जिला जजों की रिटायरमेंट आयु 61 वर्ष करने की मांग पर सुप्रीम कोर्ट ने मध्य प्रदेश हाईकोर्ट और सरकार से जवाब मांगा

Update: 2025-10-27 17:51 GMT

सुप्रीम कोर्ट ने मध्य प्रदेश हाईकोर्ट और राज्य सरकार से यह स्पष्ट करने को कहा है कि न्यायिक अधिकारियों की सेवानिवृत्ति आयु 60 से 61 वर्ष करने से क्यों इनकार किया गया।

चीफ़ जस्टिस बी.आर. गवई और जस्टिस के. विनोद चंद्रन की खंडपीठ मध्य प्रदेश जजेज एसोसिएशन की याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें हाईकोर्ट के उस प्रशासनिक आदेश को चुनौती दी गई है जिसमें सेवानिवृत्ति आयु बढ़ाने से मना किया गया था।

एसोसिएशन ने कहा कि यह सुप्रीम कोर्ट के 26 मई के आदेश का उल्लंघन है, जिसमें अदालत ने स्पष्ट किया था कि जिला न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति आयु 61 वर्ष करने में कोई बाधा नहीं है और हाईकोर्ट को तीन महीने में निर्णय लेने का निर्देश दिया था।

याचिका के अनुसार, निर्णय की प्रति नहीं दी गई और केवल मौखिक रूप से बताया गया कि मांग को “फिलहाल आवश्यकता नहीं” कहकर अस्वीकार कर दिया गया। एसोसिएशन ने इसे न्यायिक अधिकारियों के साथ “सौतेला व्यवहार” बताया।

वरिष्ठ अधिवक्ता अजीत एस. भस्मे ने कहा कि वे सिर्फ 61 वर्ष तक आयुवृद्धि चाहते हैं, 62 वर्ष नहीं — जैसा तेलंगाना के न्यायाधीशों को मिला था।

इन परिस्थितियों में सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी कर राज्य और हाईकोर्ट से जवाब मांगा। अब मामला दो सप्ताह बाद सुना जाएगा।

Tags:    

Similar News