डीएचसीबीए ने जस्टिस गौरांग कंठ के स्थानांतरण की एससी कॉलेजियम की सिफारिश के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया, सोमवार को काम से दूर रहने का प्रस्ताव पारित किया
दिल्ली हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने गुरुवार को मौजूदा न्यायाधीश जस्टिस गौरांग कंठ को कलकत्ता हाईकोर्ट में स्थानांतरित करने की सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश के खिलाफ एक प्रस्ताव पारित किया।
जस्टिस कंठ को 18 मई, 2022 को दिल्ली हाईकोर्ट के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त किया गया था।
सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने कल न्यायाधीश को कलकत्ता हाईकोर्ट में स्थानांतरित करने के लिए 05 जुलाई की अपनी सिफारिश को दोहराते हुए एक प्रस्ताव पारित किया। इसने जस्टिस कंठ के मध्य प्रदेश हाईकोर्ट या राजस्थान हाईकोर्ट या किसी अन्य पड़ोसी राज्य में स्थानांतरित करने के अनुरोध को भी खारिज कर दिया।
आज पारित एक प्रस्ताव में वकीलों के निकाय ने कहा है कि वह सर्वसम्मति से विरोध के प्रतीक के रूप में अपने सदस्यों से सोमवार, 17 जुलाई को काम से दूर रहने का अनुरोध करने का प्रस्ताव पारित करता है।
प्रस्ताव में कहा गया है,
“ दिल्ली हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने सर्वसम्मति से अपने सदस्यों से विरोध के प्रतीक के रूप में सोमवार, यानी 17 जुलाई, 2023 को काम से दूर रहने का अनुरोध करने का निर्णय लिया है क्योंकि उक्त स्थानांतरण दुर्लभतम मामला है। सदस्यों से सहयोग करने का अनुरोध किया जाता है।”
इसमें कहा गया है कि इस तरह के स्थानांतरण से दिल्ली हाईकोर्ट में न्यायाधीशों की मौजूदा संख्या में कमी के कारण न्याय वितरण पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा।
आगे कहा गया कि
“ यह अफसोस की बात है कि दिल्ली हाईकोर्ट में मौजूदा रिक्तियों को भरने की प्रक्रिया के संबंध में सभी संबंधित पक्षों द्वारा कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है, फिर भी माननीय वर्तमान न्यायाधीश का स्थानांतरण किया जा रहा है जिससे मौजूदा रिक्तियों को और कम किया जा रहा है।"
इसमें कहा गया कि, “ इसलिए दिल्ली हाईकोर्ट बार एसोसिएशन माननीय सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम से उपरोक्त सिफारिश पर फिर से विचार करने का अनुरोध करता है। इसके अलावा इस प्रस्ताव की प्रति केंद्र सरकार को भी भेजी जा रही है और उनसे अनुरोध किया गया है कि वे उक्त सिफारिश पर कार्रवाई न करें और इसके बजाय कॉलेजियम से उपरोक्त निर्णय पर फिर से विचार करने का आह्वान करें। ”