हाईकोर्ट
सीनियर सिटीजन भरण-पोषण न्यायाधिकरण संपत्ति स्वामित्व के दावों पर निर्णय नहीं दे सकता: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने दोहराया
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने माना कि सीनियर सिटीजन एक्ट, 2007 की धारा 7 के अंतर्गत भरण-पोषण न्यायाधिकरण को संपत्ति स्वामित्व के दावों पर विशेष रूप से तृतीय पक्ष विवाद के मामले में निर्णय लेने का अधिकार नहीं है और इसका निर्णय सिविल कोर्ट में ही किया जाना चाहिए।जस्टिस अरिंदम सिन्हा और डॉ. जस्टिस योगेंद्र कुमार श्रीवास्तव की खंडपीठ ने कहा कि सीनियर सिटीजन एक्ट का उद्देश्य सीनियर सिटीजन को भरण-पोषण प्रदान करना और उनका कल्याण करना है।खंडपीठ ने कहा,“इस अधिनियम के अंतर्गत गठित भरण-पोषण न्यायाधिकरणों को बच्चों...
कानून प्रवर्तन में अभियोजन पक्ष की प्रभावशीलता की आवश्यकता के विरुद्ध व्यक्तिगत मौलिक अधिकारों की रक्षा
भारतीय आपराधिक न्याय प्रणाली, अभियोजन में आपराधिक प्रक्रिया कानून प्रवर्तन दक्षता के विरुद्ध व्यक्तियों के मौलिक अधिकारों की रक्षा के बीच निरंतर चुनौतियों का सामना करती है, जैसा कि पंकज बंसल बनाम भारत संघ मामले में हुआ, जिसमें अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए लिखित आधार अनिवार्य किए गए हैं, भले ही इसका पूर्वव्यापी प्रभाव हो। यह मामला कर्नाटक राज्य द्वारा दायर एक विशेष अनुमति याचिका के माध्यम से सुप्रीम कोर्ट में एक बार फिर चर्चा में आया।जस्टिस के.वी. विश्वनाथन और जस्टिस एन कोटिश्वर सिंह की पीठ ने...
होमगार्ड स्वयंसेवक, उनके आश्रित अनुकंपा नियुक्ति का दावा नहीं कर सकते: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट
हिमाचल प्रदेश हाीकोर्ट ने दो संबंधित याचिकाओं को खारिज कर दिया। न्यायालय ने कहा कि होमगार्ड के आश्रित राज्य सरकार की रोजगार सहायक योजना के तहत स्थायी नौकरी का दावा नहीं कर सकते, जबकि होमगार्ड ने केवल स्वैच्छिक और अस्थायी नौकरी की है।जस्टिस सत्येन वैद्य ने कहा:"इस प्रकार, जब होमगार्ड द्वारा की गई नौकरी को पूरी तरह से अस्थायी प्रकृति का माना गया तो उनके आश्रितों को अनुकंपा नियुक्ति योजना के तहत लाभ का हकदार मानना विवेकपूर्ण नहीं होगा। होमगार्ड के आश्रित स्थायी नौकरी का दावा नहीं कर सकते, जबकि...
जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट ने बड़े पैमाने पर अंतर्राष्ट्रीय क्रिप्टोकरेंसी घोटाले की साजिश रचने के आरोपी व्यक्ति को अग्रिम ज़मानत देने से इनकार किया
क्रिप्टो-करेंसी धोखाधड़ी के एक मामले में जम्मू-कश्मीर एंड लद्दाख हाईकोर्ट ने नरेश कुमार गुलिया की अग्रिम ज़मानत याचिका खारिज की। गुलिया पर एक बड़ा फ़र्ज़ी क्रिप्टो पोंजी घोटाला रचने का आरोप है जिसने भारत और अन्य जगहों पर कई निवेशकों को ठगा।गिरफ़्तारी से पहले ज़मानत की उनकी याचिका खारिज करते हुए जस्टिस मोहम्मद यूसुफ़ वानी ने कहा,“याचिकाकर्ता पर अपराध की आय से जुड़े होने के कारण आर्थिक प्रकृति के जघन्य अपराधों में शामिल होने का आरोप है। उस पर आरोप है कि उसने हज़ारों लोगों को उनकी मेहनत की कमाई को...
