सुप्रीम कोर्ट में फिलहाल वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सुनवाई जारी रहेगी, दो सप्ताह बाद स्थिति की समीक्षा की जाएगी
सुप्रीम कोर्ट में अभी शारीरिक रूप से उपस्थिति में सुनवाई (physical hearing) बहाल नहीं हुई है क्योंकि इस मुद्दे पर विचार करने के लिए गठित न्यायाधीशों की समिति ने 24 जुलाई को संक्रमण के जोखिम को कम करने के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से सुप्रीम कोर्ट में का कामकाज जारी रखने का निर्णय लिया है। ।
इस मुद्दे से संबंधित सूत्रों ने लाइव वॉ को बताया कि यह निर्णय मेडिकल एडवाइस के मद्देनजर और वकीलों, वादकारियों, रजिस्ट्री कर्मचारियों और न्यायाधीशों की सुरक्षा और कल्याण को देखते हुए लिया गया है।
7-न्यायाधीशों की समिति ने चिकित्सा सलाह के मद्देनजर दो सप्ताह के बाद स्थिति की समीक्षा करने का निर्णय लिया है।
जस्टिस एनवी रमना की अध्यक्षता वाली समिति ने 24 जुलाई को शाम 4.30 बजे, सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष दुष्यंत दवे, सुप्रीम कोर्ट एडवोकेट्स ऑन रिकॉर्ड एसोसिएशन के अध्यक्ष शिवाजी एम जाधव और बार काउंसिल ऑफ इंडिया के अध्यक्ष मनन कुमार मिश्रा के साथ बातचीत की थी।
न्यायाधीशों ने व्यक्त किया कि वे वकीलों की कठिनाइयों के बारे में पूरी तरह से जागरूक और गहराई से चिंतित हैं और धीरे-धीरे शारीरिक रूप से कामकाज की सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए उत्सुक हैं। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि इस संबंध में निर्णय चिकित्सा सलाह के आधार पर स्थिति का समग्र मूल्यांकन कर के लिया जाना है और वकीलों, न्यायाधीशों, वादियों और अदालत के कर्मचारियों की सुरक्षा और स्वास्थ्य को भी ध्यान में रखना है।
समिति ने आश्वासन दिया है कि कोर्ट में मामलों की भौतिक सुनवाई की क्रमिक बहाली और सुप्रीम के परिसर में सामान्य स्थिति की बहाली के लिए समय और तौर-तरीकों के संबंध में सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन, SCAORA और बार काउंसिल ऑफ इंडिया के इनपुट और सुझावों को विधिवत रूप से ध्यान में रखा जाएगा।
इस बीच, समिति ने बार के प्रतिनिधियों को ई-फाइलिंग और वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से संबंधित वकीलों को पेश आ रही कठिनाइयों के संबंध में उपचारात्मक उपायों के लिए सेक्रेटरी जनरल और संबंधित रजिस्ट्रार से मिलने के लिए कहा है।
इसके अलावा, समिति ने उन मामलों की श्रेणियों पर SCBA और SCAORA से सुझाव मांगे हैं, जो शारीरिक रूप से कामकाज फिर से शुरू होने पर उठाए जा सकते हैं।