बालिग महिला अपनी इच्छा से कहीं भी और किसी के भी साथ रहने के लिए स्वच्छंद है : दिल्ली हाईकोर्ट ने माता-पिता को यह परामर्श देने का पुलिस को निर्देश दिया
LiveLaw News Network
25 Nov 2020 3:03 PM IST
दिल्ली हाईकोर्ट ने अपनी मर्जी के व्यक्ति से शादी करने के लिए घर छोड़ने वाली बालिग महिला को राहत प्रदान की है। उस महिला की सहमति और इच्छा पर विचार करने के बाद, हाईकोर्ट ने कहा कि वह (महिला) अपनी इच्छा के अनुसार कहीं भी और किसी के भी साथ रहने के लिए स्वच्छंद है।
हाईकोर्ट का यह आदेश संबंधित महिला के परिजनों की ओर से दायर उस बंदी प्रत्यक्षीकरण (हैबियस कॉर्पस) याचिका पर आया है, जिसमें परिजनों ने महिला को कोर्ट के समक्ष पेश करने की गुहार लगायी थी। याचिका के अनुसार, वह महिला 12 सितम्बर 2020 को लापता हो गयी थी। उस महिला के अपने माता पिता के घर से लापता होने के पीछे बबलू नामक एक व्यक्ति को संदिग्ध के तौर पर पहचान की गयी थी।
इस महिला को ढूंढ निकाला गया था और उसे वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये कोर्ट के समक्ष पेश किया गया था। कोर्ट ने इस बात का संज्ञान लिया कि महिला ने आपराधिक प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 164 के तहत दर्ज अपने बयान में स्पष्ट तौर पर कहा था कि वह बबलू के साथ अपनी इच्छा एवं सहमति से गयी थी और उसने उससे शादी भी कर ली है।
इन टिप्पणियों के आलोक में, कोर्ट ने संबंधित महिला को अपने पति बबलू के साथ रहने का निर्देश दिया।
कोर्ट ने आगे निर्देश दिया कि :
"हम पुलिस अधिकारियों को निर्देश देते हैं कि वे उस महिला के साथ बबलू के घर तक जायें। पुलिस अधिकारी याचिकाकर्ता एवं सुलेखा के माता-पिता को यह समझाएं कि वे कानून अपने हाथ में न लें या महिला अथवा बबलू को धमकी न दें। सुलेखा अपने पति बबलू के साथ जहां कहीं रहती है उस इलाके के पुलिस स्टेशन के बीट कांस्टेबल का मोबाइल नंबर दोनों –सुलेखा और बबलू- को उपलब्ध कराया जाये, ताकि जरूरत के समय वे दोनों पुलिस अधिकारियों के सम्पर्क में रह सकें।"
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