के लिए PM CARES फंड में राशि जमा कराने की शर्त लगाना अनुचित: मप्र हाईकोर्ट ने केरल हाईकोर्ट के फैसले से सहमति जताई

मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने मंगलवार को एक स्थानीय अदालत द्वारा लगाई गई जमानत शर्त को निरस्त कर जिसमें जमानत के लिए याचिकाकर्ताओं को PM CARES फंड में प्रत्येक को 25,000 / - रुपये की राशि जमा करने को कहा गया था। भोपाल निवासी फ़हद अहमद और हाफ़िज़ एम हसीन ने इस जमानत की शर्त को रद्द करने के लिए हाईकोर्ट का रुख किया था। हाल ही में चिन्ना राव स्वंयवरवप्पु बनाम केरल राज्य और अन्य में केरल हाईकोर्ट द्वारा पारित आदेश में कहा गया था कि ज़मानत देने की कंडीशन में याचिकाकर्ता को नकद रुपये जमा कराने की शर्त रखना...

COVID-19: सुरक्षा उपायों के निष्पादन संबंधी शिकायत सक्षम प्राधिकारी से करें इलाहाबाद हाइकोर्ट ने बोर्ड परीक्षाओं की उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन आदेश को चुनौती देने वाली याचिका का निपटारा किया
COVID-19: 'सुरक्षा उपायों के निष्पादन संबंधी शिकायत सक्षम प्राधिकारी से करें' इलाहाबाद हाइकोर्ट ने बोर्ड परीक्षाओं की उत्तर पुस्तिकाओं के मूल्यांकन आदेश को चुनौती देने वाली याचिका का निपटारा किया

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बुधवार, 13-मई-2020 को शिक्षकों के एक समूह, उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ (The Uttar Pradesh Madhyamik Shikshak Sangh), द्वारा दायर एक रिट याचिका का निपटारा करते हुए कहा कि यदि याचिकाकर्ताओं को 'सुरक्षा उपायों के निष्पादन सम्बन्धी कोई शिकायत है, तो वो अपनी शिकायत को सक्षम प्राधिकारी के समक्ष रख सकते हैं।"मुख्य न्यायाधीश, न्यायमूर्ति गोविन्द माथुर एवं सिद्धार्थ वर्मा की पीठ ने यह आदेश, 'उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ' द्वारा दायर एक याचिका के समबन्ध में दिया।दरअसल इस...

जजों और वकीलों को कुछ समय के लिए गाउन और रोब पहनना छोड़ना चाहिए,  मुख्य न्यायाधीश बोबडे ने कहा
जजों और वकीलों को कुछ समय के लिए गाउन और रोब पहनना छोड़ना चाहिए, मुख्य न्यायाधीश बोबडे ने कहा

चीफ जस्टिस एसए बोबडे ने बुधवार को एक सुनवाई के दौरान कहा कि जल्द ही सुप्रीम कोर्ट से निर्देश जारी किए जाएंगे कि वे ड्रेस कोड से गाउन और रोब को हटाएं। मुख्य न्यायाधीश ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस सुनवाई के दौरान वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल से कहा कि जजों, वकीलों को कुछ समय के लिए जैकेट और गाउन नहीं पहनना चाहिए क्योंकि यह "वायरस को पकड़ना आसान बनाता है।परिवर्तन के दौर से गुजर रही कानूनी दुनिया के साथ भारत के मुख्य न्यायाधीश का यह बयान कल जज के आवास के बजाय सुप्रीम कोर्ट परिसर में कोर्ट के बैठने...

कर्नाटक हाईकोर्ट ने ट्रायल कोर्ट से कहा, बहुत अर्जेंट नहीं होने के आधार पर ज़मानत अर्ज़ी पर सुनवाई को न टालें
कर्नाटक हाईकोर्ट ने ट्रायल कोर्ट से कहा, बहुत अर्जेंट नहीं होने के आधार पर ज़मानत अर्ज़ी पर सुनवाई को न टालें

कर्नाटक हाईकोर्ट ने ट्रायल कोर्ट से कहा है कि वह मामले की तह में जाए बिना इस आधार पर ज़मानत की अर्ज़ी पर सुनवाई को नहीं टाले कि मामला बहुत ज़रूरी नहीं है। न्यायमूर्ति मोहम्मद नवाज़ ने कहा, "क़ानून के अनुरूप ज़मानत की अर्ज़ी पर विचार एक अधिकार है, जिसे संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत जीवन के अधिकार में समाहित किया जा सकता है।" आरोपी इलियाज खान को लॉकडाउन के दौरान 4 अप्रैल को आईपीसी की धारा 341, 353, 504 के तहत गिरफ़्तार किया गया था। उसे एक महीना से अधिक समय तक जेल में रखा गया। ज़िला अदालत...

