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चिकित्सा लापरवाही और रेस इप्सा लोकिटुर | जहां लापरवाही स्पष्ट हो, वहां सबूत का बोझ अस्पताल पर: सुप्रीम कोर्ट
चिकित्सा लापरवाही और रेस इप्सा लोकिटुर | जहां लापरवाही स्पष्ट हो, वहां सबूत का बोझ अस्पताल पर: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने 26 सितंबर को दिए गए एक महत्वपूर्ण फैसले में चिकित्सा लापरवाही के मामलों के संदर्भ में रेस इप्सा लोकिटुर के सिद्धांत की प्रयोज्यता की पुष्टि की, उन मामलों में इसकी प्रयोज्यता पर जोर दिया जहां लापरवाही स्पष्ट है और सबूत का बोझ अस्पताल या मेडिकल प्रैक्टिशनर पर डाल दिया गया है। रेस इप्सा लोकिटुर का अर्थ है "चीज अपने आप बोलती है"।न्यायालय ने भारतीय वायु सेना के एक पूर्व अधिकारी को 1.5 करोड़ रुपये का मुआवजा देते हुए इस सिद्धांत की पुष्टि की, जो एक सैन्य अस्पताल में ब्लड ट्रांसफ्यूजन...

उद्धव ठाकरे बनाम एकनाथ शिंदे: अयोग्यता की कार्यवाही तेज करने के लिए उद्धव गुट ने महाराष्ट्र स्पीकर के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया
उद्धव ठाकरे बनाम एकनाथ शिंदे: अयोग्यता की कार्यवाही तेज करने के लिए उद्धव गुट ने महाराष्ट्र स्पीकर के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया

शिवसेना संकट के अन्य घटनाक्रम में उद्धव ठाकरे गुट ने एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले बागी सेना विधायकों के खिलाफ लंबित अयोग्यता याचिकाओं की सुनवाई के लिए शेड्यूल जारी करने के महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष के फैसले को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया।उद्धव ठाकरे गुट के अनुसार, जिस कार्यक्रम के अनुसार सुनवाई की प्रक्रिया 6 अक्टूबर से शुरू होगी और 23 नवंबर तक चलेगी, वह समय बर्बाद करने का एक और प्रयास है। यदि शेड्यूल का पालन किया जाता है तो स्पीकर का फैसला दिसंबर में या उसके बाद भी आने की...

रेलवे सुरक्षा बल को एक सशस्त्र बल घोषित किया गया है, फिर भी इसके सदस्य कर्मचारी मुआवजा अधिनियम के तहत लाभ मांग सकते हैं: सुप्रीम कोर्ट
रेलवे सुरक्षा बल को एक सशस्त्र बल घोषित किया गया है, फिर भी इसके सदस्य कर्मचारी मुआवजा अधिनियम के तहत लाभ मांग सकते हैं: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार (26.09.2023) को कहा कि रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) का एक अधिकारी कर्मचारी मुआवजा अधिनियम, 1923 के तहत मुआवजे की मांग कर सकता है, भले ही आरपीएफ को यूनियन का सशस्त्र बल घोषित किया गया हो।जस्टिस बीवी नागरत्ना और जस्टिस मनोज मिश्रा की पीठ ने कहा, ''हमारे विचार में, आरपीएफ को यूनियन का सशस्त्र बल घोषित करने के बावजूद, विधायी मंशा इसके सदस्यों या उनके उत्तराधिकारियों को 1923 अधिनियम या 1989 अधिनियम के तहत देय मुआवजे के लाभ से बाहर करने की नहीं थी।''मामले से संबंधित तथ्य यह हैं कि...

