राजस्थान हाईकोर्ट ने सड़क दुर्घटनाओं में बढ़ती मौतों पर स्वतः संज्ञान लिया, केंद्र और राज्य सरकारों से जन सुरक्षा उपायों पर जवाब मांगा
Shahadat
6 Nov 2025 11:21 AM IST

राजस्थान हाईकोर्ट ने राज्य में सड़क दुर्घटनाओं में बढ़ती मौतों को उजागर करने वाली मीडिया रिपोर्टों पर स्वतः संज्ञान लिया और केंद्र तथा राज्य के विभागों को सड़क और जन सुरक्षा उपायों में सुधार के उपायों सहित अपने रुख का विवरण देते हुए जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया।
कोर्ट ने कहा,
"यह कोर्ट राजस्थान की सड़कों पर बार-बार हो रही मानव मृत्यु पर अत्यंत चिंतित है... इन घातक दुर्घटनाओं की बढ़ती संख्या के मद्देनजर तत्काल और समन्वित संस्थागत प्रतिक्रिया की आवश्यकता है। कोर्ट मूकदर्शक बना नहीं रह सकता... राज्य प्राधिकरण और भारत संघ भी सड़क और जन सुरक्षा मामलों में सुधार के लिए अपने रुख पर अपना जवाब दाखिल करें।"
पिछले 2 हफ्तों में सड़क दुर्घटनाओं में लगभग 100 मौतों को उजागर करने वाली दैनिक स्थानीय समाचार रिपोर्टों का हवाला देते हुए जस्टिस पुष्पेंद्र सिंह भाटी और जस्टिस अनुरूप सिंघी की खंडपीठ ने कहा कि ऐसी दुखद घटनाओं के प्रति समाज के एक वर्ग की बढ़ती असंवेदनशीलता नियामक अधिकारियों की कार्यप्रणाली में भी व्याप्त हो गई।
खंडपीठ ने कहा,
"मृत्यु अवश्यंभावी है, लेकिन असामयिक मृत्यु से होने वाला दुख न केवल परिवार के लिए एक अपूरणीय क्षति है, बल्कि राष्ट्र की सामूहिक शक्ति का भी प्रत्यक्ष ह्रास है... यह गंभीर चिंता का विषय है कि जबकि राष्ट्र अपने मानव संसाधन को अत्यधिक महत्व देता है, सार्वजनिक और सड़क सुरक्षा के संबंध में नागरिकों में व्यापक उदासीनता और लापरवाही सामाजिक पीड़ा को बढ़ा रही है... एक व्यापक प्रणालीगत मुद्दा जिस पर न्यायिक ध्यान और दिशा की आवश्यकता है।"
इस पृष्ठभूमि में कोर्ट ने केंद्र; चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग और राजस्व विभाग; लोक निर्माण विभाग और स्थानीय निकाय; गृह और परिवहन विभाग और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण से इस तरह की असामयिक मौतों से होने वाली पीड़ा और दुख को कम करने के लिए बेहतर नियमन और तंत्र हेतु उठाए गए कदमों पर चर्चा की जाएगी।
उत्तरों में सड़क सुरक्षा और जन सुरक्षा से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर विभागों का रुख भी शामिल होगा, जिसमें इन्हें बेहतर बनाने के उपाय भी शामिल होंगे।
तदनुसार, पिछले 2 सप्ताह में अपनी जान गंवाने वाले लगभग 100 लोगों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए मामले को 13 नवंबर के लिए सूचीबद्ध किया गया।
Title: In RE: In the matter of tackling the issue of 'Road and Public Safety'