एडवोकेट के क्लर्कों की संस्था की वित्तीय मदद की मांग वाली याचिका पर कर्नाटक हाईकोर्ट ने राज्य सरकार और कर्नाटक बार काउंसिल को नोटिस जारी किया
एडवोकेट के क्लर्कों की संस्था की वित्तीय मदद की मांग वाली याचिका पर कर्नाटक हाईकोर्ट ने राज्य सरकार और कर्नाटक बार काउंसिल को नोटिस जारी किया

कर्नाटक हाईकोर्ट ने सोमवार को कर्नाटक राज्य और कर्नाटक बार काउंसिल को नोटिस जारी कर एडवोकेटों के क्लर्कों की संस्था द्वारा वित्तीय मदद की मांग करने वाली याचिका पर उनका जवाब मांगा है। कोरोना माहामारी के कारण अदालत का काम काज ठप हो जाने की वजह से एडवोकेटों के क्लर्कों की वित्तीय स्थिति ख़राब हो गई है। मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति अभय ओक और न्यायमूर्ति शिवशंकर अमरन्नवर की पीठ इस मामले की सुनवाई 15 मई को करेगी। याचिकाकर्ता के एडवोकेट मूर्ती दयानंद नाइक को निर्देश दिया गया है कि वह इस याचिका की...

सीआरपीसी की धारा 427 के तहत पहले से सजा भुगत रहा है का मतलब सजा के वारंट के क्रियान्वयन के बाद शारीरिक हिरासत हैः मद्रास हाईकोर्ट
सीआरपीसी की धारा 427 के तहत 'पहले से सजा भुगत रहा है' का मतलब सजा के वारंट के क्रियान्वयन के बाद शारीरिक हिरासत हैः मद्रास हाईकोर्ट

मद्रास हाईकोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसले में दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 427 के तहत ‌दिए गए एक वाक्यांश "पहले से ही सजा भुगत रहा है" की व्याख्या की है और संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत प्रदत्त व्यक्तिगत स्वतंत्रता के मूल अधिकार के साथ संतुलित करन का प्रयास किया है। सीआरपीसी की धारा 427 उन परिस्थितियों से संबंधित है, जहां पहले से ही सजा भुगत रहे दोषी को दूसरे अपराध में सजा सुनाई जाए। धारा 427 (1) में कहा गया है कि बाद की सजा आमतौर पर पिछले सजा की निरंतरता में यानी क्रमवार होती है, - अर्थात बाद की...

वकीलों को भूखा रहने के लिए छोड़ा नहीं जा सकता : जूनियर वकीलों को स्टाइपेंड देने के सरकारी आदेश को लागू करने में देरी के लिए केरल हाईकोर्ट ने बार काउंसिल की खिंचाई की
वकीलों को भूखा रहने के लिए छोड़ा नहीं जा सकता : जूनियर वकीलों को स्टाइपेंड देने के सरकारी आदेश को लागू करने में देरी के लिए केरल हाईकोर्ट ने बार काउंसिल की खिंचाई की

केरल हाईकोर्ट ने मंगलवार को स्टेट बार काउंसिल की 2018 के सरकारी आदेश के कार्यान्वयन में "गंभीर देरी" के लिए खिंचाई की। इस आदेश के तहत जूनियर वकीलों को 5000 / - रुपये के मासिक स्टाइपेंड का भुगतान करने की मंजूरी दी गई थी, लेकिन स्टेट बार काउंसिल ने आदेश के कार्यान्वयन में देर की। न्यायमूर्ति पी गोपीनाथ की एकल-न्यायाधीश पीठ ने मामले पर प्रतिवादी के वकील को निर्देश देते हुए टिप्पणी की, "सरकारी आदेश 2018 में जारी किया गया था। हम अब 2020 में हैं ... वकीलों को भूखा रहने के लिए छोड़ा नहीं जा...

