पीएचडी के लिए एमिफिल की अनिवार्यता वाले जेएनयू के सर्कुलर पर दिल्ली हाई कोर्ट ने लगाई रोक [आर्डर पढ़े]

Update: 2017-11-25 11:20 GMT

दिल्ली हाई कोर्ट ने जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय द्वारा जारी उन दो सर्कुलरों पर रोक लगा दिया है जिसमें कहा गया था कि पीएचडी के लिए एमफिल करना अनिवार्य है।

दिल्ली हाई कोर्ट की जस्टिस इंद्रमीत कौर ने 26 फरवरी तक सर्कुलर के लागू होने पर रोक लगा दिया है।

इस मामले में पीएचडी छात्र प्रीति उमराव और अन्य की ओर से एडवोकेट प्रशांत भूषण ने अर्जी दाखिल की है। याचिकाकर्ताओं ने कहा कि 21 और 25 सितंबर को जेएनयू की ओर से सर्कुलर जारी किया गया। सर्कुलर में कहा गया कि पीएचडी के लिए एमफिल करना आवश्यक है। याचिकाकर्ता ने कहा कि दाखिले के लिए दिए गए ब्रौशर में ऐसी कोई शर्त नहीं थी।

याचिकाकर्ता ने कहा कि इस शर्त के कारण उनके भविष्य पर असर होगा क्योंकि वह जून 2016 में ही पीएचडी प्रोग्राम शुरू कर चुकी हैं और अगर ऐसा किया गया तो उनको मुश्किल होगी। अगर नोटिफिकेशन लागू हुआ तो उनके लिए मुश्किल हो जाएगी। अदालत ने यूनिवर्सिटी को चार हफ्ते में हलफनामा देने को कहा और इसके बाद याचिकाकर्ता अपना जवाब देंगे और अगली सुनवाई 26 फरवरी को होगी।


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