[S.37 NDPS Act] अभियुक्त के 'अपराध करने की संभावना कब नहीं' होती? पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने ज़मानत देने की पूर्व-आवश्यकता स्पष्ट की
पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने NDPS Act के तहत वाणिज्यिक मात्रा के मामले में ज़मानत देने की पूर्व-आवश्यकता स्पष्ट की है, जिसमें एक शर्त यह है कि अभियुक्त "ज़मानत पर रहते हुए कोई अपराध करने की संभावना नहीं रखता"।NDPS Act की धारा 37 में कहा गया कि वाणिज्यिक मात्रा के मामले में अभियुक्त को तब तक ज़मानत नहीं दी जानी चाहिए, जब तक कि अभियुक्त दो शर्तों को पूरा न कर ले, यानी यह मानने का उचित आधार कि अभियुक्त ऐसे अपराध का दोषी नहीं है और यह कि ज़मानत मिलने पर अभियुक्त कोई अपराध नहीं करेगा या अपराध करने...
गुजरात हाईकोर्ट ने कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों का निरीक्षण कर श्रमिकों के व्यावसायिक स्वास्थ्य जोखिमों का आकलन करने के लिए पैनल को निर्देश दिया
गुजरात हाईकोर्ट ने बुधवार (23 जुलाई) को अदालत द्वारा नियुक्त समिति को राज्य में कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों का नए सिरे से निरीक्षण करने का निर्देश दिया ताकि श्रमिकों की चिकित्सा स्थिति का आकलन किया जा सके और "व्यावसायिक स्वास्थ्य जोखिमों" का आकलन किया जा सके।अदालत कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों में काम करने वाले श्रमिकों के स्वास्थ्य संबंधी खतरों - जैसे एस्बेस्टोसिस, सिलिकोसिस और शोर से होने वाली श्रवण हानि (NIHL) - जिन्हें व्यावसायिक स्वास्थ्य जोखिम बताया गया है, से संबंधित एक...
PM और सेना पर वीडियो शेयर करने वाले को HP हाईकोर्ट से जमानत, कहा- हिंसा भड़काने वाला नहीं
हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने फेसबुक पर कथित तौर पर वीडियो साझा करने के लिए गिरफ्तार फारूक अहमद को जमानत दे दी है, जिसमें भारत के प्रधान मंत्री और भारतीय सेना के बारे में अपमानजनक टिप्पणियां थीं।न्यायालय ने कहा कि हिंसा या सार्वजनिक अव्यवस्था के लिए किसी भी उकसावे की अनुपस्थिति में इस तरह के वीडियो को साझा करना प्रथम दृष्टया राजद्रोह या दुश्मनी को बढ़ावा देने के अपराध को आकर्षित नहीं करता है। जस्टिस राकेश कैंथला ने कहा,"फेसबुक पोस्ट की वीडियो रिकॉर्डिंग अदालत में चलाई गई थी। वे खराब स्वाद में हो...
गलत बुकलेट नंबर भरने पर NEET-UG स्टूडेंट की याचिका हाईकोर्ट ने खारिज की, कहा- काउंसलिंग शुरू हो चुकी है
मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने NEET UG 2025 की एक उम्मीदवार द्वारा दायर रिट याचिका को खारिज कर दिया है, जिसने ओएमआर शीट में कथित त्रुटि के कारण अपने सही परिणाम की घोषणा न करने के लिए राहत मांगी थी।अदालत ने कहा कि याचिकाकर्ता अपनी गलती से उत्पन्न स्थिति से व्यथित थी, जहां उसने अपनी ओएमआर शीट में गलत बुकलेट नंबर दाखिल किया था। अदालत ने यह भी कहा कि इसके बाद याचिकाकर्ता चुप रहा और उसने समय पर आपत्तियां नहीं उठाईं। जस्टिस आनंद पाठक और जस्टिस हिरदेश की खंडपीठ ने कहा, "पक्षों के लिए विद्वान वकील द्वारा दी...