14 दिनों की क्वारंटीन अवधि प्रत्येक मामले में अनिवार्य नहीं, यह एक सामान्य दिशानिर्देश बनाने का साधन : दिल्ली हाईकोर्ट
14 दिनों की क्वारंटीन अवधि प्रत्येक मामले में अनिवार्य नहीं, यह एक सामान्य दिशानिर्देश बनाने का साधन : दिल्ली हाईकोर्ट

दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा है कि 14 मार्च की होम क्वारंटाइन दिशानिर्देश और COVID19 Regulations of 2020 में निर्धारित 14 दिनों की अवधि अनिवार्य नहीं है, लेकिन एक सामान्य दिशानिर्देश बनाने का साधन है। न्यायमूर्ति हरि शंकर की एकल पीठ ने व्यक्तिगत स्वतंत्रता और सार्वजनिक स्वास्थ्य के सिद्धांतों को संतुलित करने के लिए यह भी कहा कि यदि कोई भी व्यक्ति, जिसमें COVID-19 के लक्षण नहीं आए हैं और उसका COVID-19 वायरस का टेस्ट भी नेगेटिव आया है। उसके बावजूद भी अगर उसे 14 दिन के लिए घर में क्वारंटीन किया...

सुप्रीम कोर्ट का सीमा विस्तार का आदेश सेक्‍शन 167(2) सीआरपीसी के तहत डिफॉल्ट जमानत के अधिकार को प्रभावित नहीं करताः उत्तराखंड हाईकोर्ट
सुप्रीम कोर्ट का सीमा विस्तार का आदेश सेक्‍शन 167(2) सीआरपीसी के तहत डिफॉल्ट जमानत के अधिकार को प्रभावित नहीं करताः उत्तराखंड हाईकोर्ट

उत्तराखंड हाईकोर्ट ने अभियुक्त के अव‌िलोप्य अधिकारों, कि 60 या 90 दिनों की हिरासत की समाप्ति के बाद उसे डिफॉल्ट जमानत पर रिहा किया जाए, पर जोर देते हुए मंगलवार को कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा COVID​​-19 के मद्देनजर मामले दर्ज करने की सीमा अवधि के विस्तार का सामान्य आदेश, सीआरपीसी की धारा 167 (2) के तहत अभियुक्त की डिफॉल्ट जमानत के अधिकार को प्रभावित नहीं करेगा। जस्टिस आलोक कुमार वर्मा ने अपने आदेश में स्पष्ट किया कि सीमा विस्तार के आदेश का अर्थ यह नहीं है कि अदालत ने पुलिस जांच की अवधि 60 या 90...

गर्भवती लड़की को कलेक्टर उचित आश्रय, सुरक्षा एवं नि:शुल्क उपचार प्रदान करें, मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने पिता की अपनी बेटी का गर्भपात कराने की अपील खारिज की
गर्भवती लड़की को कलेक्टर उचित आश्रय, सुरक्षा एवं नि:शुल्क उपचार प्रदान करें', मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने पिता की अपनी बेटी का गर्भपात कराने की अपील खारिज की

मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर बेंच ने मंगलवार (12-मई-2020) को इंदौर के कलेक्टर को यह आदेश देते हुए गर्भवती महिला के पिता की रिट अपील को ख़ारिज कर दिया कि लड़की को उचित आश्रय प्रदान किया जायेगा और उसे संपूर्ण उपचार, राज्य द्वारा नि:शुल्क प्रदान किया जाएगा, क्योंकि वह गर्भावस्था के अग्रिम चरण में है और एक या दो सप्ताह के भीतर वह एक बच्चे को जन्म देने वाली है।न्यायमूर्ति एस. सी. शर्मा और न्यायमूर्ति शैलेन्द्र शुक्ला की खंडपीठ ने यह आदेश जारी करते हुए लड़की के पिता द्वारा, एकल पीठ द्वारा सुनाये...

दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग के प्रमुख ज़फरुल इस्लाम को कठोर कार्रवाई से अंतरिम संरक्षण दिया
दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग के प्रमुख ज़फरुल इस्लाम को कठोर कार्रवाई से अंतरिम संरक्षण दिया

दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग के प्रमुख जफरुल इस्लाम खान को मामले की अगली सुनवाई तक किसी भी कठोर कार्रवाई से अंतरिम संरक्षण दिया। न्यायमूर्ति मनोज कुमार ओहरी की एकल पीठ ने कहा कि सुनवाई की अगली तारीख तक दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग के प्रमुख के खिलाफ कोई कठोर कार्रवाई नहीं की जा सकती। एडवोकेट वृंदा ग्रोवर के माध्यम से दायर याचिका में झूठे, जानबूझकर और अपुष्ट मामले से बचाव के लिए ज़मानत देने का आग्रह किया गया था।याचिका में कहा गया था कि दिल्ली पुलिस ने खान के ख़िलाफ़ आईपीसी की...

बॉम्बे हाईकोर्ट ने अधीनस्थ अदालतों के न्यायाधीशों को काला कोट/गाउन पहनने से छूट दी, वकीलों को भी काला कोट पहनने से छूट
बॉम्बे हाईकोर्ट ने अधीनस्थ अदालतों के न्यायाधीशों को काला कोट/गाउन पहनने से छूट दी, वकीलों को भी काला कोट पहनने से छूट

गर्मी के मौसम के मद्देनजर बॉम्बे हाईकोर्ट ने महाराष्ट्र, गोवा, दादरा और नगर हवेली और दमन और दीव के अधीनस्थ न्यायालयों के सभी न्यायाधीशों को काले कोट और गाउन पहनने से छूट देने का फैसला किया है। इससे पहले काला कोट पहनने से छूट दी गई थी। यह स्पष्ट किया गया है कि जजों ने डायस आते समय कोट या गाउन पहनना पड़ सकता है। 11 मई को इस संदर्भ में जारी नोटिस पर दिनेश शर्मा, रजिस्ट्रार (निरीक्षण) द्वारा हस्ताक्षर किए गए हैं। जिलों के सभी प्रधान न्यायाधीशों को निर्देश दिया गया है कि वे अपने-अपने जिलों के सभी...

बार काउंसिल ऑफ दिल्ली ने  वकीलों के दिल्ली से बाहर आने जाने की अनुमति के लिए दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की
बार काउंसिल ऑफ दिल्ली ने वकीलों के दिल्ली से बाहर आने जाने की अनुमति के लिए दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की

वकीलों के इंटर स्टेट आवाजाही की अनुमति की मांग करते हुए बार काउंसिल ऑफ दिल्ली (बीसीडी) ने दिल्ली हाईकोर्ट के समक्ष एक याचिका दाखिल की। इसमें अदालत से निर्देशों की मांग की गई कि वकीलों को अदालतों और कार्यालयों में जाने के लिए दिल्ली से बाहर जाने की अनुमति दी जाए। बीसीडी चेयरमैन केसी मित्तल के माध्यम से दायर याचिका में हरियाणा और उत्तर प्रदेश के साथ दिल्ली की सीमा को सील करने के फैसले को चुनौती दी गई है, जिससे एनसीआर क्षेत्र में रहने वाले वकीलों के लिए दिल्ली में स्थित अदालतों और उनके...

क्या मंदिर समिति किसी गैर-धार्मिक उद्देश्य के लिए दान कर सकती है?  केरल हाईकोर्ट ने गुरुवयूर देवास्वोम द्वारा मुख्यमंत्री राहत कोष में दान करने के खिलाफ याचिका को बड़ी पीठ के पास भेजा
"क्या मंदिर समिति किसी गैर-धार्मिक उद्देश्य के लिए दान कर सकती है?" केरल हाईकोर्ट ने गुरुवयूर देवास्वोम द्वारा मुख्यमंत्री राहत कोष में दान करने के खिलाफ याचिका को बड़ी पीठ के पास भेजा

केरल हाईकोर्ट ने संदेह जताया है कि क्या गुरुवयूर मंदिर की प्रबंध समिति गैर-धार्मिक उद्देश्यों के लिए दान कर सकती है? इसी के साथ हाईकोर्ट ने रजिस्ट्री को निर्देश दिया है कि वह इस मामले से जुड़ी सभी याचिकाओं को मुख्य न्यायाधीश के समक्ष रखें ताकि इस मामले को बड़ी पीठ के पास भेजा जा सके। न्यायमूर्ति शाजी पी चैली और न्यायमूर्ति एमआर अनीथा की खंडपीठ इस मामले में हिंदू भक्तों की तरफ से दायर उन कई जनहित याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी,जो COVID-19 स्थिति के मद्देनजर पांच मई 2020 को गुरुवयूर देवास्वोम...

