COVID 19 के दौरान स्कूल फीस] उड़ीसा हाईकोर्ट ने निजी स्कूलों और अभिभावकों के बीच मध्यस्थता का निर्देश दिया
LiveLaw News Network
9 Sept 2020 1:41 PM IST
निजी शिक्षण संस्थानों द्वारा शुल्क वसूलने के मामले में, उड़ीसा हाईकोर्ट ने हाल ही में राज्य के विद्यालय व जन शिक्षा विभाग को आदेश दिया कि वह मुद्दे के सौहार्दपूर्ण निस्तारण के लिए सभी हितधारकों के बीच बैठक आयोजित करें।
डिवीजन बेंच में शामिल चीफ जस्टिस मोहम्मद रफीक और जस्टिस केआर महापात्र ने राज्य सरकार को निजी गैर-सहायता प्राप्त और सहायता प्राप्त शैक्षणिक संस्थानों के प्रतिनिधियों, माता-पिता और शिक्षक संघ के प्रतिनिधियों की एक बैठक बुलाने के लिए कहा है।
न्यायालय ने आदेश दिया है कि इस प्रयोजन के लिए, ओडिशा पब्लिक स्कूलों के परिसंघ के पांच प्रतिनिधि, माता-पिता के पांच प्रतिनिधि, और शिक्षकों के पांच प्रतिनिधि (ओडिशा निजी स्कूल शिक्षक संघ द्वारा नामित) विचार-विमर्श में भाग लेंगे।
बैठक का उद्देश्य हितधारकों को एक मंच प्रदान करना है, जिसमें माता-पिता की लंबे समय से चली आ रही मांगों पर चर्चा हो, विशेष रूप से कुछ प्रमुखों मुद्दों जैसे कि COVID-19 के कारण जारी लॉकडाउन में विकास, वर्दी, वाहन, इत्यादि मदों में शुल्क में छूट प्रदान की जाए।
आदेश में कहा गया है-
"सचिव, विद्यालय व जन शिक्षा विभाग प्रस्तावित बैठक में प्रयास करें कि क्या निजी शिक्षण संस्थानों को छात्रों द्वारा देय फीस के एक हिस्से की माफी के लिए राजी किया जा सकता है या शेष भाग को स्थगित कर, फीस का एक हिस्सा स्वीकार किया जा सकता है या महामारी COVID-19 के मद्देनजर किसी अन्य प्रकार की शर्तों पर सभी पक्षों के बीच आम सहमति बन सकती है, और यह भी जांच कर सकती है कि किसी निजी शिक्षण संस्थान द्वारा अनुचित और अत्यधिक फीस की मांग अनुचित मदों जैसे कि विकास शुल्क, वर्दी शुल्क, वाहन शुल्क या इसी प्रकृति के अन्य शुल्क की जा रही है या नहीं?
मामले में 14 सितंबर तक विचार-विमर्श की एक रिपोर्ट अदालत के सामने पेश करने का आदेश दिया गया है।