'मिथुन चक्रवर्ती की 'कोबरा' टिप्पणी': कलकत्ता हाईकोर्ट ने मिथुन को वर्चुअल मोड के माध्यम से चुनाव के बाद हुई हिंसा मामले की में जांच में शामिल होने का निर्देश दिया

LiveLaw News Network

12 Jun 2021 6:21 AM GMT

  • मिथुन चक्रवर्ती की कोबरा टिप्पणी: कलकत्ता हाईकोर्ट ने मिथुन को वर्चुअल मोड के माध्यम से चुनाव के बाद हुई हिंसा मामले की में जांच में शामिल होने का निर्देश दिया

    कलकत्ता हाईकोर्ट ने जाने-माने अभिनेता और भाजपा नेता मिथुन चक्रवर्ती को अपने भाषणों के माध्यम से चुनाव के बाद हिंसा के लिए कथित रूप से उकसाने के आरोप में उनके खिलाफ दर्ज एक मामले में पूछताछ के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए पेश होने के लिए कहा।

    न्यायमूर्ति तीर्थंकर घोष की खंडपीठ ने मामले की अगली सुनवाई 18 जून, 2021 को तय की और जांच अधिकारी को निर्देश दिया गया कि वह याचिकाकर्ता को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से पेश होने के लिए कम से कम उचित समय दे।

    कोर्ट ने कहा,

    "इस बीच, याचिकाकर्ता या उसका एडवोकेट-ऑन-रिकॉर्ड याचिकाकर्ता के ई-मेल पते को राज्य को सूचित करेगा ताकि पूछताछ या जांच अधिकारी के किसी भी प्रश्न का उत्तर देने के लिए, याचिकाकर्ता खुद को वीडियो-कॉन्फ्रेंस के जरिए खुद को उपलब्ध करा सके।"

    चक्रवर्ती के खिलाफ मामला

    भाजपा में शामिल होने के बाद चक्रवर्ती ने 7 मार्च, 2021 को कोलकाता के ब्रिगेड परेड ग्राउंड में एक राजनीतिक रैली में कथित तौर पर "मारबो खाने लश पोर्बे शोशने (मैं तुम्हें यहां मारूंगा और शव श्मशान में जाकर गिरेगा)" और प्रसिद्ध बंगाली फिल्मों से एक छोबोले छबी (सिर्फ एक सर्पदंश और आप एक तस्वीर बन जाएंगे) जैसे संवादों का कथित तौर पर उच्चारण किया।इसके अनुसरण में, 06 मई, 20201 को टीएमसी पार्टी के सदस्य द्वारा एक प्राथमिकी दर्ज की गई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि ये संवाद राज्य में चुनाव के बाद की हिंसा का कारण बने। वह चुनाव के बाद की हिंसा के लिए जिम्मेदार है। उसके बाद आईपीसी की धारा 153ए/504/505/34 के तहत पंजीकृत एक मामला दर्ज किया गया था।

    कलकत्ता हाईकोर्ट के समक्ष एक खारिज करने वाली याचिका दायर करते हुए उन्होंने प्रस्तुत किया कि इस तरह के फिल्म संवादों के उच्चारण केवल मनोरंजक थे और वह निर्दोष है। वह किसी भी तरह से शिकायतकर्ता द्वारा आरोपित किसी भी अपराध से जुड़ा नहीं है।

    इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, चक्रवर्ती ने हाईकोर्ट के समक्ष सियालदह अदालत में अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष लंबित कार्यवाही को रद्द करने की मांग की है।

    केस का शीर्षक - मिथुन चक्रवर्ती बनाम पश्चिम बंगाल राज्य और अन्य।

    ऑर्डर डाउनलोड करने के लिए यहां क्लिक करें




    Next Story