पुलिस ने अपने अधिकार क्षेत्र के बाहर जाकर काम किया : केरल हाईकोर्ट ने बलात्कार के आरोपी 7 साल से कम उम्र के बच्चों के ख़िलाफ़ आपराधिक सुनवाई स्थगित की
"पुलिस ने अपने अधिकार क्षेत्र के बाहर जाकर काम किया" : केरल हाईकोर्ट ने बलात्कार के आरोपी 7 साल से कम उम्र के बच्चों के ख़िलाफ़ आपराधिक सुनवाई स्थगित की

केरल हाईकोर्ट ने बलात्कार के एक मामले में जुवेनाइल जस्टिस अधिनियम के उल्लंघन पर कड़ा रुख अपनाते हुए सात साल से कम उम्र के तीन बच्चों के ख़िलाफ़ आपराधिक सुनवाई को स्थगित कर दिया। अदालत ने सभी संबंधित अधिकारियों से इस मामले को जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड के समक्ष पेश करने को कहा है। इस मामले को एक रिट याचिका द्वारा हाईकोर्ट के संज्ञान में लाया गया जिसमें आरोपी बच्चों के ख़िलाफ़ मामले को आईपीसी की धारा 82 के तहत "अपराध करने की स्थिति में नहीं होने" के आधार पर निरस्त करने की मांग की गई। इस मामले में...

सब्ज़ी और किराना की सभी दुकानों को बंद करने के अहमदाबाद निगम आयुक्त के आदेश के ख़िलाफ़ गुजरात हाईकोर्ट में याचिका
सब्ज़ी और किराना की सभी दुकानों को बंद करने के अहमदाबाद निगम आयुक्त के आदेश के ख़िलाफ़ गुजरात हाईकोर्ट में याचिका

अहमदाबाद निगम आयुक्त के सभी दुकानों/पार्लरों को 9 दिनों के लिए बंद करने के आदेश के ख़िलाफ़ गुजरात हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की गई है। इस आदेश के अनुसार सिर्फ़ दूध और दवा बेचने वाली दुकानें ही खुली रहेंगी। अहमदाबाद निगम आयुक्त ने 6 मई को एक सर्कुलर जारी किया जिसमें सब्ज़ी और किराने की सभी दुकानों को बंद करने का आदेश दिया गया और कहा गया कि सिर्फ़ दूध और दावा की दुकानें ही खुली रहेंगी। यह आदेश को 7 मई से 15 मई तक लागू रहेगा। यह आदेश 6 मई को 5 बजे शाम को जारी किया गया। यह याचिका एडवोकेट नील...

एयर इंडिया कर्मचारी एसोसिएशन ने लॉकडाउन के दौरान 10% वेतन काटने के ख़िलाफ़ बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की
एयर इंडिया कर्मचारी एसोसिएशन ने लॉकडाउन के दौरान 10% वेतन काटने के ख़िलाफ़ बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की

एयर इंडिया के तीन कर्मचारी संगठनों ने लॉकडाउन के दौरान 10% वेतन काटने के फ़ैसले के ख़िलाफ़ बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। इस याचिका में इंडियन पाइलट्स गिल्ड, एयर इंडिया एयरक्राफ़्ट इंजीनियर्स एसोसिएशन ने कहा है कि मार्च महीने में वेतन में कटौती ग़ैरक़ानूनी है क्योंकि आपदा प्रबंधन अधिनियम, 2005 के तहत केंद्र सरकार ने जो आदेश दिए हैं उसमें COVID-19 की वजह से वेतन में कटौती नहीं करने को कहा गया है, लेकिन कंपनी ने वेतन काटा है। 1 मार्च से 24 के बीच भ कर्मचारियों का वेतन 10% काटा गया था। ...