पहले के फैसले में दिए गए अनुपात को सिर्फ इसलिए नजरअंदाज नहीं किया जा सकता क्योंकि यह बड़ी बेंच के पास भेजा गया है: सुप्रीम कोर्ट
पहले के फैसले में दिए गए अनुपात को सिर्फ इसलिए नजरअंदाज नहीं किया जा सकता क्योंकि यह बड़ी बेंच के पास भेजा गया है: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने हाल के एक फैसले में कहा कि वह पहले के फैसले में निर्धारित अनुपात को केवल इसलिए नजरअंदाज नहीं कर सकता, क्योंकि वह बड़ी बेंच के पास भेजा गया है।जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस बेला त्रिवेदी की खंडपीठ ने कहा कि न्यायिक औचित्य ने पहले के फैसले में निर्धारित अनुपात की अनदेखी करने की अनुमति नहीं दी, क्योंकि बड़ी पीठ से इस संबंध में कोई निर्णय नहीं आया था।यह मामला केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (कैट), हैदराबाद में कार्यवाही से संबंधित है, जिसे उसी न्यायाधिकरण की अहमदाबाद पीठ में ट्रांसफर...

दहेज हत्या मामला | सुप्रीम कोर्ट ने आश्चर्य जताया- हाईकोर्ट ने पति को दोषी ठहराने के लिए मृत्युकालीन बयान का उपयोग किया, जबकि ससुर के मामले में उस बयान पर भरोसा नहीं किया
दहेज हत्या मामला | सुप्रीम कोर्ट ने आश्चर्य जताया- हाईकोर्ट ने पति को दोषी ठहराने के लिए मृत्युकालीन बयान का उपयोग किया, जबकि ससुर के मामले में उस बयान पर भरोसा नहीं किया

सुप्रीम कोर्ट ने दहेज हत्या के एक मामले में एक दोषी को बरी करते हुए यह सुनिश्चित करने के महत्व पर जोर दिया कि मृत्यु पूर्व दिया गया बयान भरोसेमंद और विश्वसनीय हो और जब इसे आपराधिक सजा के लिए एकमात्र आधार माना जाता है तो यह आत्मविश्वास पैदा करता हो। न्यायालय ने बताया कि जिन परिस्थितियों में मृत्यु पूर्व बयान दर्ज किया गया था, उससे यह चिंता पैदा होती है कि क्या यह एक स्वैच्छिक बयान था या इसे प्रभावित किया गया था या सिखाया गया था। न्यायालय ने हाईकोर्ट द्वारा मृत्यु पूर्व दिए गए बयान के ट्रीटमेंट...

सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान हाईकोर्ट में वकीलों की हड़ताल की निंदा की; बार एसोसिएशन को नोटिस जारी
सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान हाईकोर्ट में वकीलों की हड़ताल की निंदा की; बार एसोसिएशन को नोटिस जारी

सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान हाईकोर्ट बार एसोसिएशन को हड़ताल करने पर एक बार फिर फटकार लगाई है। कोर्ट ने निराशा के साथ कहा, "यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि राजस्थान में हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने अदालती काम से दूर रहने का फैसला किया, इसलिए, हाईकोर्ट को सहायता नहीं मिल सकी।"जस्टिस अभय एस ओक और जस्टिस पंकज मिथल की वकीलों की गैर-हाजिरी के कारण हाईकोर्ट की ओर से पारित एक प्रतिकूल आदेश के खिलाफ एक विशेष अनुमति याचिका पर सुनवाई कर रही थी। हड़ताल के कारण वकील उपस्थित नहीं हुए थे।एसोसिएशन के आचरण की निंदा करते हुए...

