अदालत की अवमानना के दोषी करार दिए जाने पर माल्या की पुनर्विचार याचिका पर 20 अगस्त को सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट
LiveLaw News Network
6 Aug 2020 12:07 PM IST
सुप्रीम कोर्ट ने भगौड़ा करार किंगफिशर एयरलाइंस के मालिक विजय माल्या की पुनर्विचार याचिका पर सुनवाई 20 अगस्त के लिए टाल दी है ।
जस्टिस यू यू ललित की अध्यक्षता वाली पीठ ने गुरुवार को माल्या के वकील से कर्नाटक हाईकोर्ट के समक्ष जवाब की प्रति एसएसपी में दिखाने को कहा लेकिन वो नहीं थी इस पर माल्या के वकील ने समय मांगा और पीठ ने सुनवाई 20 अगस्त के लिए टाल दी ।
इससे पहले 16 जून को सुप्रीम कोर्ट ने अदालत की अवमानना के दोषी करार दिए जाने पर माल्या द्वारा दाखिल पुनर्विचार याचिका को तीन साल बाद लिस्ट किए जाने को लेकर अपनी ही रजिस्ट्री को कड़ी फटकार लगाई थी और रजिस्ट्री को यह स्पष्ट करने को कहा था कि विजय माल्या को अवमानना का दोषी ठहराए जाने के साल 2017 के फैसले पर पुनर्विचार के लिए उसकी याचिका तीन साल तक सूचीबद्ध क्यों नहीं की गई। यही नहीं अदालत ने उन अधिकारियों के नाम बताने के निर्देश दिए थे जो इस याचिका के सूचीबद्ध करने से जुड़े रहे हैं। अदालत ने दो हफ्ते के भीतर जवाब देने के निर्देश जारी किए थे।
जस्टिस यूयू ललित और जस्टिस अशोक भूषण की पीठ ने 16 जून को माल्या की पुनर्विचार याचिका पर गौर किया था। पीठ ने अपने आदेश के अंतिम लाइन में कहा कि अदालत इस याचिका पर गुण-दोष के आधार पर विचार करेगी।
दरअसल सुप्रीम कोर्ट ने चार करोड़ अमेरिकी डॉलर की रकम माल्या के बच्चों के खातों में स्थानांतरित किए जाने के मामले में शराब कारोबारी को अवमानना का दोषी ठहराया था। माल्या की ओर से दाखिल यह पुनर्विचार याचिका 9 मई 2017 को शीर्ष अदालत के उस आदेश के खिलाफ थी जिसमें स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के नेतृत्व में बैंकों के समूह द्वारा दाखिल याचिका पर भगोड़े शराब कारोबारी को अवमानना के लिए दोषी ठहराया गया था। आदेश में कहा गया था कि माल्या ने अदालत के आदेशों की अवहेलना की है।
गौरतलब है कि माल्या ने बंद हो चुकी अपनी एयरलाइंस कंपनी किंगफिशर के लिए बैंकों से 9600 करोड़ रुपये का कर्ज लिया था। साल 2016 में वह भारत से लंदन फरार हो गया था। माल्या पर आरोप है कि उसने जानबूझकर बैंकों का कर्ज नहीं चुकाया । फिलहाल उसके लंदन से प्रत्यर्पण कर वापस लाने की कोशिश की जा रही है।