कर्नाटक हाईकोर्ट ने सीएए, एनआरसी के खिलाफ छात्रों के प्ले के संबंध में बीदर स्कूल के प्रबंधन के खिलाफ दर्ज राजद्रोह के आरोप वाली एफआईआर खारिज की

Update: 2023-06-14 09:19 GMT

कर्नाटक हाईकोर्ट ने बुधवार को बीदर में शाहीन स्कूल के प्रबंधन से जुड़े चार लोगों के खिलाफ शुरू की गई आपराधिक कार्यवाही को रद्द कर दिया, जहां क्लास 4, 5 और 6 के स्टूडेंट ने वर्ष 2020 में सीएए और एनआरसी के विरोध में एक नाटक का मंचन किया था।

जस्टिस हेमंत चंदनगौदर की एकल न्यायाधीश पीठ ने अलाउद्दीन और अन्य द्वारा दायर याचिकाओं को स्वीकार कर लिया और भारतीय दंड संहिता, 1860 की धारा 34 के साथ धारा 504, 505 (2), 124ए, 153ए के तहत उनके खिलाफ शुरू किए गए अभियोजन को रद्द कर दिया । .

याचिकाकर्ताओं की ओर से पेश सीनियर एडवोकेट अमित कुमार देशपांडे ने पुष्टि की कि अदालत ने कार्यवाही को रद्द कर दिया है।

स्कूल के स्टूडेंट्स ने 2020 में सीएए और एनआरसी पर एक नाटक का मंचन किया था। इसके बाद कार्यकर्ता नीलेश रक्षला की शिकायत के आधार पर बीदर न्यू टाउन पुलिस स्टेशन में "राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों" करने और "नकारात्मक राय फैलाने" के लिए स्कूल अधिकारियों के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया था।

एफआईआर के अनुसार, शाहीन प्राइमरी और हाईस्कूल की प्रधानाध्यापिका फरीदा बेगम और संवाद बोलने वाली छात्रा की मां नजबुन्निसा को 30 जनवरी 2020 को गिरफ्तार कर लिया गया था। उस संवाद को पुलिस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अपमान बताया था। एक सत्र अदालत ने उन्हें 14 फरवरी, 2020 को रिहा कर दिया था।


केस टाइटल: अलाउद्दीन और अन्य और कर्नाटक राज्य और अन्य

केस नंबर: CRL.P 200126/2020

अपीयरेंस : याचिकाकर्ताओं के वकील गणेश एस कलबुर्गी की ओर से सीनियर एडवोकेट अमीत कुमार देशपांडे।

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