दिल्ली हाईकोर्ट ने डोमेन नामों को बर्गर किंग के ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने और फर्जी फ्रेंचाइजी चलाने से प्रतिबंधित करने वाला जॉन डो आदेश पारित किया
Amir Ahmad
28 Feb 2025 6:54 AM

दिल्ली हाईकोर्ट ने फास्ट फूड चेन बर्गर किंग कॉरपोरेशन के पक्ष में अस्थायी निषेधाज्ञा दी है और उसके बर्गर किंग ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने वाले डोमेन नामों/वेबसाइटों को निलंबित करने का निर्देश दिया।
बर्गर किंग कॉरपोरेशन (वादी) ने अपने ट्रेडमार्क का उपयोग करके फर्जी फ्रेंचाइजी/डीलरशिप वेबसाइट चलाने के लिए अज्ञात प्रतिवादियों के खिलाफ निषेधाज्ञा मांगी है।
आरोप है कि डोमेन नामों के संचालक मासूम और भोले-भाले उपभोक्ताओं और ग्राहकों से पैसे वसूल रहे हैं। बर्गर किंग ने प्रस्तुत किया कि अज्ञात प्रतिवादियों ने डोमेन नामों का पंजीकरण प्राप्त किया, जो 'बर्गर किंग', 'इंडिया', 'फ्रैंचाइज़' या 'फ्रैंचाइज़' शब्दों का एक रूपांतर है।
आरोपित डोमेन नाम bkfranchise.in, burgerkingfranchise.net, burgerkingindia.co, bkpartner.in और www-burgerking.com हैं।
यह कहा गया है कि प्रतिवादी बर्गर किंग ट्रेडमार्क को शामिल करते हुए भ्रामक डोमेन नाम पंजीकृत करने और फर्जी वेबसाइट चलाने तथा आम जनता को बर्गर किंग फ्रैंचाइज़ अवसरों के लिए आवेदन करने के लिए आमंत्रित करने में लगे हुए हैं।
यह कहा गया कि फ्रैंचाइज़ आवेदन प्राप्त करने पर प्रतिवादी ने एशिया-प्रशांत क्षेत्र में बर्गर किंग के मास्टर फ्रैंचाइज़ी के प्रतिनिधि होने का दिखावा करते हुए बेखबर पीड़ितों को ईमेल भेजे।
उन्होंने अनुमोदन पत्र आशय पत्र और चालान सहित विभिन्न जाली दस्तावेज़ प्रसारित किए जिन पर बर्गर किंग के ट्रेडमार्क प्रमुखता से अंकित थे।
जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह ने उल्लेख किया कि न्यायालय ने मुकदमे के संबंध में पिछले आदेशों में विभिन्न अवैध डोमेन नामों के विरुद्ध निषेधाज्ञा जारी की थी।
10 मई 2022 को न्यायालय ने कई प्रतिवादियों को विज्ञापन देने, कोई भी सामान या सेवा देने, कॉर्पोरेट नाम, डोमेन नाम या पेज का उपयोग करने या पंजीकृत करने से रोक दिया, जिसमें बर्गर किंग, बीके या बर्गर किंग के ट्रेडमार्क के समान कोई भी चिह्न हो।
इस प्रकार न्यायालय ने डोमेन नाम रजिस्ट्रार, GoDaddy.com LLC और OVI होस्टिंग प्राइवेट लिमिटेड द्वारा विवादित डोमेन नाम और ईमेल पते को निलंबित करने का निर्देश दिया।
उन्होंने संचार मंत्रालय और इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय को विवादित वेबसाइटों को ब्लॉक करने के लिए इंटरनेट सेवा प्रदाताओं (ISP) को निर्देश जारी करने का निर्देश दिया।
न्यायालय ने भारती एयरटेल लिमिटेड को सेल आईडी को ब्लॉक करने और प्रतिवादियों के नाम, पता, फोन नंबर, ईमेल पते, बिलिंग और भुगतान विवरण और केवाईसी दस्तावेजों का विवरण प्रदान करने का भी निर्देश दिया।
केस टाइटल: बर्गर किंग कॉर्पोरेशन बनाम स्वप्निल पाटिल और अन्य (सीएस (कॉम) 303/2022)