कांग्रेस ने दिल्ली हाईकोर्ट के समक्ष गठबंधन के 'INDIA' नाम के खिलाफ याचिका का विरोध किया

Shahadat

10 April 2024 5:19 AM GMT

  • कांग्रेस ने दिल्ली हाईकोर्ट के समक्ष गठबंधन के INDIA नाम के खिलाफ याचिका का विरोध किया

    भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने दिल्ली हाईकोर्ट के समक्ष विपक्षी राजनीतिक दलों के नवगठित गठबंधन द्वारा संक्षिप्त नाम I.N.D.I.A (भारतीय राष्ट्रीय विकासात्मक समावेशी गठबंधन) के उपयोग के खिलाफ जनहित याचिका का विरोध किया।

    कांग्रेस ने अपने हलफनामे में कहा कि जनहित याचिका पूरी तरह से पूर्वाग्रहों और अनुमानों पर आधारित है, राजनीति से प्रेरित है और प्रकृति में तुच्छ है।

    कांग्रेस ने अदालत को बताया,

    "याचिका की सामग्री से जो स्पष्ट है, वह यह है कि याचिकाकर्ता द्वारा उत्तर देने वाले प्रतिवादी या उसके गठबंधन के उत्तरदाताओं के खिलाफ लगाए गए तुच्छ आरोपों को साबित करने वाले किसी भी उदाहरण या मामले की अनुपस्थिति है।"

    यह जनहित याचिका कारोबारी गिरीश भारद्वाज ने दायर की। कांग्रेस ने याचिका का विरोध करते हुए दावा किया कि गिरीश ने जानबूझकर इस तथ्य को छुपाया कि वह विश्व हिंदू परिषद से निकटता से जुड़े हैं।

    हलफनामे में कहा गया कि जनहित याचिका में दी गई दलीलों से यह स्पष्ट होता है कि इसे दाखिल करने का मकसद "भारद्वाज की राजनीतिक संबद्धता को बढ़ावा देना" है।

    आगे कहा गया,

    "यह उल्लेख करना प्रासंगिक है कि विश्व हिंदू परिषद दक्षिणपंथी संगठन है, जो "संघ परिवार" का हिस्सा है और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से संबद्ध है। इसकी राजनीतिक शाखा भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) है।"

    इसमें कहा गया कि याचिका न केवल राजनीति से प्रेरित है, बल्कि भारद्वाज की राजनीतिक चालों को आगे बढ़ाने के उद्देश्य से जनहित याचिका की आड़ में दायर की गई।

    हलफनामा में आगे कहा गया,

    “याचिकाकर्ता के अनुसार, राजनीतिक गठबंधन के नाम के रूप में 'I.N.D.I.A' का उपयोग प्रतीक अधिनियम की धारा 2 और 3 के तहत निषिद्ध/वर्जित है। हालांकि, उक्त प्रावधानों को पुन: प्रस्तुत करते समय भी याचिकाकर्ता 'I.N.D.I.A' के उपयोग के साथ प्रतीक अधिनियम का कोई उल्लंघन करने में विफल रहा है।''

    कांग्रेस ने यह भी कहा कि भारद्वाज 'INDIA' गठबंधन के कारण कथित तौर पर हुए नुकसान का कोई सबूत देने में विफल रहे हैं, न ही वह कानून में कोई प्रावधान दिखा पाए हैं, जो विपक्षी दलों को उक्त नाम अपनाने से रोकता है।

    केस टाइटल: गिरीश भारद्वाज बनाम भारत संघ एवं अन्य।

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