राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने 'न्यायपालिका में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार' वाली टिप्पणी पर अवमानना ​​मामले में बिना शर्त माफी मांगी

Sharafat

4 Oct 2023 6:12 AM GMT

  • राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने न्यायपालिका में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार वाली टिप्पणी पर अवमानना ​​मामले में बिना शर्त माफी मांगी

    राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने न्यायपालिका के भीतर कथित भ्रष्टाचार पर अपनी टिप्पणी के लिए उनके खिलाफ अवमानना ​​कार्यवाही की मांग करने वाली एक जनहित याचिका के जवाब में मंगलवार को राजस्थान हाईकोर्ट में बिना शर्त माफी मांगी।

    गहलोत ने अपने लिखित निवेदन में स्पष्ट किया कि न्यायपालिका में भ्रष्टाचार पर चिंता व्यक्त करने वाली उनकी टिप्पणियों को एक प्रकाशन द्वारा विकृत और गलत समझा गया था। सीएम ने अपनी कानून की डिग्री का हवाला दिया और इस बात पर जोर दिया कि उन्होंने न्यायपालिका के भीतर कभी भी किसी भ्रष्टाचार का सामना नहीं किया है। उन्होंने बताया कि सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट के कई न्यायाधीशों ने हाल के वर्षों में इसी तरह की चिंता व्यक्त की है।

    गहलोत ने अदालत से उनकी माफी स्वीकार करने और जनहित याचिका खारिज करने का अनुरोध किया।

    जनहित याचिका सुप्रीम कोर्ट के वकील और पूर्व न्यायिक अधिकारी शिव चरण गुप्ता द्वारा दायर की गई थी, जिसमें दावा किया गया था कि गहलोत का कथित बयान राज्य न्यायपालिका की छवि को बदनाम करने और कम करने जैसा है।

    गहलोत ने 30 अगस्त को मीडिया से बात करते हुए कहा था कि न्यायपालिका में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार है और उन्होंने सुना है कि बहुत सारे वकील फैसले लिखते हैं और फिर उन्हें सुनाया जाता है।

    राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की न्यायपालिका में 'बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार' का आरोप लगाने वाली टिप्पणी को लेकर बिहार के मुजफ्फरपुर जिले में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत के समक्ष एक निजी शिकायत भी दायर की गई थी।

    मामले की आगे की कार्यवाही 7 अक्टूबर को तय की गई है।

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