पश्चिम बंगाल यूनिवर्सिटी का विवाद: सुप्रीम कोर्ट वीसी नियुक्तियों के लिए खोज समितियां गठित करेगा; कंपोजिशन के लिए सुझाव आमंत्रित किए
पश्चिम बंगाल यूनिवर्सिटी का विवाद: सुप्रीम कोर्ट वीसी नियुक्तियों के लिए खोज समितियां गठित करेगा; कंपोजिशन के लिए सुझाव आमंत्रित किए

राज्य संचालित यूनिवर्सिटी में कुलपतियों की नियुक्ति के मुद्दे पर ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली पश्चिम बंगाल सरकार और राज्यपाल सीवी आनंद बोस के बीच बढ़ती तनातनी के बीच सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार (27 सितंबर) को हस्तक्षेपकर्ताओं से प्रसिद्ध नामों का प्रस्ताव देने को कहा। इन नियुक्तियों के लिए चयन पैनल में शामिल करने के लिए वैज्ञानिकों, टेक्नोक्रेट्स, प्रशासकों, शिक्षाविदों और अन्य प्रतिष्ठित व्यक्तियों को आमंत्रित किया जाता है।जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस दीपांकर दत्ता की खंडपीठ पश्चिम बंगाल सरकार की...

सिर्फ केस दाखिल करने भर से शांत ना बैठें, नई कौशल के मास्टर बनें : सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने नए एडवोकेट्स-ऑन-रिकॉर्ड को कहा
सिर्फ केस दाखिल करने भर से शांत ना बैठें, नई कौशल के मास्टर बनें : सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने नए एडवोकेट्स-ऑन-रिकॉर्ड को कहा

सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने मंगलवार को आयोजित नए पंजीकृत एडवोकेट्स-ऑन-रिकॉर्ड (एओआर) के अभिनंदन कार्यक्रम में बोलते हुए कहा कि एओआर सुप्रीम कोर्ट में आने वाले हर मामले में महत्वपूर्ण हैं और कभी-कभी सीनियर एडवोकेट से भी अधिक महत्वपूर्ण होते हैं। अनिवार्य रूप से, क्योंकि एओआर अभिवचनों पर नाम डालने की ज़िम्मेदारी लेता है और अंततः न्यायालय के प्रति जवाबदेह होता है।सीजेआई ने कहा, "आप अपने मुवक्किल का पहला इंटरफ़ेस हैं और आप अपने मुवक्किल के साथ अदालत का एकमात्र इंटरफ़ेस हैं और इसलिए, मेरा मानना ​​है...

सुप्रीम कोर्ट ने खाड़ी क्षेत्र के लिए हवाई जहाज किराए की अत्यधिक कीमतों को चुनौती देने वाली याचिका पर विचार करने से इनकार किया, याचिकाकर्ता को हाईकोर्ट जाने को कहा
सुप्रीम कोर्ट ने खाड़ी क्षेत्र के लिए हवाई जहाज किराए की अत्यधिक कीमतों को चुनौती देने वाली याचिका पर विचार करने से इनकार किया, याचिकाकर्ता को हाईकोर्ट जाने को कहा

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को खाड़ी देशों से आने-जाने के लिए अत्यधिक हवाई यात्रा किराए को चुनौती देने वाली एक याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया।सुप्रीम कोर्ट ने यह देखा कि याचिका को सुप्रीम कोर्ट द्वारा निपटाए जाने के बजाय हाईकोर्ट के समक्ष उठाया जा सकता है। सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की पीठ केरल प्रवासी एसोसिएशन द्वारा भारतीय विमानन अधिनियम के नियम -135 को चुनौती देने वाली जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जो एयरलाइंस को टिकट की कीमतें तय करने के...

याचिका के साथ पेश किया गया फर्जी कोर्ट आदेश, सुप्रीम कोर्ट ने आपराधिक जांच का निर्देश दिया, कहा- वकील की भूमिका की जांच की जाए
याचिका के साथ पेश किया गया फर्जी कोर्ट आदेश, सुप्रीम कोर्ट ने आपराधिक जांच का निर्देश दिया, कहा- वकील की भूमिका की जांच की जाए

एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में, सुप्रीम कोर्ट को हाल ही में एक ऐसी याचिका प्राप्त हुई, जिसमें एक मनगढ़ंत दस्तावेज़ को सुप्रीम कोर्ट द्वारा पारित आदेश के रूप में पेश किया गया था। यह महसूस होने पर कि आदेश मनगढ़ंत है, न्यायालय ने आपराधिक जांच का आदेश दिया।जस्टिस अभय एस ओक और जस्टिस पंकल मिथल ने कहा,“(रजिस्ट्रार की) रिपोर्ट से यह स्पष्ट है कि इस न्यायालय के आदेश की एक प्रति होने का दावा करने वाला दस्तावेज, जिसे रिपोर्ट में एनेक्जर-III के जर‌िए मार्क किया गया है, एक मनगढ़ंत दस्तावेज़ है। इसलिए,...

सुप्रीम कोर्ट ने सिविल जजों की भर्ती पीएससी से कराने की हरियाणा सरकार की याचिका खारिज की, कहा-न्यायिक सेवा की जरूरतों को समझने के लिए हाईकोर्ट सबसे उपयुक्त
सुप्रीम कोर्ट ने सिविल जजों की भर्ती पीएससी से कराने की हरियाणा सरकार की याचिका खारिज की, कहा-'न्यायिक सेवा की जरूरतों को समझने के लिए हाईकोर्ट सबसे उपयुक्त'

सुप्रीम कोर्ट ने हाल में हरियाणा सरकार की ओर से दायर एक आवेदन को खारिज कर दिया, जिसमें जूनियर सिविल जजों का चयन, चयन समिति, जिसमें हाईकोर्ट के प्रतिनिध‌ि शामिल होते हैं, के बजाय राज्य लोक सेवा आयोग के जर‌िए कराने की मांग की गई थी। सुप्रीम कोर्ट ने निर्णय में कहा कि हाईकोर्ट न्यायिक सेवाओं की जरूरतों को समझने के लिए सबसे उपयुक्त है।कोर्ट ने कहा, "चयन प्रक्रिया में शामिल हाईकोर्ट के जजों को विषय और सेवा की प्रकृति दोनों का ज्ञान होता है।"चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला...

सुप्रीम कोर्ट ने रिटायर्ड सैनिक के विकलांगता पेंशन दावे को 10 साल तक बढ़ाया, आर्मी के पेंशन नियमों का उल्लेख किया
सुप्रीम कोर्ट ने रिटायर्ड सैनिक के विकलांगता पेंशन दावे को 10 साल तक बढ़ाया, आर्मी के पेंशन नियमों का उल्लेख किया

सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में रिटायर्ड सैनिक के विकलांगता पेंशन दावे के पक्ष में फैसला सुनाया, जिसने 15 साल तक भारतीय सेना में सेवा की थी और 1987 में हृदय संबंधी परेशानी के बाद उसे ‌डिस्‍चार्ज कर ‌दिया गया था। अदालत ने कहा कि मेडिकल बोर्ड की राय के अनुसार व्यक्ति की ओर से कोई लापरवाही नहीं हुई और उसके रिकॉर्ड अनुकरणीय थे। उसके खिलाफ एकमात्र कारक यह था कि उसने सर्जरी कराने में अनिच्छा व्यक्त की थी।कोर्ट यह देखकर हैरान था कि ट्रिब्यूनल ने विकलांगता पेंशन को केवल एक वर्ष तक ही सीमित कैसे कर दिया,...

कानूनी पेशे में पहली पीढ़ी के वकीलों और महिलाओं का प्रवेश समावेशिता की दिशा में कदम है : जस्टिस हिमा कोहली
कानूनी पेशे में पहली पीढ़ी के वकीलों और महिलाओं का प्रवेश समावेशिता की दिशा में कदम है : जस्टिस हिमा कोहली

सुप्रीम कोर्ट की न्यायाधीश जस्टिस हिमा कोहली ने हाल ही में एक कार्यक्रम में विभिन्न पृष्ठभूमि से पहली पीढ़ी के वकीलों के प्रवेश और उनके परिवर्तनकारी प्रभाव के लिए कानूनी पेशे में महिलाओं के बढ़ते प्रतिनिधित्व की सराहना की। फोर्ब्स इंडिया-लीगल पावर लिस्ट 2022 फिनाले में बोलते हुए उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इन बदलावों ने कानूनी पेशे के ढांचे को नया आकार दिया है। जस्टिस कोहली ने इन योगदानों के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा,“ उनके योगदान महज प्रतीकात्मकता से बहुत दूर हैं, वे विविध दृष्टिकोणों...

