SC ने अतीक अहमद को बरेली से गुजरात जेल में ट्रांसफर करने का आदेश दिया, कारोबारी से मारपीट का मामला CBI को सौंपा

Update: 2019-04-24 09:06 GMT

सुप्रीम कोर्ट ने एक कड़ा कदम उठाते हुए 109 आपराधिक मामलों में मुकदमे का सामना कर रहे पूर्व सासंद अतीक अहमद को उत्तर प्रदेश की बरेली जेल से गुजरात की जेल में ट्रांसफर कर दिया। वहां से अतीक वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से ट्रायल में हिस्सा लेंगे।

हर 3 महीने में जांच रिपोर्ट अदालत में करनी होगी प्रस्तुत
मंगलवार को सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की पीठ ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को देवरिया जेल की घटना की जांच सौंप दी और हर 3 महीने में जांच रिपोर्ट अदालत में प्रस्तुत करने का आदेश दिया। न्यायालय का ये आदेश अमिक्स क्यूरी और वरिष्ठ वकील विजय हंसारिया द्वारा तैयार एक रिपोर्ट के आधार पर आया।

अतीक अहमद के खिलाफ अन्य मामलों के बारे में अदालत ने की पूछताछ
हंसारिया ने 109 मामलों में से एक और परेशान करने वाला पहलू उठाया है, जिसमें केवल 26 को राज्य द्वारा सांसदों/विधायकों के खिलाफ मामलों की सुनवाई के लिए गठित विशेष न्यायालयों को भेजा गया था। CJI रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने राज्य को लंबित 80 मामलों में भी मुकदमे की स्थिति प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। पीठ ने हंसारिया की उस बात पर भी सहमति जताई कि देवरिया जेल के उन अफसरों को निलंबित किया जाए जिन्होंने अतीक का साथ दिया था।

जेल में कारोबारी को बुलाकर किया प्रताड़ित

इससे पहले उत्तर प्रदेश की देवरिया जेल में बंद पूर्व सासंद अतीक अहमद द्वारा एक कारोबारी को अपहृत कर जेल में लाने और संपत्ति ट्रांसफर करने के मामले में राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में रिपोर्ट दाखिल कर माना था कि कारोबारी को जेल में बुलाकर प्रताड़ित किया गया था।

सीसीटीवी कैमरों से की गई छेड़छाड़

सरकार ने अपने जवाब में यह भी कहा है कि प्रोपर्टी डीलर मोहित जायसवाल को जब जेल में लेकर आया गया तब जेल के सीसीटीवी कैमरों से छेड़छाड़ की गई थी। जेल में अतीक अहमद के साथ-साथ उनके साथियों को सुविधा दी गई थी।

जेल अफसरों एवं सुरक्षकर्मियों के खिलाफ जांच शुरू

सरकार ने रिपोर्ट में बताया है कि इस संबंध में जेल अधीक्षक समेत 4 अफसरों के खिलाफ विभागीय जांच शुरू की गई है जबकि निचले स्तर के 3 सुरक्षाकर्मियों को निलंबित किया गया है। इस घटना के बाद अतीक को देवरिया से बरेली जेल भेज दिया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक इस मामले में पुलिस ने केस दर्ज किया है लेकिन अभी तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है।

अतीक अहमद के खिलाफ लंबित मामले

यूपी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को यह भी जानकारी दी है कि अतीक अहमद के खिलाफ़ वर्ष 1979 से 2019 तक 109 आपराधिक केस लंबित हैं। इनमें 17 केस हत्या के हैं। अतीक अहमद के खिलाफ 8 केस वर्ष 2015 से 2019 में दर्ज किए गए जिनमे अभी जांच चल रही है। इन केसों में 2 केस हत्या के हैं। अतीक अहमद वर्ष 1989 से 2004 तक विधायक और वर्ष 2004 से 2009 तक सांसद रह चुके हैं।

गौरतलब है कि बीते 8 जनवरी को इस जानकारी को सुप्रीम कोर्ट ने गंभीरता से लिया था। जस्टिस एल. नागेश्वर राव और जस्टिस एस. के कौल की पीठ ने राज्य सरकार से दो हफ्ते में रिपोर्ट मांगी थी।

एमिक्स क्यूरी विजय हंसारिया ने दी थी इस घटना की जानकारी

दरअसल पूर्व व वर्तमान विधायकों/सासंदों के खिलाफ लंबित आपराधिक मामलों से निपटने के लिए स्पेशल कोर्ट के गठन की सुनवाई में एमिक्स क्यूरी विजय हंसारिया ने पीठ को इस घटना की जानकारी दी थी। उन्होंने पीठ को बताया था कि अतीक अहमद पर 22 आपराधिक मामले लंबित हैं और 28 दिसंबर 2018 को उन्होंने कारोबारी को अगवा कर जेल में लाने जैसा अपराध किया है। इस पर पीठ ने नाराजगी जताते हुए यूपी सरकार से इस पर 2 हफ्ते में रिपोर्ट दाखिल करने को कहा था।

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