फ़ैक्ट्री/प्लांट के भीतर चलने वाले वाहनों पर मोटर व्हीकल टैक्स नहीं लगेगा : सुप्रीम कोर्ट

Amir Ahmad

30 Aug 2025 1:35 PM IST

  • फ़ैक्ट्री/प्लांट के भीतर चलने वाले वाहनों पर मोटर व्हीकल टैक्स नहीं लगेगा : सुप्रीम कोर्ट

    सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को अहम फ़ैसला सुनाते हुए कहा कि फ़ैक्ट्री या प्लांट के बंद और सुरक्षित परिसरों के भीतर चलने वाले वाहनों पर मोटर व्हीकल टैक्स नहीं लगेगा, क्योंकि ऐसे क्षेत्र पब्लिक प्लेस की परिभाषा में नहीं आते।

    जस्टिस मनोज मिश्रा और जस्टिस उज्जल भूयान की बेंच ने कहा,

    “मोटर व्हीकल टैक्स मुआवज़े की प्रकृति का होता है। इसका सीधा संबंध सार्वजनिक बुनियादी ढांचे जैसे सड़क और हाईवे के इस्तेमाल से है। जो वाहन सार्वजनिक सड़कों पर नहीं चलते और केवल बंद परिसरों में उपयोग होते हैं, उनसे टैक्स वसूली का सवाल ही नहीं उठता।”

    यह मामला आंध्र प्रदेश मोटर व्हीकल टैक्सेशन एक्ट, 1963 से जुड़ा है। दरअसल, विशाखापट्टनम स्टील प्लांट (RINL) के भीतर लॉजिस्टिक काम के लिए 36 गाड़ियां लगाई गईं, जो केवल प्लांट के भीतर ही चलती हैं।

    CISF सुरक्षा घेरे में होने के कारण इन वाहनों का सार्वजनिक सड़कों से कोई वास्ता नहीं है। इसके बावजूद राज्य परिवहन विभाग ने 22 लाख से अधिक का मोटर टैक्स वसूला। हाईकोर्ट ने भी इस वसूली को सही ठहराया, जिसके ख़िलाफ़ कंपनी ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया।

    सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के फ़ैसले को पलटते हुए साफ़ कहा,

    “RINL का परिसर सुरक्षा घेरे में बंद क्षेत्र है। वहां सार्वजनिक आवागमन का अधिकार नहीं है। ऐसे में वहां चलने वाले वाहन 'पब्लिक प्लेस' में नहीं माने जा सकते। इसलिए उन पर मोटर व्हीकल टैक्स नहीं लगाया जा सकता।”

    कोर्ट ने आगे यह भी स्पष्ट किया कि अगर वाहन केवल ऐसे बंद परिसरों तक सीमित हैं तो Rule 12A के तहत 'नॉन-यूज़' की सूचना न देने पर भी टैक्स वसूलना क़ानूनन जायज़ नहीं है।

    इस तरह, सुप्रीम कोर्ट ने कंपनी की अपील स्वीकार की और राज्य सरकार की टैक्स वसूली को ग़ैरक़ानूनी ठहराया।

    केस टाइटल : Tarachand Logistic Solutions Ltd बनाम State of Andhra Pradesh & Ors

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