'पीड़िता को भारत वापस लाने के लिए तत्काल उपाय करें': कलकत्ता हाईकोर्ट ने तस्करी के जरिए बांग्लादेश भेजी गई लड़की के बचाव के लिए भारत सरकार को निर्देश दिया
कलकत्ता हाईकोर्ट ने पिछले सप्ताह तस्करी की शिकार हुई एक लड़की की मदद के लिए आगे आई। कोर्ट तस्करी कर बांग्लादेश स्थित रंगपुर भेजी गई लड़की की तत्काल स्वदेश वापसी सुनिश्चित करने के लिए ठोस कदम उठाने का निर्देश दिया।
जस्टिस राजशेखर मंथा ने भारत स्थित बांग्लादेश उच्चायुक्त से पीड़ित लड़की को शेख रसेल बाल प्रशिक्षण और पुनर्वास केंद्र, रंगपुर, बांग्लादेश से किसी अन्य सुरक्षित स्थान पर स्थानांतरित करने और यह सुनिश्चित करने का अनुरोध किया कि पीड़िता सुरक्षित भारत लौट आए।
अदालत ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को मौजूदा कार्यवाही में प्रतिवादी पक्ष के रूप में शामिल किया।
कोर्ट ने कहा,
"यह न्यायालय बांग्लादेश उच्चायुक्त से पीड़िता को शेख रसेल बाल प्रशिक्षण और पुनर्वास केंद्र, रंगपुर, बांग्लादेश से किसी अन्य सुरक्षित स्थान पर स्थानांतरित करने का अनुरोध करता है। उच्चायुक्त से यह भी अनुरोध है कि कृपया यह सुनिश्चित करें कि पीड़ित लड़की भारत लौट आए।"
पीड़ित लड़की की मां ने मौजूदा याचिका दायर की थी। जिसके बाद राज्य पुलिस ने तस्करी की विस्तृत जांच की थी और उसके बाद 21 सितंबर, 2021 को भारतीय दंड संहिता की धारा 363/365/120बी/34 और विदेशी अधिनियम, 1946 की 14एफ/14सी के तहत कुछ व्यक्तियों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था, जिन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है।
अदालत को यह भी बताया गया कि राज्य ने आप्रवासन, वीजा और विदेशी पंजीकरण और ट्रैकिंग ऑनलाइन पोर्टल (इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय, भारत सरकार) के माध्यम से पीड़ित लड़की का नाम राष्ट्रीय स्थिति सत्यापन रिपोर्ट में रखा था।
पीड़िता की मां की ओर से पेश वकील ने कहा कि पीड़ित लड़की की हालत दयनीय है और उसका स्वास्थ्य लगातार बिगड़ता जा रहा है। यह भी प्रस्तुत किया गया कि यदि पीड़ित लड़की को भारत वापस नहीं लाया गया तो वह जीवित नहीं रह पाएगी।
पीठ को यह भी बताया गया कि बचाव की प्रक्रिया सीआईडी, पश्चिम बंगाल द्वारा पहले ही शुरू कर दी गई है।
अदालत ने शिकायत पर संज्ञान लेते हुए प्रभारी निरीक्षक, कोतवाली पुलिस स्टेशन, केपीडी, नदिया को जांच की रिपोर्ट यूनियन ऑफ इंडिया की ओर से पेश वकील को सौंपने का निर्देश दिया। इसके अलावा, यूनियन ऑफ इंडिया को पीड़ित को भारत में तत्काल प्रत्यावर्तन सुनिश्चित करने के लिए तत्काल कदम उठाने का निर्देश दिया गया था।
कोर्ट ने कहा,
" प्रभारी निरीक्षक, कोतवाली पुलिस स्टेशन, केपीडी, नदिया द्वारा दायर रिपोर्ट की एक प्रति यूनियन ऑफ इंडिया के वकील सुश्री आलम को सौंप दी जाए। यूनियन ठोस उपायों की जानकारी दे और पीड़ित को भारत वापस लाने के लिए तत्काल कदम उठाए।"
मामले को 14 दिसंबर, 2021 को आगे की सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया।
केस शीर्षक: इति पंडित बनाम यूनियन ऑफ इंडिया और अन्य
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