इसरो जासूसी मामला : सीबीआई ने केरल के पूर्व डीजीपी सिबी मैथ्यूज को दी गई अग्रिम जमानत के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया
सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को केरल हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ सीबीआई की ओर से दायर याचिका की सुनवाई टाल दी।
केरला हाईकोर्ट ने इसरो जासूसी मामले में पूर्व डीजीपी सिबी मैथ्यूज को सत्र न्यायालय की ओर से दी गई गिरफ्तारी पूर्व जमानत पर लगाई गई 60 दिनों की समय सीमा को रद्द कर दिया था।
स्थगन को अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू द्वारा किए गए अनुरोध के मद्देनजर दिया गया था, जिसमें केंद्रीय एजेंसी द्वारा दायर याचिका के साथ संबंधित याचिका को उसी हाईकोर्ट द्वारा चार पुलिस और इंटेलीजेंस ब्यूरो अधिकारियों को अग्रिम जमानत देने के लिए निर्देश देने की मांग की गई थी।
22.11.2021 को सुप्रीम कोर्ट ने 1994 के जासूसी मामले में इसरो के पूर्व वैज्ञानिक नंबी नारायणन को कथित रूप से फंसाने के संबंध में इन चार पुलिस अधिकारियों से संबंधित याचिका में नोटिस जारी किया था।
जस्टिस एएम खानविलकर और जेबी पारदीवाला ने रजिस्ट्री को सुनवाई की अगली तारीख पर याचिकाओं को एक साथ सूचीबद्ध करने का निर्देश दिया।
मैथ्यूज को जमानत देते हुए, सत्र न्यायालय ने 6 वीं जमानत की शर्त के रूप में 60 दिनों की अवधि की राहत को सीमित कर दिया था। अपील में हाईकोर्ट ने आदेश को रद्द कर दिया और 60 दिनों की सीमा को भी रद्द कर दिया था। अपील की सुनवाई के दरमियान हाईकोर्ट ने उक्त समय सीमा पहले ही बढ़ा दी थी, जो अन्यथा 24 अक्टूबर को समाप्त होने वाली थी, क्योंकि सीबीआई ने मामले में अपनी प्रस्तुतियां दर्ज करने के लिए समय मांगा था।
2018 में, डॉ नंबी नारायणन को उनकी अवैध गिरफ्तारी और हिरासत में यातना के लिए 50 लाख रुपये का मुआवजा देते हुए, सुप्रीम कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस डीके जैन के नेतृत्व में एक आयोग का गठन किया था, जिसका मकसद 1994 के जासूसी मामले में इसरो वैज्ञानिक नंबी नारायण और अन्य वैज्ञानिकों को फंसाने के पीछे की बड़ी साजिश का पता लगाना था।
अप्रैल 2021 में जस्टिस जैन कमेटी ने सुप्रीम कोर्ट के सामने अपनी रिपोर्ट पेश की। सीबीआई द्वारा निष्पक्ष और गहन जांच करने के लिए समिति द्वारा रखी गई सिफारिशों के आधार पर मैथ्यू के खिलाफ लंबित आपराधिक मामला दर्ज किया गया था।
गुजरात के पूर्व डीजीपी आरबी श्रीकुमार और पीएस जयप्रकाश, जो 1994 में आईबी अधिकारी थे और केरल के दो पूर्व पुलिस अधिकारी एस विजयन और थंपी एस दुर्गा मामले के अन्य आरोपी हैं।
मामले की अगली सुनवाई 27 जुलाई, 2022 को होगी।
केस टाइटल: सीबीआई बनाम सिबी मैथ्यू एसएलपी (सीआरएल) 4097/2022