सुप्रीम कोर्ट ने मणिपुर में न्यायेतर हत्याओं की जांच के लिए गठित SIT प्रभारी के रूप में दातला श्रीनिवास वर्मा को कार्यमुक्त किया
Shahadat
5 Feb 2025 9:50 AM IST

सुप्रीम कोर्ट ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) की याचिका स्वीकार की, जिसमें मणिपुर में न्यायेतर हत्याओं की जांच के लिए गठित SIT के प्रमुख के रूप में दातला श्रीनिवास वर्मा को कार्यमुक्त करने की मांग की गई थी।
चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) संजीव खन्ना, जस्टिस संजय कुमार और जस्टिस केवी विश्वनाथन की पीठ मणिपुर में सशस्त्र बलों द्वारा कथित न्यायेतर हत्याओं के मुद्दे पर सुनवाई कर रही थी।
पीठ ने CBI द्वारा दायर उस आवेदन को स्वीकार किया, जिसमें कथित अवैध हत्याओं की जांच के लिए गठित SIT के प्रभारी के रूप में संयुक्त निदेशक और एचओजेड, एनई जोन, दातला श्रीनिवास वर्मा को कार्यमुक्त करने की मांग की गई थी।
CBI की ओर से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल ऐश्वर्या भाटी पेश हुईं, जबकि सीनियर एडवोकेट मेनका गुरुस्वामी मामले में न्यायमित्र के रूप में पेश हुईं।
2022 में न्यायालय ने भारत संघ से स्थिति रिपोर्ट दाखिल करने को कहा। जुलाई 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने CBI को विशेष जांच दल गठित करने और मणिपुर में कथित न्यायेतर हत्याओं की जांच करने का निर्देश दिया था।
जस्टिस मदन बी लोकुर और जस्टिस दीपक गुप्ता की खंडपीठ ने यह निर्देश जारी किया था। जुलाई 2018 में जस्टिस एम.बी. लोकुर और जस्टिस यू.यू. ललित की खंडपीठ ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) के निदेशक को उसके समक्ष उपस्थित होने का निर्देश दिया था, क्योंकि पीठ ने पाया था कि मणिपुर में कथित न्यायेतर मुठभेड़ हत्याओं की जांच में "अत्यधिक लंबा समय" लग रहा है।
केस टाइटल: न्यायेतर निष्पादन पीड़ित और अन्य बनाम भारत संघ और अन्य | डब्ल्यू.पी. (सीआरएल.) नंबर 000129/2012