Begin typing your search above and press return to search.
ताजा खबरें

दिल्ली हाईकोर्ट ने अदालतों में पुलिस को हटाकर अन्य सुरक्षा बल तैनात करने की याचिका पर सुनवाई से इनकार किया

LiveLaw News Network
19 Nov 2019 5:15 AM GMT
दिल्ली हाईकोर्ट ने अदालतों में पुलिस को हटाकर अन्य सुरक्षा बल तैनात करने की याचिका पर सुनवाई से इनकार किया
x

दिल्ली उच्च न्यायालय ने सोमवार को दो वकीलों की उस याचिका पर सुनवाई से इनकार कर दिया जिसमें तीस हजारी में वकीलों और पुलिस के बीच झड़प के मद्देनज़र अदालतों में दिल्ली पुलिस की बजाए किसी अन्य सुरक्षा बल की तैनाती करने की मांग की गई थी।

मुख्य न्यायाधीश डी एन पटेल और न्यायमूर्ति सी हरि शंकर की पीठ ने मामले की सुनवाई से यह कहते हुए इनकार कर दिया कि वकीलों और पुलिस के बीच स्थिति को सुलझाया जाना चाहिए और इस तरह की याचिकाएं इसमें मदद नहीं करेंगी।

पीठ ने केंद्र सरकार की ओर से पेश वकील अनिल सोनी से कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो पुलिस को अतिरिक्त प्रशिक्षण देने पर विचार किया जा सकता है।

दरअसल याचिकाकर्ताओं दीपक कंसल और यदुनंदन बंसल ने अपनी याचिका में दावा किया था कि 2 नवंबर को वकीलों और पुलिस के बीच टकराव हुआ था और अब वकीलों की जान को खतरा है क्योंकि पुलिस ने उन पर गोलीबारी की थी और तीस हजारी कोर्ट परिसर में उनकी संपत्ति को भी नष्ट कर दिया था।

कंसल और बंसल, दोनों ने शहर के सभी न्यायालयों में कुछ अन्य प्रशिक्षित और अनुभवी सुरक्षा बलों द्वारा दिल्ली पुलिस को बदलने की मांग की थी।

इसके अलावा उन्होंने पुलिस बटालियन के सभी सदस्यों और उसके वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश भी मांगे थे जो 2 नवंबर की घटना में शामिल थे और वकीलों पर गोलीबारी और संपत्ति को नष्ट करने में शामिल थे। याचिकाकर्ताओं ने मामले की जांच के लिए एक स्वतंत्र एजेंसी के गठन की भी मांग की थी।

गौरतलब है कि 2 नवंबर की घटना के बाद से उच्च न्यायालय ने तीस हजारी हिंसा के संबंध में दर्ज की गई एफआईआर पर वकीलों और पुलिस कर्मियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई को रोकने के आदेश जारी किए हैं। इस झड़प में 20 से अधिक पुलिसकर्मी और आठ वकील घायल हो गए थे जिनमें तीन वकीलों को गोली लगी थी। इसके अलावा, घटना में कई पुलिस वाहन और निजी दोपहिया वाहन भी क्षतिग्रस्त हुए।

Next Story