हिरासत में मौत के मामले में आरोपी आबकारी अधिकारियों का निलंबन वापस लेने पर केरल सरकार को हाईकोर्ट का नोटिस

LiveLaw News Network

25 Sep 2021 9:58 AM GMT

  • केरल हाईकोर्ट

    केरल हाईकोर्ट

    केरल हाईकोर्ट में आबकारी विभाग के कुछ अधिकारियों के निलंबन को वापस लेने के केरल सरकार के आदेश के खिलाफ दायर एक याचिका पर नोटिस जारी किया। अधिकारियों पर हिरासत में मौत का आरोप था। जस्टिस पीवी कुन्हीकृष्णन ने मृतक की पत्नी रंजीत कुमार की याचिका पर नोटिस जारी किया। दो साल पहले आबकारी हिरासत में उसकी मौत हो गई थी।

    याचिका में संबंधित अधिकारियों के खिलाफ दर्ज मामले की सुनवाई पूरी होने से पहले उनके खिलाफ लंबित अनुशासनात्मक कार्यवाही को वापस लेने को चुनौती दी गई है। राज्य ने उक्त मामले में आरोपी सात आबकारी अधिकारियों के पक्ष में आदेश जारी किया था।

    याचिकाकर्ता की ओर से पेश एडवोकेट ज्योतिलक्ष्मी केके ने प्रस्तुत किया कि आबकारी एक्साइज़ इनफोर्समेंट और एंटी नारकोटिक्स स्क्वॉड के इन सात अधिकारियों के खिलाफ सीबीआई ने आरोप पत्र दायर किया था।आबकारी अधिकारियों ने मृतक रंजीत कुमार को एक अक्टूबर 2019 को गुरुवायूर से कथित तौर पर दो किलोग्राम गांजा रखने के आरोप में अवैध हिरासत में ले लिया था।

    आरोप है कि उसे त्रिशूर जिले में एक ताड़ी की दुकान के गोदाम में ले जाया गया, जहां उससे बेरहमी से मारपीट की गई। चार्जशीट के अनुसार, कुमार ने उस शाम दम तोड़ दिया।

    याचिकाकर्ता ने प्रस्तुत किया कि आरोपी, जो आबकारी अधिकारी हैं, एर्नाकुलम में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट कोर्ट के समक्ष अभियोजन का सामना कर रहे थे। इसलिए, सेवा से निलंबन की वापसी और उसी विभाग में उनकी बहाली को अवैध बताया।

    याचिका में आगे कहा गया कि इस तरह की वापसी अभियोजन पक्ष के मामले को प्रतिकूल रूप से प्रभावित करेगी और सबूतों के साथ छेड़छाड़ करके या आरोप‌ियों द्वारा गवाहों को प्रभावित करके न्याय के लक्ष्य को विफल कर देगी। इस मामले में राज्य सरकार को नोटिस जारी किया गया है।

    केस शीर्षक: नेस्सी पी बनाम केरल राज्य

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