2008 मालेगांव धमाके की आरोपी प्रज्ञा ठाकुर की जमानत रद्द करने की याचिका पर 31 अक्तूबर से अंतिम बहस

LiveLaw News Network

10 Oct 2017 10:09 AM GMT

  • 2008 मालेगांव धमाके की आरोपी प्रज्ञा ठाकुर की जमानत रद्द करने की याचिका पर 31 अक्तूबर से अंतिम बहस

    2008 के मालेगांव ब्लास्ट मामले में आरोपी साध्वी प्रज्ञा सिंह को मिली जमानत के खिलाफ दाखिल याचिका पर  सुप्रीम कोर्ट 31 अक्तूबर को अंतिम सुनवाई करेगा।

    मंगलवार को मामले की सुनवाई के दौरान जस्टिस आरके अग्रवाल और जस्टिल एस अब्दुल नजीर ने कहा कि अब 31 अक्तूबर से अंतिम बहस शुरु होगी। वहीं NIA की ओर से पेश बाला सुब्रमण्यन ने कहा कि वो बहस के लिए तैयार हैं तो प्रज्ञा की ओर से कहा गया कि उन्हें और कोई हलफनामा दाखिल नहीं करना है। इस मामले में दूसरे आरोपी कर्नल पुरोहित को भी सुप्रीम कोर्ट ने जमानत दे दी थी।

    बोंबे हाईकोर्ट के जमानत देने और मकोका प्रावधान हटाने के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देते हुए ब्लास्ट में मारे गए युवक के पिता ने  फैसले को गलत ठहराते हुए रोक लगाने की मांग की है। याचिका में प्रज्ञा की जमानत को रद्द करने की मांग की गई है।

    गौरतलब है कि इसी साल 25 अप्रैल को 2008 के मालेगांव धमाका केस में बोंबे हाईकोर्ट से साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को जमानत मिल गई थी। हाईकोर्ट ने प्रज्ञा पर लगाई गई मकोका धारा को भी हटा दिया था। जिसके बाद मकोका के तहत जुटाए गए सबूत भी केस से निकाल दिए गए।  हालांकि इस मामले में कोर्ट ने कर्नल पुरोहित को जमानत देने से इंकार कर दिया था। हाईकोर्ट ने  साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को 5 लाख रुपए की जमानत राशि और अपना पासपोर्ट NIA को जमा कराने और साथ ही ट्रायल कोर्ट में हर तारीख पर पेश होने के आदेश दिए थे। बेंच ने उसे सबूतों से छेड़छाड़ नहीं करने और जब भी जरूरत हो एनआईए अदालत में रिपोर्ट करने का भी निर्देश दिया है। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा था कि पहली नजर में साध्वी के खिलाफ कोई मामला नहीं बनता है।

    2008  में हुए मालेगांव धमाके में 6 लोगों की मौत हो गई थी और तकरीबन 100लोग जख्मी हो गए थे। 29 सितंबर 2008 को मालेगांव में एक बाइक में बम लगाकर विस्फोट किया गया था।साध्वी प्रज्ञा पर भोपाल, फरीदाबाद की बैठक में धमाके की साजिश रचने के आरोप लगे थे। साध्वी और पुरोहित को 2008 में गिरफ्तार किया गया था।

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