पटना हाईकोर्ट ने जब्त गाड़ियों समेत अन्य अवरोधों को हटाने के मामले में ट्राफिक एसपी को तलब किया, एक हफ्ते के अंदर कार्रवाई के निर्देश दिए

Brij Nandan

25 April 2022 11:55 AM GMT

  • पटना हाईकोर्ट ने जब्त गाड़ियों समेत अन्य अवरोधों को हटाने के मामले में ट्राफिक एसपी को तलब किया, एक हफ्ते के अंदर कार्रवाई के निर्देश दिए

    पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) ने गांधी मैदान थाना में जब्त गाड़ियों समेत अन्य अवरोधों को हटाने के मामले में पटना के ट्राफिक एसपी को तलब किया है।

    चीफ जस्टिस संजय करोल (Justice Sanjay Karol) और जस्टिस एस. कुमार (Justice S Kumar) की खंडपीठ ने एडवोकेट शिल्पी केशरी की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए जब्त गाड़ियों को फिर से सड़कों पर रखने पर नाराजगी जताई।

    कोर्ट ने आदेश दिया,

    "पटना के ट्राफिक एसपी हर हप्ते गांधी मैदान में जब्त गाड़ियों समेत अन्य अवरोधों का निरीक्षण करें।"

    याचिका में कहा गया है कि राजधानी पटना के सभी थानों में वाहनों को जब्त कर उसे सड़क पर रख दिया जाता है। इससे आम लोगों को आने-जाने में परेशानी होती है। कठिनायों का सामना करना पड़ता है।

    याचिकाकर्ता-एडवोकेट शिल्पी केशरी ने कोर्ट के समक्ष प्रस्तुत किया कि जब्त गाड़ियों को हटाए जाने के बाद उन्हें वहां फिर से लगा दिया गया है।

    आगे प्रस्तुत किया कि कोर्ट के आदेश के बाद गांधी मैदान से जब्त गाड़ियों को हटा दिया गया था, लेकिन कुछ समय बाद फिर वहां लगा दिया गया। गांधी मैदान के पास स्कूल बसों के खड़े होने से ट्राफिक जाम हो जाता हैं। इसका खामियाजा स्कूली छात्रों को भुगतना पड़ता है।

    कोर्ट ने आदेश दिया है कि जिला न्यायपालिका सहित सभी हितधारकों के लिए प्रशासनिक पक्ष पर तुरंत एक बैठक बुलाने और जानकारी एकत्र करने की आवश्यकता है।

    दिनांक 20.04.2022 के संचार में, पुलिस महानिदेशक, बिहार ने कोर्ट के आदेश दिनांक 04.04.2022 का पालन करने के लिए छह सप्ताह का समय मांगा है।

    राज्य की ओर से पेश एएजी पी.के वर्मा ने कोर्ट के समक्ष प्रस्तुत किया कि पुलिस महानिदेशक, बिहार को दिन के दौरान आदेश पारित होने की सूचना दी जाएगी।

    इस पर कोर्ट ने निर्देश दिया कि हमें इस बात का कोई कारण नहीं दिखता कि आज से एक सप्ताह से पहले सूचना को क्यों एकत्र और संकलित नहीं किया जा सकता है, क्योंकि सभी न्यायिक रिकॉर्ड सहित सब कुछ कम्प्यूटरीकृत है। इस तरह की एक्सरसाइज एक हफ्ते के अंदर कर लें।

    आदेश में आगे कहा कि हम जिला न्यायाधीश, पटना को हमारे आदेश दिनांक 04.04.2022 और 06.04.2022 के अनुसार सभी जानकारी जल्द से जल्द उपलब्ध कराने का निर्देश देते हैं। वास्तव में, हम उनसे यह सुनिश्चित करने की अपेक्षा करते हैं कि पटना के उच्च न्यायालय में सिविल रिट क्षेत्राधिकार मामलों से संबंधित सभी जानकारी एक सप्ताह के भीतर हितधारकों को प्रदान की जाती है।

    कोर्ट ने कोर्ट के महापंजीयक को निर्देश दिया कि वह आदेश को तत्काल जिला न्यायाधीश, पटना को टेलीफोन पर सूचित करें और आदेश की एक प्रति इलेक्ट्रॉनिक रूप से भी फॉरवर्ड करे।

    पिछली सुनवाई में भी कोर्ट पटना के सभी पुलिस स्टेशन में जब्त वाहनों समेत अन्य अवरोधों को हटाने के कोर्ट के आदेश का पालन नहीं करने पर नाराजगी जताई थी।

    इसके साथ ही कोर्ट ने डीजीपी, बिहार को 24 घंटों में गांधी मैदान थाना से सभी अवरोध हटाने का निर्देश दिया था।

    कोर्ट ने सभी जब्त गाड़ियों के बारे में पूरी जानकारी देने के लिए कहा था।

    इसके साथ ही चीफ जस्टिस संजय करोल पूछा था कि अब तक जब्त किए गए वाहनों के बारे में क्या कार्रवाई की गई है।

    कोर्ट ने यह भी आदेश दिया था कि पटना के गांधी मैदान के आस पास पार्किंग स्थल को छोड़ कर और कहीं भी गाड़ी पार्क नहीं किया जाएगा।

    याचिकाकर्ता की ओर से एडवोकेट शिल्पी केशरी पेश हुईं और राज्य की ओर से एएजी प्रभात कुमार वर्मा पेश हुए।

    अब मामले को सुनवाई के लिए 28 अप्रैल के लिए सूचीबद्ध किया गया है।

    केस का शीर्षक: शिल्पी केशरी बनाम बिहार राज्य एंड अन्य

    कोरम: चीफ जस्टिस संजय करोल और जस्टिस एस. कुमार

    आदेश की कॉपी यहां पढ़ें:


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