बंगाल सरकार ने नई OBC सूची अधिसूचना पर हाईकोर्ट की रोक को सुप्रीम कोर्ट में दी चुनौती
Shahadat
24 July 2025 11:04 AM IST

पश्चिम बंगाल राज्य ने अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) की नई सूची पर रोक लगाने के कलकत्ता हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी।
राज्य की ओर से सीनियर एडवोकेट कपिल सिब्बल ने चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) बीआर गवई के समक्ष इस मामले को तत्काल सूचीबद्ध करने का अनुरोध किया, जिस पर चीफ जस्टिस ने इसे अगले सोमवार को सूचीबद्ध करने पर सहमति व्यक्त की।
सिब्बल ने कहा,
"नई सूची को चुनौती देते हुए एक रिट याचिका दायर की गई, जिसमें कहा गया कि हमें कानून बनाना होगा, जो सभी फैसलों के विपरीत है।"
चीफ जस्टिस गवई ने कहा कि इंदिरा साहनी मामले से ही यह माना जाता रहा है कि कार्यपालिका OBC की पहचान कर सकती है।
चीफ जस्टिस ने कहा,
"इंदिरा साहनी (फैसले) से ही स्थिति यह है कि कार्यपालिका... कर सकती है।"
सिब्बल ने आगे कहा कि हाईकोर्ट में अवमानना याचिका दायर की है और अवमानना कार्यवाही पर रोक लगाने का अनुरोध किया गया।
चीफ जस्टिस ने कहा, मामले को सूचीबद्ध होने दीजिए।
बता दें, यह चुनौती हाईकोर्ट द्वारा 17 जून को नई OBC सूची पर रोक लगाने के आदेश को लेकर है। राज्य ने यह नई सूची मई 2024 में कलकत्ता हाईकोर्ट द्वारा OBC सूची में 77 समुदायों को शामिल करने का फैसला रद्द करने के बाद तैयार की थी। हालांकि, राज्य ने उस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी लेकिन बाद में राज्य ने न्यायालय को बताया कि राज्य आयोग OBC की पहचान के लिए नए सिरे से काम करेगा।
नई सूची पर रोक लगाते हुए हाईकोर्ट ने प्रथम दृष्टया यह पाया कि राज्य उन्हीं OBC वर्गों को फिर से शामिल करने का प्रयास कर रहा है, जिन्हें पहले रद्द कर दिया गया था।