हाईकोर्ट में 'कन्नप्पा' फिल्म डायरेक्टर की बड़ी जीत, मेटा और 'X' से हटाए जाएंगे पायरेटेड लिंक
दिल्ली हाईकोर्ट ने हाल ही में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म मेटा और एक्स को विष्णु मांचू स्टारर तेलुगु फिल्म 'कन्नप्पा' के पायरेटेड लिंक को हटाने का निर्देश दिया।जस्टिस ज्योति सिंह ने फिल्म प्रोडक्शन ट्वेंटी-फोर फ्रेम्स फैक्ट्री प्राइवेट लिमिटेड द्वारा दायर कॉपीराइट उल्लंघन के मुकदमे पर अंतरिम आदेश पारित किया। याचिका में दावा किया गया है कि भगवान शिव और उनके समर्पित अनुयायी के बारे में धार्मिक लोककथाओं पर आधारित कन्नप्पा, प्रोडक्शन हाउस की सबसे महत्वाकांक्षी परियोजनाओं में से एक है, और इसकी पायरेसी न...
कुम्भ मेले पर फेसबुक कमेंट करने पर आदतन अपराधी घोषित किया गया या नहीं? हाईकोर्ट ने राज्य से मांगा जवाब
मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को यह बताने का निर्देश दिया है कि क्या किसी व्यक्ति को उप-संभागीय मजिस्ट्रेट के उस आदेश को चुनौती देते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है जिसमें उसे कुंभ मेले के संबंध में फेसबुक पर कथित आपत्तिजनक टिप्पणी के लिए आदतन अपराधी घोषित किया गया था।याचिका में दावा किया गया है कि प्रयागराज में कुंभ मेले के संबंध में एक फेसबुक पोस्ट पर की गई टिप्पणी के आधार पर उनके खिलाफ कार्यवाही शुरू की गई थी। यह दावा करता है कि टिप्पणी को एक टिप्पणी के रूप में चित्रित किया गया है...
दिल्ली सरकार और पुलिस द्वारा महिला व बाल सहायता केंद्रों के संचालन पर हाईकोर्ट असंतुष्ट, दिए आवश्यक निर्देश
दिल्ली हाईकोर्ट ने बुधवार को कहा कि वह राष्ट्रीय राजधानी में हिंसा का सामना कर रही महिलाओं और बच्चों को सहायता मुहैया कराने के लिए वन स्टॉप सेंटर चलाने में दिल्ली सरकार और पुलिस द्वारा उठाए गए कदमों और उपायों से संतुष्ट नहीं है।चीफ़ जस्टिस डीके उपाध्याय और जस्टिस तुषार राव गेदेला की खंडपीठ ने अधिकारियों को दिशानिर्देश जारी करते हुए कहा कि इस मामले में आवश्यक कदम और कार्रवाई दिल्ली सरकार और दिल्ली पुलिस द्वारा नहीं की गई है। केंद्रों की स्थापना महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराधों को दर्ज करने के...
बॉम्बे हाईकोर्ट ने ज़ी टीवी शो के खिलाफ FIR में मूल शिकायतकर्ता की जगह पुलिस अधिकारी द्वारा फर्जी व्यक्ति को अदालत में पेश करने पर नाराजगी जताई
बॉम्बे हाईकोर्ट हाल ही में एक साइबर क्राइम पुलिस अधिकारी के आचरण से व्यथित हुआ, जिसने लोकप्रिय चैनल ज़ी टीवी पर प्रसारित होने वाले टीवी धारावाहिक "तुम से तुम तक" के खिलाफ दर्ज एफआईआर में एक जालसाज को शिकायतकर्ता के रूप में अदालत के सामने पेश किया। जस्टिस रवींद्र घुगे और जस्टिस गौतम अंखड की खंडपीठ ने कहा कि एफआईआर के अनुसार शिकायतकर्ता - सुनील शर्मा ने तर्क दिया है कि इस धारावाहिक के प्रसारण से उनकी भावनाएं आहत हुई हैं, जो एक 50 वर्षीय व्यक्ति के 20 वर्षीय लड़की से प्यार करने की कहानी पर आधारित...
