TMC MLA माणिक भट्टाचार्य ने जमानत की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट से याचिका वापस ली, नए सिरे से हाईकोर्ट जाने की छूट मिली

Shahadat

11 May 2024 5:17 AM GMT

  • TMC MLA माणिक भट्टाचार्य ने जमानत की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट से याचिका वापस ली, नए सिरे से हाईकोर्ट जाने की छूट मिली

    सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (10 मई) को TMC MLA माणिक भट्टाचार्य को कैश फॉर जॉब घोटाले से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग में कलकत्ता हाईकोर्ट द्वारा जमानत की अस्वीकृति को चुनौती देने वाली अपनी याचिका वापस लेने की छूट दी। न्यायालय ने भट्टाचार्य को हाईकोर्ट के समक्ष किसी भी अतिरिक्त दस्तावेज के साथ नई याचिका दायर करने की अनुमति दी और हाईकोर्ट से मामले पर नए सिरे से और शीघ्रता से विचार करने को कहा है।

    जस्टिस बेला एम त्रिवेदी और जस्टिस पंकज मित्तल की खंडपीठ ने अपील वापस लेने की अनुमति देते हुए निम्नलिखित आदेश पारित किया,

    याचिकाकर्ता के वकील द्वारा हाईकोर्ट द्वारा आक्षेपित आदेश पारित करने के बाद अतिरिक्त दस्तावेज और तथ्य पेश करने की मांग करते हुए आवेदन दायर करने की मांग की गई। हाईकोर्ट याचिकाकर्ताओं द्वारा दायर याचिका पर गुण-दोष के आधार पर और यथासंभव शीघ्रता से विचार कर सकता है। हाईकोर्ट इस मामले पर नए सिरे से और कानून के मुताबिक विचार कर सकता है।

    यह आदेश याचिकाकर्ता द्वारा रिकॉर्ड पर अतिरिक्त दस्तावेज़ रखने के अनुरोध के परिणामस्वरूप आया। इस पर आपत्ति जताते हुए जस्टिस त्रिवेदी ने कहा कि प्रक्रियात्मक तौर पर सुप्रीम कोर्ट के समक्ष किसी भी नए दस्तावेज़ पर भरोसा नहीं किया जा सकता, अगर वे पिछले हाई कोर्ट के रिकॉर्ड का हिस्सा न हों।

    उन्होंने कहा,

    "हम आपको उन दस्तावेज़ों को प्रस्तुत करने की अनुमति नहीं दे रहे हैं, जो हाईकोर्ट का हिस्सा नहीं थे... मिस्टर लूथरा ये दस्तावेज़ हाईकोर्ट के समक्ष प्रस्तुत नहीं किए गए? तो आप हाईकोर्ट में वापस जाएं, इन दस्तावेज़ों को प्रस्तुत करें।"

    आरोपी की ओर से पेश सीनियर एडवोकेट सिद्धार्थ लूथरा ने दलील दी कि हाईकोर्ट ने अतिरिक्त दस्तावेजों पर विचार किए बिना जमानत से इनकार करने का आदेश पारित कर दिया था, जिसे वह वर्तमान में रिकॉर्ड पर रखना चाहता है। पीठ द्वारा की गई उपरोक्त टिप्पणी से सहमत होते हुए लूथरा ने अनुरोध किया कि हाईकोर्ट को जमानत पर शीघ्रता से निर्णय लेने के लिए कहा जाए।

    एडवोकेट लूथरा ने कहा,

    "केवल एक अनुरोध है, मैं इन रिकॉर्डों के साथ हाईकोर्ट का रुख करूंगा। एकमात्र अनुरोध यह है कि हाईकोर्ट इस पर शीघ्रता से विचार कर सकता है।"

    प्रवर्तन निदेशालय (ED) की ओर से पेश एडिशनल सॉलिसिटर जनरल एस राजू ने वापसी के मुद्दे पर कोई आपत्ति नहीं जताई।

    केस टाइटल: माणिक भट्टाचार्य बनाम प्रवर्तन निदेशालय एसएलपी (सीआरएल) नंबर 016087 - / 2023

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