सुप्रीम कोर्ट ने बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री एल मुरुगन के खिलाफ डीएमके के अखबार की मानहानि मामले पर रोक लगाई
सुप्रीम कोर्ट ने बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री एल मुरुगन के खिलाफ डीएमके के अखबार की मानहानि मामले पर रोक लगाई

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार (27.09.2023) को केंद्रीय मंत्री डॉ एल मुरुगन और तमिलनाडु बीजेपी के पूर्व प्रमुख के खिलाफ डीएमके मुखपत्र मुरासोली ट्रस्ट द्वारा शुरू की गई मानहानि की कार्यवाही पर रोक लगा दी। इस महीने की शुरुआत में मद्रास हाईकोर्ट ने कार्यवाही को रद्द करने से इनकार कर दिया था, जिसके खिलाफ मुरुगन ने शीर्ष अदालत में अपील की है।मुरासोली ट्रस्ट ने एक प्रेस वार्ता में की गई टिप्पणी के लिए मंत्री के खिलाफ आईपीसी की धारा 499 और 500 के तहत एक निजी शिकायत दर्ज की थी। आरोप लगाया गया कि मंत्री के...

डिक्री के ‌रिव्यू को खारिज करने वाले ट्रायल कोर्ट के आदेश के खिलाफ धारा 115 सीपीसी के तहत दायर पुनरीक्षण याचिका पर विचार नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट
डिक्री के ‌रिव्यू को खारिज करने वाले ट्रायल कोर्ट के आदेश के खिलाफ धारा 115 सीपीसी के तहत दायर पुनरीक्षण याचिका पर विचार नहीं किया जा सकता: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार (26 सितंबर 2023) को माना कि एक अधीनस्थ अदालत अपीलीय डिक्री के रिव्यू आवेदन की अस्वीकृति के खिलाफ नागरिक प्रक्रिया संहिता, 1908 की धारा 115 के तहत पुनरीक्षण याचिका पर योग्यता के आधार पर विचार नहीं कर सकती है। जस्टिस पीएस नरसिम्हा और जस्टिस मनोज मिश्रा की खंडपीठ ने कहा,“.. जहां किसी मुकदमे में अपील योग्य डिक्री पारित की गई है, उस डिक्री की रिव्यू को गुण-दोष के आधार पर खारिज करने वाले आदेश के खिलाफ सीपीसी की धारा 115 के तहत किसी भी संशोधन पर विचार नहीं किया जाना चाहिए। उस...

अनिवार्य रूप से रजिस्ट्रेशन योग्य अनरजिस्टर्ड लीज डीड को कब्जे की प्रकृति और चरित्र दिखाने के लिए कब स्वीकार किया जा सकता है? सुप्रीम कोर्ट ने समझाया
अनिवार्य रूप से रजिस्ट्रेशन योग्य अनरजिस्टर्ड लीज डीड को कब्जे की प्रकृति और चरित्र दिखाने के लिए कब स्वीकार किया जा सकता है? सुप्रीम कोर्ट ने समझाया

सुप्रीम कोर्ट की खंडपीठ ने जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस विक्रम नाथ ने रजिस्ट्रेशन एक्ट, 1908 की धारा 49 की व्याख्या करते हुए कहा कि अनरजिस्टर्ड लीज डीड (जो अन्यथा अनिवार्य रूप से रजिस्ट्रेशन योग्य है) को कब्जे का 'प्रकृति और चरित्र' दिखाने के लिए साक्ष्य के रूप में स्वीकार किया जा सकता है। मगर केवल तभी जब 'कब्जे की प्रकृति और चरित्र' पट्टे की मुख्य शर्त नहीं है और न्यायनिर्णयन के लिए न्यायालय के समक्ष प्राथमिक विवाद नहीं है।पृष्ठभूमि तथ्य2003 में मकान मालकिन और किरायेदार ने 5 साल की अवधि के लिए...

