दिल्ली हाईकोर्ट ने अक्षय कुमार अभिनीत 'पृथ्वीराज' फिल्म के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई से इनकार किया

LiveLaw News Network

28 Feb 2022 9:49 AM GMT

  • दिल्ली हाईकोर्ट ने अक्षय कुमार अभिनीत पृथ्वीराज फिल्म के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई से इनकार किया

    दिल्ली हाईकोर्ट ने यशराज फिल्म्स द्वारा निर्मित फिल्म 'पृथ्वीराज' का टाइटल बदलने की मांग वाली जनहित याचिका पर विचार करने से सोमवार को इनकार कर दिया। मुख्य भूमिकाओं में अभिनेता अक्षय कुमार और मानुषी छिल्लर अभिनीत फिल्म 10 जून, 2022 को रिलीज़ होने वाली है।

    याचिकाकर्ता, राष्ट्रीय प्रवासी परिषद ने प्रस्तुत किया कि यह फिल्म भारतीय सम्राट पृथ्वीराज चौहान के जीवन पर आधारित है। याचिकाकर्ता की ओर से पेश अधिवक्ता संजीव बेनीवाल ने दलील दी कि फिल्म एक 'महान योद्धा' पर आधारित है। हालांकि, इसका नाम उसी का प्रतिबिंब नहीं है।

    तर्क दिया गया कि प्रतिवादी 'पृथ्वीराज' की साधारण-सी उपाधि देकर महान सम्राट की गरिमा और सम्मान को कम कर रहे हैं। इस प्रकार, फिल्म के टाइटल को बदलने और कुछ सम्मानजनक उपसर्गों को शामिल करने के लिए दिशा-निर्देश मांगे गए।

    बेनीवाल ने तर्क दिया कि फिल्म का वर्तमान शीर्षक सिनेमैटोग्राफ अधिनियम, 1952 की धारा पांच बी के उल्लंघन में है। इसके अनुसार, उन्होंने प्रस्तुत किया कि फिल्म का शीर्षक "अश्लील / मानहानिकारक" नहीं हो सकता।

    चीफ जस्टिस डीएन पटेल और जस्टिस नीना बंसल कृष्णा की पीठ ने याचिका पर विचार करने के लिए अपना आरक्षण व्यक्त किया। वकील ने याचिका वापस लेने की अनुमति मांगी।

    तद्नुसार मामले को वापस लेते हुए निस्तारित कर दिया गया।

    उल्लेखनीय है कि इसी तरह की एक याचिका राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष (महिला विंग) द्वारा इलाहाबाद हाईकोर्ट के समक्ष भी दायर की गई है। इसमें कहा गया कि फिल्म का टाइटल 'सम्राट पृथ्वीराज चौहान' के स्थान पर 'पृथ्वीराज' रखा गया है। इस प्रकार, यह समाज में एक गलत संदेश भेजता है और राजपूत समुदाय की धार्मिक भावनाओं और विश्वासों को भी आहत करता है।

    याचिका में कहा गया कि उपरोक्त फिल्म को केवल "पृथ्वीराज" ('सम्राट पृथ्वीराज चौहान' के स्थान पर) के रूप में नामित/शीर्षक देकर उत्तरदाताओं (डॉ चंद्रप्रकाश द्विवेदी, आदित्य चोपड़ा और मैसर्स यश राज फिल्म्स प्राइवेट लिमिटेड) ने न केवल महान भारतीय ऐतिहासिक राजा के प्रति अनादर दिखाया है, देश भर में बड़े पैमाने पर हिंदुओं की धार्मिक भावनाओं और विश्वास को भी आहत किया है।

    केस शीर्षक: राष्ट्रीय प्रवासी परिषद बनाम भारत संघ और अन्य।

    साइटेशन: 2022 लाइव लॉ (दिल्ली) 153

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