कलकत्ता हाईकोर्ट ने टीएमसी पार्षद अनुपम दत्ता की हत्या की सीबीआई जांच की मांग वाली जनहित याचिका पर राज्य सरकार से जवाब मांगा

LiveLaw News Network

18 April 2022 7:53 AM GMT

  • कलकत्ता हाईकोर्ट

    कलकत्ता हाईकोर्ट 

    कलकत्ता हाईकोर्ट ने सोमवार को पानीहाटी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के पार्षद अनुपम दत्ता की हत्या की केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) से जांच की मांग वाली जनहित याचिका (पीआईएल) याचिका पर राज्य सरकार से जवाब मांगा।

    रिपोर्ट्स के मुताबिक पार्षद अनुपम दत्ता की 12 मार्च को उस वक्त गोली मारकर हत्या कर दी गई थी, जब वह अपने इलाके के एक पार्क में काम का जायजा लेने गए थे। इलाके के सीसीटीवी फुटेज में दिखाया गया कि दत्ता एक दुपहिया वाहन पर पीछे बैठे हैं, जब उन्हें बिल्कुल पास गोली मार दी गई। हमलावर को मास्क के अलावा नीली और सफेद धारीदार टी-शर्ट पहने देखा गया।

    इसी दिन एक दूसरी घटना में पुरुलिया जिले में झालदा नगर पालिका के चार बार के कांग्रेस पार्षद तपन कुंडू की अज्ञात मोटरसाइकिल सवारों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी, जब वह अपने आवास के पास टहलने गए थे। हाईकोर्ट ने बाद में यह कहते हुए घटना की सीबीआई जांच का आदेश दिया कि बड़े पैमाने पर जनता के विश्वास को जगाने की जरूरत है।

    चीफ जस्टिस प्रकाश श्रीवास्तव और जस्टिस राजर्षि भारद्वाज की पीठ को सोमवार को याचिकाकर्ता की ओर से पेश वकील ने अवगत कराया कि पार्षद अनुपम दत्ता की निर्मम हत्या की सीबीआई जांच जरूरी है।

    पीठ को आगे बताया गया कि एकल न्यायाधीश पीठ ने पुरुलिया में झालदा नगर पालिका के पूर्व कांग्रेस पार्षद तपन कंडू की मौत की सीबीआई जांच का आदेश पहले ही दे दिया है।

    इस बिंदु पर, राज्य के वकील ने बेंच को अवगत कराया कि राज्य सरकार ने सीबीआई जांच के लिए एकल न्यायाधीश के आदेश के खिलाफ अपील की है और अपील 28 अप्रैल को डिवीजन बेंच के समक्ष सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है। तदनुसार, वकील ने प्रार्थना की 28 अप्रैल के बाद सुनवाई के लिए वर्तमान जनहित याचिका पर सुनवाई के लिए बेंच के समक्ष सूचीबद्ध किया जाए।

    संबंधित वकील द्वारा प्रस्तुतियाँ के अनुसार, बेंच ने राज्य सरकार को एक सप्ताह की अवधि के भीतर मामले में निर्देश प्राप्त करने का आदेश दिया। साथ ही मामले को दो मई को अगली सुनवाई के लिए पोस्ट कर दिया।

    कोर्ट ने याचिकाकर्ता को सीबीआई को मामले के दस्तावेज देने का आदेश दिया और इस संबंध में कोर्ट में हलफनामा दाखिल करने का भी निर्देश दिया।।

    केस शीर्षक: अनिंद्य सुंदर दास बनाम पश्चिम बंगाल राज्य और अन्य

    Next Story