एक तरफ विक्टोरिया गौरी की एडिशनल जज के रूप में नियुक्ति के खिलाफ याचिका पर सुनवाई चल रही थी, उसी समय विक्टोरिया गौरी ने मद्रास हाईकोर्ट के जज के रूप में शपथ ली

Update: 2023-02-07 06:02 GMT

एक तरफ एडवोकेट विक्टोरिया गौरी की एडिशनल जज के रूप में नियुक्ति के खिलाफ याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही थी वहीं दूसरी तरफ मद्रास हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस ने उन्हें शपथ दिलाई।

कॉलेजियम, जिसमें चीफ जस्टिस डी.वाई. चंद्रचूड़, जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस के.एम. जोसेफ ने 17 जनवरी को उच्च न्यायालय में पदोन्नति के लिए गौरी और चार अन्य वकीलों के नाम का प्रस्ताव दिया था।

लेकिन कई वकीलों ने वकील गौरी को जज बनाने का विरोध किया। विरोध करने वाले वकीलों ने नामांकित गौरी की राजनीतिक संबद्धता पर प्रकाश डाला, जो भारतीय जनता पार्टी महिला मोर्चा की महासचिव हैं।

आरोप लगाया कि गौरी ने इंटरव्यू में धार्मिक अल्पसंख्यकों, विशेष रूप से मुसलमानों और ईसाइयों के खिलाफ 'अभद्र भाषा' का इस्तेमाल किया है।

वकीलों ने कहा,

"गौरी के बयाने से पता चलता है कि क्या मुस्लिम या ईसाई समुदाय से संबंधित कोई भी वादी कभी जज बनने पर अपने न्यायालय में न्याय पाने की उम्मीद कर सकता है?"

वकीलों ने 2 फरवरी, 2023 को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम को पत्र लिख कर नियुक्ति को रद्द करने की मांग की थी।

मद्रास हाईकोर्ट बार के सदस्य (वकील एन.जी.आर. प्रसाद, आर. वैगई, एस.एस. वासुदेवन, अन्ना मैथ्यू, और डी. नागासैला) ने आरोप लगाया कि गौरी के 'प्रतिगामी विचार' मूलभूत संवैधानिक मूल्यों के लिए पूरी तरह से 'विपरीत' हैं और उनकी गहरी धार्मिक कट्टरता को दर्शाते हैं जो उन्हें हाईकोर्ट के जज के रूप में नियुक्त किए जाने के लिए अयोग्य बनाती हैं।

वकीलों ने प्रस्ताव को वापस लेने का आग्रह किया था।

वकीलों ने कहा था कि इस तरह की नियुक्तियां न्यायपालिका की स्वतंत्रता को कम करने का मार्ग प्रशस्त कर सकती हैं। इस समय, संस्थान को अपनी प्रशासनिक कार्रवाई से कमजोर होने से बचाने के लिए यह अत्यंत महत्वपूर्ण है।

इसी कड़ी में, गौरी के मद्रास उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में शपथ लेने से एक दिन पहले एक रिट याचिका भी दायर की गई थी, जिसमें सीनियर एडवोकेट राजू रामचंद्रन ने मुख्य न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़ को तत्काल लिस्टिंग के लिए कहा था।

मुख्य न्यायाधीश मंगलवार यानी आज मामले को सूचीबद्ध करने पर सहमत हुए। और आज ही गौरी ने शपथ ली।


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