एचआईवी पॉजिटिव व्यक्तियों के मामलों को प्राथमिकता दें: सुप्रीम कोर्ट ने अदालतों को निर्देश दिया; एचआईवी एक्ट को लागू करने के लिए केंद्र और राज्यों को निर्देश जारी किए
एचआईवी पॉजिटिव व्यक्तियों के मामलों को प्राथमिकता दें: सुप्रीम कोर्ट ने अदालतों को निर्देश दिया; एचआईवी एक्ट को लागू करने के लिए केंद्र और राज्यों को निर्देश जारी किए

सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसले में एचआईवी एंड एड्स (प्र‌िवेंशन एंड कंट्रोल) एक्ट, 2017 के प्रभावी कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों को कई महत्वपूर्ण निर्देश जारी किए। न्यायालय ने देश के सभी न्यायालयों, न्यायाधिकरणों और अर्ध-न्यायिक निकायों को एचआईवी एक्ट की धारा 34(2) के अनुसार एचआईवी संक्रमित व्यक्तियों से संबंधित मामलों को शीघ्र निस्तारण के लिए प्राथमिकता देने का निर्देश दिया। कोर्ट ने यह भी निर्देश दिया कि एचआईवी संक्रमित व्यक्तियों की पहचान गुमनाम रखने के...

जस्टिस एसवीएन भट्टी ने सुप्रीम कोर्ट में चंद्रबाबू नायडू की एफआईआर रद्द करने की याचिका पर सुनवाई से खुद को अलग किया
जस्टिस एसवीएन भट्टी ने सुप्रीम कोर्ट में चंद्रबाबू नायडू की एफआईआर रद्द करने की याचिका पर सुनवाई से खुद को अलग किया

सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस एसवीएन भट्टी ने बुधवार (27 सितंबर) को आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री नारा चंद्रबाबू नायडू द्वारा राज्य में करोड़ों रुपये के स्किल डेवेलपमेंट घोटाले के संबंध में उनके खिलाफ आपराधिक कार्यवाही को रद्द करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई से खुद को अलग कर लिया। जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस एसवीएन भट्टी (जो आंध्र प्रदेश से हैं) की पीठ के समक्ष यह मामला सूचीबद्ध किया गया था। जैसे ही मामला उठाया गया जस्टिस खन्ना ने नायडू के वकील सीनियर एडवोकेट हरीश साल्वे से कहा,...

छत्तीसगढ़ ने पीएमएलए की धारा 50 और ईडी की शक्तियों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका वापस ली
छत्तीसगढ़ ने पीएमएलए की धारा 50 और ईडी की शक्तियों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका वापस ली

छत्तीसगढ़ ने बुधवार को संविधान के अनुच्छेद 32 के तहत सुप्रीम कोर्ट में दायर एक रिट याचिका वापस ले ली। याचिका में धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 की धारा 50 और धन शोधन निवारण कानून द्वारा प्रदत्त प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की शक्तियों को चुनौती दी गई थी।ज‌स्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस एसवीएन भट्टी की पीठ को आज याचिकाकर्ता-राज्य की ओर से पेश एक वकील ने बताया कि उन्हें छत्तीसगढ़ सरकार की याचिका वापस लेने के निर्देश प्राप्त हुआ है। याचिका वीएमजेड एसोसिएट्स के माध्यम से दायर की गई थी। जवाब में, पीठ ने याचिका...