इंदौर के स्कूल में नाबालिग लड़कियों के साथ कथित दुर्व्यवहार: हाईकोर्ट ने गंभीर आरोपों को चिन्हित किया, राज्य से कार्रवाई रिपोर्ट मांगी
Amir Ahmad
10 Aug 2024 2:20 PM IST
इंदौर के सरकारी स्कूल में नाबालिग लड़कियों के साथ गंभीर दुर्व्यवहार के आरोपों से जुड़े हालिया मामले में मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को नोटिस जारी किया, जिसमें शिकायत दर्ज होने और प्रवेश तथा अंतरिम राहत के सवाल पर सुनवाई के बाद की गई कार्रवाई पर तत्काल रिपोर्ट मांगी गई।
यह मामला ऐसी घटना के इर्द-गिर्द केंद्रित है, जिसमें शिक्षक ने कथित तौर पर नाबालिग लड़कियों को मोबाइल फोन की तलाश में अपने कपड़े उतारने के लिए मजबूर किया, जिससे लोगों में आक्रोश फैल गया और कानूनी जांच शुरू हो गई।
इंदौर के सरकारी गर्ल्स हायर सेकेंडरी स्कूल में हुई यह घटना सामाजिक कार्यकर्ता चिन्मय मिश्रा द्वारा दायर जनहित याचिका (PIL) के बाद सामने आई।
मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर पीठ के समक्ष प्रस्तुत जनहित याचिका में जस्टिस सुश्रुत अरविंद धर्माधिकारी और जस्टिस दुप्पल वेंकटरमण की पीठ ने आरोप लगाया कि स्थिति की गंभीरता के बावजूद यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण अधिनियम (POCSO Act) के प्रावधानों को अधिकारियों द्वारा ठीक से लागू नहीं किया गया।
सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के वकील अभिनव धनोदकर ने आरोपों की गंभीर प्रकृति के बावजूद POCSO Act को लागू करने में अधिकारियों की विफलता पर प्रकाश डाला।
याचिका के अनुसार, पीड़ित स्टूडेंट्स के परिवारों द्वारा 2 अगस्त को शिकायत दर्ज किए जाने के बावजूद पुलिस ने POCSO Act के तहत उचित कार्रवाई नहीं की।
यह घटना कथित तौर पर इंदौर के एक सरकारी गर्ल्स हायर सेकेंडरी स्कूल में हुई, जहां शिक्षिका ने कथित तौर पर कक्षा के दौरान बजने वाले मोबाइल फोन की तलाशी के बहाने पांच छात्राओं को शौचालय में ले गई। शिकायत में आगे आरोप लगाया गया कि शिक्षक ने न केवल लड़कियों को अपने कपड़े उतारने के लिए मजबूर किया, बल्कि तलाशी के दौरान उनके साथ शारीरिक रूप से मारपीट भी की।
पीठ ने आरोपों को गंभीर बताया और राज्य को एक सप्ताह के भीतर विस्तृत रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया, जिसमें शिकायत दर्ज होने के बाद की गई कार्रवाई का विवरण हो।
न्यायालय ने अगली सुनवाई के लिए 17 अगस्त, 2024 की तारीख तय की।
केस टाइटल- (चिन्मय मिश्रा बनाम मध्य प्रदेश राज्य और अन्य)