RTI से खुलासा: केसों के ढेर के बीच NCLT में न्यायिक और तकनीकी सदस्यों के पद खाली
वकील द्वारा दायर की गई RTI (सूचना का अधिकार) से यह सामने आया कि बड़ी संख्या में लंबित मामलों के बावजूद राष्ट्रीय कंपनी कानून न्यायाधिकरण (NCLT) में कई पद खाली पड़े हैं।
वकील द्वारा 12 सितंबर 2025 को दायर आवेदन (रजिस्ट्रेशन नंबर MOCAF/R/E/25/01140) में कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय से NCLT और NCLAT में लंबित मामलों, न्यायिक और तकनीकी सदस्यों के खाली पदों और भर्ती प्रक्रियाओं के बारे में जानकारी मांगी गई।
RTI से मिले मुख्य बिंदु
लंबित मामलों पर अस्पष्ट जवाब: NCLT के संयुक्त रजिस्ट्रार ने जवाब में अपनी आधिकारिक वेबसाइट देखने का निर्देश दिया, जहां मार्च, 2025 तक की केस स्थिति रिपोर्ट प्रकाशित है। हालांकि, याचिकाकर्ता ने इस जवाब को टाल-मटोल वाला और अस्पष्ट पाया, क्योंकि इसमें कोई विशिष्ट सांख्यिकीय जानकारी नहीं दी गई।
NCLT और NCLAT में रिक्तियां: NCLT की सभी क्षेत्रीय शाखाओं में फिलहाल 2 न्यायिक सदस्य और 3 तकनीकी सदस्य के पद खाली हैं। वहीं NCLAT के जन सूचना अधिकारी (CPIO) के जवाब के अनुसार NCLAT में न्यायिक या तकनीकी सदस्य के लिए कोई रिक्ति नहीं है।
भर्ती प्रक्रिया: NCLT ने कहा कि भर्ती और नियुक्तियां कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय के अधिकार क्षेत्र में आती हैं। संबंधित सूचनाएं मंत्रालय की वेबसाइट पर सार्वजनिक रूप से उपलब्ध हैं।
पारदर्शिता पर सवाल
याचिकाकर्ता का कहना है कि यह "यांत्रिक और अस्पष्ट" जवाब, खासकर लंबित मामलों के संबंध में RTI Act में निर्धारित पारदर्शिता की भावना के खिलाफ है। याचिकाकर्ता अब इस मामले में और अधिक विशिष्ट जानकारी प्राप्त करने के लिए एक्ट की धारा 19 के तहत पहली अपील दायर करने की तैयारी कर रहे हैं।
याचिकाकर्ता ने कहा कि ये जवाब, हालांकि एक जैसे हैं, लेकिन NCLT में खाली पदों की लगातार समस्या को रेखांकित करते हैं। NCLT IBC (दिवाला और दिवालियापन संहिता) के तहत कॉर्पोरेट विवादों और दिवालियापन के मामलों के निपटारे में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। उसमें रिक्तियों से मामलों के समय पर निपटान पर असर पड़ सकता है। इसका भारत में कॉर्पोरेट गवर्नेंस और आर्थिक समाधान तंत्रों के लिए व्यापक प्रभाव हैं।