'न्यायिक अनुशासनहीनता': P&H हाईकोर्ट ने उस ट्रायल जज के खिलाफ जांच के आदेश दिए, जिन्होंने एक ही मामले में एक ही दिन अंतरिम और पूर्ण गिरफ्तारी-पूर्व ज़मानत दी थी
पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने एक अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश द्वारा एक ही मामले में एक ही दिन दो अलग-अलग आदेश पारित करने के बाद "न्यायिक अनुशासनहीनता" का एक मामला उठाया है। "गहन जांच" का सुझाव देते हुए, न्यायालय ने महापंजीयक को संबंधित प्रशासनिक न्यायाधीश के समक्ष फाइल प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। फरीदाबाद के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश ने जालसाजी के एक मामले में पहले मौखिक रूप से अंतरिम-अग्रिम ज़मानत देने का आदेश सुनाया, लेकिन बाद में उसी दिन पूर्णतः गिरफ्तारी-पूर्व ज़मानत देने का आदेश पारित कर...
टैक्सी में नशे का सामान मिलने मात्र से ड्राइवर को दोषी नहीं ठहराया जा सकता: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट
हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने कहा है कि एक टैक्सी चालक को एनडीपीएस अधिनियम के तहत प्रतिबंधित पदार्थ रखने के लिए केवल इसलिए उत्तरदायी नहीं ठहराया जा सकता क्योंकि वह जिस वाहन को चला रहा था उसमें अवैध पदार्थ पाए गए थे, जबकि प्रथम दृष्टया कोई सबूत नहीं है कि उसे इसके परिवहन में जानकारी या भागीदारी थी।जस्टिस राकेश कैंथला ने कहा,"स्थिति रिपोर्ट से पता नहीं चलता है कि याचिकाकर्ता की आपराधिक पृष्ठभूमि है। रिकॉर्ड पर सामग्री याचिकाकर्ता को अपराध के आयोग से जोड़ने के लिए प्रथम दृष्टया अपर्याप्त है; इसलिए, यह...
7,000 मूर्तियां छोटी बात नहीं: बॉम्बे हाईकोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार से ऊंची गणेश मूर्तियों के लिए कृत्रिम विसर्जन विकल्प तलाशने को कहा
गणेश उत्सव के दौरान प्लास्टर ऑफ पेरिस (PoP) से बनी मूर्तियों के प्राकृतिक जलस्रोतों में विसर्जन पर चल रही याचिका की सुनवाई में बॉम्बे हाईकोर्ट ने बुधवार को महाराष्ट्र सरकार को पर्यावरणीय सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए ऊंची मूर्तियों के लिए भी कृत्रिम टैंकों में विसर्जन का विकल्प अपनाने पर विचार करने को कहा।राज्य सरकार की ओर से एडवोकेट जनरल डॉ. बीरेन्द्र सराफ ने चीफ जस्टिस अलोक अराधे और जस्टिस संदीप मर्ने की पीठ को बताया कि 5 फीट तक की सभी मूर्तियों का विसर्जन अब अनिवार्य रूप से कृत्रिम जलाशयों...
लोक अदालत बिना कारण बताए पक्षकार को क्रॉस एग्जामिनेशन का मौका देने से इनकार नहीं कर सकती: बॉम्बे हाईकोर्ट
बॉम्बे हाईकोर्ट ने माना है कि स्थायी लोक अदालत को कानूनी सेवा प्राधिकरण अधिनियम, 1987 की धारा 22-D में निहित प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों का पालन करना चाहिए, भले ही सारांश प्रक्रिया का पालन किया गया हो।अदालत ने एक दूरसंचार विधेयक से जुड़े विवाद में पीएलए के आदेश को इस आधार पर रद्द कर दिया कि याचिकाकर्ता को बिना किसी कारण के प्रतिवादी के गवाह से जिरह करने के अधिकार से वंचित कर दिया गया था। जस्टिस एमएस सोनक और जस्टिस जितेंद्र जैन की खंडपीठ बिंदु नारंग द्वारा दायर एक रिट याचिका पर सुनवाई कर रही...
पेटेंट अधिनियम के तहत 'उल्लंघन' की परिभाषा में खामियों को दूर करना विधायिका के लिए उचित: दिल्ली हाईकोर्ट
दिल्ली हाईकोर्ट ने विधायिका को पेटेंट अधिनियम 1970 के तहत 'उल्लंघन' की परिभाषा तय करने का सुझाव दिया है। जस्टिस सी हरि शंकर और जस्टिस अजय दिगपॉल की खंडपीठ ने कहा कि जहां अन्य बौद्धिक संपदा कानून उल्लंघन की परिभाषा तय करते हैं, वहीं पेटेंट अधिनियम इस पहलू पर 'अजीब' रूप से मौन है।संदर्भ के लिए, ट्रेडमार्क अधिनियम 1999 की धारा 29 ट्रेडमार्क के उल्लंघन को परिभाषित करती है, कॉपीराइट अधिनियम, 1957 की धारा 51 कॉपीराइट के उल्लंघन को परिभाषित करती है, और डिज़ाइन अधिनियम 2000 की धारा 22 डिज़ाइन चोरी को...
