CJI के खिलाफ यौन उत्पीड़न की शिकायत की इन- हाउस जांच पैनल से जस्टिस NV रमना ने खुद को अलग किया
Live Law Hindi
26 April 2019 9:07 AM IST
जस्टिस एन. वी. रमना ने भारत के मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई के खिलाफ लगाए गए यौन उत्पीड़न के आरोपों की इन-हाउस जांच के लिए गठित पैनल से खुद को अलग कर लिया है।
पीड़ित महिला ने जताई थी आपत्ति
बुधवार को CJI के खिलाफ आरोप लगाने वाली पूर्व महिला कर्मचारी ने इन-हाउस पैनल में जस्टिस रमना को शामिल करने पर आपत्ति जताई थी और दावा किया था कि वह CJI के निवास पर लगातार आते- जाते रहते हैं और CJI के 'करीबी दोस्त' हैं। वो CJI के लिए एक परिवार के सदस्य की तरह हैं।
महिला कर्मी ने यह भी कहा था कि 20 अप्रैल को, यानी जिस दिन उसका हलफनामा सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों को भेजा गया था, हैदराबाद में बोलते हुए जस्टिस रमना ने उसके आरोपों को खारिज कर दिया था।
सूत्रों के अनुसार, जांच पैनल में अब सुप्रीम कोर्ट के किसी अन्य जज को शामिल करके शाम तक इसका पुनर्गठन किया जाएगा।
विशाखा गाइडलाइन और POSH अधिनियम का उल्लेख करते हुए पूर्व कर्मचारी ने कहा था कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित जांच समिति में बहुमत में महिला सदस्य और एक बाहरी सदस्य नहीं है, जबकि ऐसा करना कानून द्वारा अनिवार्य है।
सूत्रों के अनुसार पैनल को शुक्रवार को जांच शुरू करनी है और इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट के सेकेट्री जनरल व शिकायतकर्ता महिला को जांच में शामिल होने के लिए नोटिस जारी किया गया है। सेकेट्री जनरल को महिला कर्मी से जुडे़ तमाम दस्तावेज भी पैनल को देने के लिए कहा गया है।