सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र, राज्यों को आठ सप्ताह के भीतर एनसीडीआरसी और एससीडीआरसी में रिक्त पदों को भरने के निर्देश दिए
सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को सभी राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों को राज्य उपभोक्ता विवाद निवारण आयोगों में रिक्त पदों को आज से आठ सप्ताह के भीतर भरने का निर्देश दिया।
कोर्ट ने इसके साथ ही केंद्र सरकार को आज से 8 सप्ताह के भीतर राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग में रिक्त पदों को भरने का निर्देश दिया है।
न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति हृषिकेश रॉय की पीठ ने उपभोक्ता आयोगों में रिक्त पदों के मुद्दे को हल करने के लिए अदालत द्वारा दर्ज एक स्वत: संज्ञान मामले में यह निर्देश दिया है।
कोर्ट ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को एससीडीआरसी में रिक्तियों के संबंध में निर्देश दिया कि,
"हम रिक्तियों के मद्देनजर सभी मौजूदा संभावित रिक्तियों को दो सप्ताह के भीतर विज्ञापित करने का निर्देश देते हैं, यदि पहले से नहीं किया गया है।"
पीठ ने आदेश में कहा,
"ऐसा प्रतीत होता है कि कुछ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने चयन समितियों का गठन नहीं किया है। उन्हें आज से 4 सप्ताह के भीतर ऐसा करने का निर्देश दिया जाता है।"
पीठ ने कहा कि कुछ राज्यों ने यह बहाना दिया है कि चयन को रोक दिया गया है क्योंकि केंद्र सरकार के परामर्श से पदों की संख्या को मंजूरी नहीं दी गई है।
पीठ ने राज्यों के इस बहाने को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम की धारा 42 के आदेश के अनुसार सदस्यों की संख्या 4 से अधिक होने पर ही केंद्र सरकार से परामर्श की आवश्यकता होती है।
पीठ ने अपने आदेश में कहा कि यह एक विधायी जनादेश है और यदि संख्या चार से अधिक होगी तो ही केंद्र सरकार से परामर्श की आवश्यकता होती है। यदि राज्य को लगता है कि संख्या चार होनी चाहिए, तो यह अध्यक्ष और अनिवार्य चार सदस्य की नियुक्ति को पटरी से उतारने का कारण नहीं हो सकता है।