DHFL धोखाधड़ी मामले में सुप्रीम कोर्ट ने धीरज वधावन की ज़मानत रद्द की, 2 हफ़्तों में सरेंडर करने का आदेश

Update: 2025-08-06 05:24 GMT

सुप्रीम कोर्ट ने दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉर्पोरेशन लिमिटेड (DHFL) के पूर्व प्रमोटर धीरज वधावन की ज़मानत रद्द की। बता दें, वधावन 34,000 करोड़ रुपये के बैंक ऋण गबन और धोखाधड़ी के मामले में आरोपी हैं।

जस्टिस संजय कुमार और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की खंडपीठ ने दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश के विरुद्ध यह आदेश पारित किया, जिसमें वधावन को सितंबर, 2024 में मेडिकल आधार पर ज़मानत दी गई थी। केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने ज़मानत दिए जाने को चुनौती दी थी।

इस साल मई में न्यायालय ने उनकी वर्तमान स्वास्थ्य स्थिति का पता लगाने के लिए ग्रांट गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज के अधीक्षक और सर जेजे ग्रुप ऑफ़ हॉस्पिटल्स, मुंबई के अधीक्षक सहित मेडिकल बोर्ड का गठन किया था।

रिपोर्ट का आकलन करने के बाद खंडपीठ ने पाया कि आरोपी को अभी किसी भी मेडिकल उपचार की आवश्यकता नहीं है, इसलिए ज़मानत रद्द कर दी गई और उन्हें दो हफ़्तों के भीतर आत्मसमर्पण करने का आदेश दिया गया।

हाईकोर्ट के समक्ष, वधावन ने दलील दी थी कि वह कई सह-रुग्णताओं और पुरानी बीमारियों से पीड़ित हैं, जिनमें इस्केमिक हृदय रोग, क्रोनिक किडनी रोग, सीरम क्रिएटिनिन के स्तर में उतार-चढ़ाव, हाई ब्लड-प्रेशर, ऑब्सट्रक्टिव स्लीप एपनिया, मोटापा आदि शामिल हैं। उन्होंने हाईकोर्ट के समक्ष कहा था कि 26 अप्रैल, 2020 से अपनी न्यायिक हिरासत के दौरान उन्होंने लगभग 50 बार अस्पताल का दौरा किया था और लगभग 8 सर्जरी करवाई थीं।

Case Details: CBI v DHEERAJ WADHAWAN|SLP(Crl) No. 3959/2025

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