दिल्ली हाईकोर्ट ने यौन उत्पीड़न मामले में आरोप तय करने के खिलाफ बृज भूषण सिंह की याचिका पर नोटिस जारी किया

Update: 2024-09-26 12:19 GMT

दिल्ली हाईकोर्ट ने गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी (BJP) नेता बृज भूषण शरण सिंह द्वारा दायर याचिका पर नोटिस जारी किया, जिसमें महिला पहलवानों द्वारा दर्ज यौन उत्पीड़न मामले में उनके खिलाफ एफआईआर, आरोपपत्र और आरोप तय करने को रद्द करने की मांग की गई।

जस्टिस मनोज कुमार ओहरी ने दिल्ली पुलिस को स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया। मामले की अगली सुनवाई 13 जनवरी, 2025 को तय की।

सिंह ने एफआईआर, आरोपपत्र और मामले से जुड़ी सभी निचली अदालती कार्यवाही को चुनौती दी। उन्होंने अपने खिलाफ आरोप तय करने के निचली अदालत के आदेश को भी चुनौती दी।

मई में निचली अदालत ने सिंह के खिलाफ पांच महिला पहलवानों के संबंध में यौन उत्पीड़न के आरोप तय किए थे। हालांकि, उन्होंने खुद को निर्दोष बताया और मुकदमे का दावा किया।

अदालत ने कहा,

“इस अदालत ने आरोपी नंबर 10 के खिलाफ आरोप तय करने के लिए रिकॉर्ड पर पर्याप्त सामग्री पाई। आरोपी नंबर 1 बृज भूषण सरन सिंह पर भारतीय दंड संहिता की धारा 354 और 354 ए के तहत पीड़ित संख्या 1, 2, 3, 4 और 5 के संबंध में अपराध के लिए आरोप तय किए गए हैं।"

निचली अदालत ने पीड़ित नंबर 1 और 5 के संबंध में आईपीसी की धारा 506 भाग 1 के तहत अपराध के लिए सिंह के खिलाफ आरोप तय करने के लिए रिकॉर्ड पर पर्याप्त सामग्री पाई। हालांकि, अदालत ने पीड़ित नंबर 6 द्वारा लगाए गए आरोपों में बृज भूषण सिंह को आरोपमुक्त कर दिया। आरोपी नंबर 2 विनोद तोमर के लिए अदालत ने पीड़ित नंबर 1 के संबंध में धारा 506 भाग 1 के तहत आरोप तय किए।

अदालत ने कहा कि शेष अपराधों के लिए उसे आरोपमुक्त किया जाता है।

अदालत ने मामले में आगे की जांच और आरोप तय करने के लिए आगे की दलीलें देने की मांग करने वाला सिंह का आवेदन खारिज कर दिया। उन्होंने दावा किया था कि वे संबंधित तिथि पर भारत में नहीं थे। इस मामले में सिंह जमानत पर हैं। साथ ही सह-आरोपी विनोद तोमर भी जमानत पर हैं, जो भारतीय कुश्ती महासंघ के पूर्व सहायक सचिव हैं।

दिल्ली पुलिस ने पिछले महीने उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता, 1860 की धारा 354, 354ए, 354डी और 506(1) के तहत आरोपपत्र दाखिल किया था। तोमर के खिलाफ आईपीसी की धारा 109 भी लगाई गई थी। हालांकि, नाबालिग पहलवान द्वारा सिंह के खिलाफ दर्ज किए गए POCSO Case में रद्दीकरण रिपोर्ट दाखिल की गई।

BJP नेता पर महिला पहलवानों ने यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यौन उत्पीड़न की कथित घटनाएं 2016 और 2019 के बीच डब्ल्यूएफआई कार्यालय, सिंह के आधिकारिक आवास और विदेश में भी हुई हैं।

केस टाइटल: बृजभूषण शरण सिंह बनाम राज्य

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