'मामला महीनों से लंबित': इलाहाबाद हाईकोर्ट ने जजों की समय पर नियुक्ति की मांग वाली जनहित याचिका पर केंद्र और हाईकोर्ट प्रशासन से जवाब मांगा
इलाहाबाद हाईकोर्ट में सभी मौजूदा न्यायिक रिक्तियों को शीघ्र भरने के निर्देश देने की मांग वाली एक जनहित याचिका (PIL) पर सुनवाई करते हुए, सोमवार को केंद्र और हाईकोर्ट प्रशासन के वकीलों को एक सितंबर तक संबंधित पक्षों से निर्देश प्राप्त करने का निर्देश दिया। जस्टिस विवेक कुमार बिड़ला और जस्टिस जितेंद्र कुमार सिन्हा की पीठ ने निर्देश मांगे क्योंकि उसने पाया कि जनहित याचिका कई महीनों से लंबित है।पीठ ने अपने आदेश में कहा, "4. हम पाते हैं कि मामला कई महीनों से लंबित है और भारत संघ के विद्वान वकील को इस...
बीमा कंपनी बिना सबूत के परिवार के सदस्यों के बीच नियोक्ता-कर्मचारी के अवैध संबंध का हवाला देकर मुआवज़ा देने से इनकार नहीं कर सकती: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट
हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने कहा कि यदि विश्वसनीय साक्ष्य उपलब् हों, तो घनिष्ठ पारिवारिक संबंध कानून के तहत वैध नियोक्ता-कर्मचारी संबंध को नहीं रोकते। जस्टिस विवेक सिंह ठाकुर ने कहा,"सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट रूप से कहा है कि तकनीकी रूप से यह संभावना है कि पति और पत्नी के बीच नियोक्ता और कर्मचारी का संबंध हो सकता है। यह ध्यान देने योग्य है कि पति और पत्नी का संबंध भाई के संबंध से कहीं अधिक घनिष्ठ होता है, क्योंकि सामान्य परिस्थितियों में, दोनों जीवनसाथी होने के कारण, उनसे कर्मचारी और नियोक्ता के रूप...
हाईकोर्ट की नंबर प्लेट होने से नहीं मिलेगा छूट का फायदा: रॉन्ग साइड चलने पर गुजरात हाईकोर्ट की सख्त टिप्पणी
गुजरात हाईकोर्ट ने बुधवार (23 जुलाई) को सड़क पर रॉन्ग साइड से वाहन चलाने की घटनाओं पर गंभीर रुख अपनाते हुए पुलिस को स्पष्ट निर्देश दिए कि चाहे वाहन पर हाईकोर्ट की नंबर प्लेट या स्टिकर ही क्यों न हो, नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ बिना किसी हिचक के कार्रवाई की जाए।चीफ जस्टिस ए.एस. सुपेहिया और जस्टिस आर.टी. वच्छानी की खंडपीठ ने 2017 की जनहित याचिका से जुड़े अवमानना मामले की सुनवाई के दौरान मौखिक रूप से यह टिप्पणी की। अदालत उस खबर से नाराज़ थी, जिसमें बताया गया कि हाईकोर्ट की नंबर प्लेट लगी...





![[S.37 NDPS Act] अभियुक्त के अपराध करने की संभावना कब नहीं होती? पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने ज़मानत देने की पूर्व-आवश्यकता स्पष्ट की [S.37 NDPS Act] अभियुक्त के अपराध करने की संभावना कब नहीं होती? पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने ज़मानत देने की पूर्व-आवश्यकता स्पष्ट की](https://hindi.livelaw.in/h-upload/2025/04/21/500x300_596667-750x450533446-justice-sumeet-goel-punjab-and-haryana-hc4.jpg)














